ईश्वर है या नहीं आओ तथ्यों के साथ जाने Acharya Yogesh Bhardwaj Ji // Mission Arya Samaj
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- Опубліковано 27 тра 2024
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दिलबाग आर्य (M.D) 9813273200
हर्षित शर्मा (Camera & Editor) 8814835357
ॐ नमः शिवाय
हर हर महादेव
बहुत सुंदर वक्तव्य ❤
ईश्वर अच्छे बुरे कर्मो का परिणाम है इस प्रकार ईश्वर स्वचालित है
ईश्वर धरती पर आया है राजस्थान मे आया है
आदरणीय योगेश जी बहुत वैज्ञानिक तरीके से हर तथ्य को विस्तार से व प्रमाणित करके सभी मानव जाती को बता रहे हैं। एक मानव ही है जो सोच समझ सकता हैं व दूसरी तरफ जानवर का भी रूप धारण कर सकता हैं । और जिसमे तर्क शक्ति होगी वही इंसान इनके विचारो को समझ सकता हैं। महात्मा बुद्ध का ज्ञान भी तर्क पर आधारित हैं जो अंधविश्वास व पाखंड से दूर हैं। उनका संदेश हैं दुःख होना, दुख का कारण व उसका निवारण कैसे किया जाए। उन्होंने भी मानवता को ही सर्वोपरि माना हैं। इंसान ही सर्वशक्तिमान हैं इससे बड़ा कोई नहीं हैं जिसे हैं प्रकृति कहते हैं। कोई भी बीमार आदमी बिना दवाई के ठीक नहीं हो सकता। मैं आपका तह दिल से धन्यवाद करना चाहूंगा की आपने सभी बातों को तर्क से समझाया हैं। कबीर साहब कहते हैं कि, "गुरु गोविंद दोउ खड़े, काके लागू पांव। बल्हारी गुरु अपनो, जिन गोविंद दियो मिला। गुरु रूप ही गोविंद हैं वो ही इंसान मे रमा हुआ हैं। बहुत अच्छे विचार आपके। नमस्कार जी। ❤❤
Jiska kuch nhi h vo bhi na hone me dukhi h.
बहुत अच्छे तर्क के साथ समझाया है सही भी है अब जो समझना ही नहीं चाहे तो उसे तो कोई समझा भी नहीं सकता सत्य है🙏🙏🙏🙏
अति उत्तम प्रवचन। सादर नमन।
अति उत्तम प्रवचन सादर नमन।
हं शब्द हं अनमोल है धरलो चराचर जीव एक शब्द हं मे पैदा धरकर आये है भौसागर में माता-पिता के मन के शब्द हं मे दोनो एक जगाह दोनो के जुडवो होथे तब श्रृष्टि के रचना में चराचर जीव पैदा हुए हैं शब्द हं अनमोल है शब्द हं बडा है मालिक के बनायें शब्द हं बडा है खुद ईसवर बडा नहीं हु मोर बनाए शब्द हं बडा है धरधरनी के एक लेखा कर्म गति विश्व रखा कर्म ही पुजा है कर्म ही परधान है
सादर नमस्ते अचार्य जी 🙏🙏🙏🙏
कोई ईश्वरीय शक्ति नहीं है, सर्व शक्तिमान मानव है। मानव जो चाहे कर सकता है।
माता पिता श्रृष्टि कर्ता हैं और वहीं परमात्मा हैं, इनसे उपर कोई नहीं।
इन ब्राहम्णो की दुकान कैसे चलेगी?
Sahi baat hai
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कुछ तर्क वाली बात करके भगवान को घुसेड़ देते है मनुवादी लोग
मात-पिता का रज वीरज मिलकर बनी देह हमारी।
नमस्ते सदा वत्सले मात्र भूमि
ओम नमो नारायण।
सारे देवता परमेशवर के आधीन है
ओ३म् नमस्ते आचार्य जी,शत् शत् नमन
ईश्वर सचिदानंद स्वरूप है।
भाई प्लीज इसका मतलब समझा दे
Bahut Sundar jankari Aacharya ji
ईश्वर जैसा कुछ नहींहै अपनी दुकान चलाने के लिए ईश्वर का ढोंग बनाया गया है
Bhut sundr sir 🙏
Guru ji dandbat pranam.
ईश्वर है मैं यह सिद्ध कर सकता हूं,
अधकचरे ज्ञान के प्रचार प्रसार से सत् ज्ञान से प्राणी वंचित रह जाता है।
जय श्री राम,
Please bhai mujh sid kr do
राइट कहा ,ईश्वर मौजूद है बकायदा
सादर नमस्ते श्री आचार्य जी 🙏
Iswara parama krsna sat cit Anand vigraha......Jay Hind
संसार में कोई सुखी नही है। कोई तन से धन स
सभी का दुःख दूर करने उपर वाला धरती पर राजस्थान में आया है अब यह प्रजापति ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय द्वारा भारत को स्वर्ग बनाने आया है
Koti koti prnam acharyaji 🙏🏻🙏🏻
ईश्वर आत्मा जीवात्मा सूक्ष्म शरीर पुनर्जन्म कर्म फल इत्यादि के सही ज्ञान के लिए सिर्फ वैदिक ज्ञान को पढ़ो और समझो क्योंकि ये मूल ज्ञान है l
Allover science.
Saheb bandgi saheb ko
जी बहुत बढ़िया है
Om namste
Bahut achcha laga.
भगवान के नाम का जाप करने से सारे दुख दूर हो जाते हैं
Eshwar bus manvò dvara ek kalpna hai apna hath jagnnath
Jab manushya shakti Heen ho jata hai to ishwar hiyad ata hai
Excellent explanation,
सुनने से मजा आ गया
Bahut hi achhe udaharan prastut karte hue bataya. Aap ko koti koti naman.
सर्व शक्तिमान निराकार ज्योति स्वरूप परमात्मा शिव एक है , जो सर्वआत्माओं के पिता हैं, और परमधाम के वासी हैं। तथा ब्रह्मा, विष्णु, महेश सूक्ष्म लोक के वासी हैं।,सभी मनुष्य आत्मायें भी मोक्ष के समय परमधाम मे वास करतीं हैं । और समय आने पर ,अपने कर्म के अनुसार पार्ट बजाने इस पृथ्वीलोक पर आती।और अपने कर्मों के फल के अनुसार सुख दुःख भोगती है
Jay Shri Ram❤
Very, bast,satsang, gyan,
Yah tathyatmak bat bole good
ईश्वर स्वचालित है
Aap bahut sahi Bata rahe hain
मुझे आपका प्रवचन बहुत उत्तम लगा
बाइबिल पढ़िये आपके सारे सवाल का जवाब मिल जाएगा लेकिन दीन और नम्रता के साथ पढ़िये । ईश्वर आपको समझने की शक्ति दे आमीन!
आपको प्रणाम है👍🙏 जी💜❤ समाज को सत्य की🌹 सीख देने के लिए।
सत्य तो ईश्वर से जूडे है या ईश्वर ही सत्य है तो जो ईश्वर को नहीं मानते हैं वह कोनसा प्रकाशन देंगे सत्य का?
महमूद गजनी के डर लोग मंदिर मे दुबक गये थे की मेरी ईश्वरीय शक्ति रक्षा करेगा। लेकिन कोई किसी ईश्वरीय शक्ति नही मदद कर सका। सोमनाथ मंदिर गिराए मंदिर से कोई नही निकला।
Omm Namaste 🙏
सबसे अच्छा ग्यान आपका है यह तर्क नही ग्यान है
इतने लम्बे वाणी में 50 कहानि ये जो भक्त है जो जानना समझना अनूभव और अनूभूति करना चाहते है वे सब बिचलित हो जारहे है ...गुरू देव...!!?????
Jai Shree Ram 🎉🎉
पहले देवो परुथवी पर आते थे लड़ने ओर भ्रमण करने के लिए ऐसा शास्त्रों में लीखा है और अब कोन ऐसा इंसान हैं भगवान को श्राप दे दीया अब आते ही नहीं कोन से डरते हैं देवता
Jai shree Ram
जीसे कोई नही होता वह सबशे जादा परेशान होता है.
जैसे स्वर वर्ण सहायता बिना शुद्ध है
A E I O U
बाकी को
जिसका कोई नहीं होता।वो भी दुखी रहता है।वह इस बात से परेशान रहता है कि मेरा इस दुनिया में मेरा कोई नहीं है।
ईश्वर स्वर ही ईश्वर है
ओ३म् ओ३म् ओ३म् ओ३म् ओ३म्
Bharat me Rahane wale ek ved pashu nar pasu
उनलोगोसेपुछो, कवहीeस्वर, को, खोजनेकाप्रयासकियाःma.मन से खोजोसाम्नःदिखेगा
Dukh avm sukh hee esavar hee mahasy
Sansar me burai hi hame achhai ka gayan karati h
Dono ka hona jaruri h
Ishwar hai
अज्ञानी लोग तर्क से ईश्वर को खोजते हैं। ईश्वर को जानने और देखने के लिए एक विशेष विधि है जैसे लकड़ी में आग है लेकिन प्राप्त करने के लिए एक विशेष विधि है।
इसका मतलब कि ईश्वर को भी बनाने वाला कोई होना चाहिए।
ईश्वर हे ईश्वर हमारे अंदर है।
🙏
तुलसी दास जी कहते है कलयुग केवल नाम आधार
विज्ञान दाता भी ईश्वर है
हवा, पानी, आग, धरती,a
आदि सजीव और नही सजीव को प्रदुभाव संचालन तथा और जो भी करते हैं वही तो सर्ब शक्ति मा न है
ये भी लगता सभी चीज मे है तो कैसे कैसे कर्म आदि होना दर्शाता है कि ईश्वर फिशवर् नहीं है
लेकिन फिर वही पर जानाजाता है तभी जीरो ( शून्य )
Ishwar ko tark se nahi jana ja sakta hai ishwar Anubhuti ka Visay hai ❤️
Ye Anubhuti kaise hogi
बहुत बहुत धन्यवाद जय श्री राम
अति सुन्दर स्पष्टीकरण श्रद्धेय आचार्य जी 🙏🙏
आप को सादर विनम्र प्रणाम,🙏🙏
ईश्वर /परमात्मा एक ऊर्जा है जो सर्व व्यापक, व्यवस्थापक है जो सारे जहाँ मे सभी को सभी रूपों मे किर्याएँ kr रहा ह।।
God is power ,power is involved in matters, matters are not made by man. Man is also a installation of matter. Science will not be possible if there is no matter .so matter and power is a unity of god .who is cause of affiliation of this universe. This unity is merged in all particles of all matters.that is omnipresent, omniscient, omnipotent.Its names are differ ,differ those are Iswar,Allah,Prabhu,Khuda,Bhagwan
Wahiguru,Raba and God.
Parambrahm namonaman.
II Krishnam Vande Jagatgurum II
ईश्वर कही भी नहीं है हमारे शरीर में जो ऊर्जा है वही इस्वरी शक्ती है जब हमारे शरीर की ऊर्जा खत्म हो जाती तो हम जीवित नहीं रहते है और ना कहीं स्वर्ग है और ना नर्क है जो कुछ भी है। सब यहीं है। जब हमारा जीवन सही खान पान और सही स्वस्थ ओर सुखी से जीवन तब समझो यहीं स्वर्ग है और जब हमारा जीवन हमे कस्टों और दुखों से भरा होता है तो इसी को नरक कहते हैं
आपके विचार जो लिखे हैं आपने मुझे भी यह लगता है कि मैं स्वस्थ हूं और सबसे सही चल रहा है अच्छा मिल रहा है खा रहे हैं पी रहे हैं तब तो है स्वर्ग यही और नहीं तो फिर नर्क भी यही है क्योंकि शरीर स्वस्थनहीं है
Baba saheb to bhagwan ko mante the ,,6 mhine tk hindu dhrm me aane ki kosis ki,,jb nhi aa ske dlito k uthan k liye bodh dhrm ko mana,,isliye baba saheb ki trf se mt bolna😂😂
@@rajasthanihindu2949 बाबा साहब की 22 प्रतिज्ञा सुनी है आपने पहले सुनो और फिर बताओ वो किसको मानते थे
@@rajasthanihindu2949 baba saheb ke bare mei ye baat jhoot hai 100% jhoot hai kyoki unhone khood hi eise dharm ko chhoda tha jisme aisi vaivastha hai jo kisi kisi ko janma se mahan banata hai na ki karm se vaise hindu dharm Aisa nahi hota ki unko ye dharm tyagana padta agar us manu ne manusmriti me itni galt galt bare na likhi hoti agar tumhe bura lage to maaf karna magar hindu dharm me ek hi sabse badi burai hai manusmriti agar tumhe yakeen na aaye to sirf ek baar use achhe se padh lena. Tumhe yakeen ho jayega Jin deviyo ko hindu dharm mei shiv ji Narayan aur bramha se bhi uncha sthan hai unhe bhi yani nariyo ko bhi usne sirf upbhog ki vastuye bataya likha hai manusmriti mei agar tumhe ek sachha Hindu banna hai to us manusmriti ko kabhi mat poojna kyoki jab tak vo hindu dharm mei rahegi tab tak jo aap usko Maan kar chalte ho vo burai bhi kabhi nahi mitegi main yah nahin kahta ki hindu dharm Bura hai main yah nahin kahta ki hindu dharm Bura hai bus Sabse badi Bura hai uske andar manusmriti hi hai Jo hindutva ko manavta aur bhaichare ke liye khatra banti hai aur han tumne Jo Baba sahab ke bare mein bola vah bilkul jhoot hai agar tumhen unhen samajhna hai to unko padh lena hamen Ramkrishna sabhi Ko padhana chahiye taki ham Sahi galat ko samaj sake usi tarah Babasaheb sant Kabir Jyotiba Phule Savitribai Phule Shivaji Maharaj un sabhi ko bhi padhna chahiye
@@Rohini_art_stage lgta he tune kitabe nhi pdi unki likhi hue,,tu bta bhgwan buddh kis dhrm ke the?
ईश्वर को भी मनुष्य ने ही बनाया है
W0w 100%writh
Insan ki rooh/ Atma hi Allah ishwar hai,
Jab aap Pooja karoge apna, to mehnat lagan prem se to aapko apna asli chehra dikhayi dega wahi ishwar hai.phir aap duniya ke sabse powerful admi ho aor apni Shakti se kuch bhi kar sakte ho.
Usi ka naam ishwar hai.
आपका ज्ञान कम समझदार को भी समझदार का सरदार बनायेगा मगर होना श्रद्धावान पडेगा ।चिकना घङा कोरा ही रहता है।तर्क बहुत सुन्दर और वैज्ञानिक हैं अंध विश्वास के नहीं है।बहुत बहुत आभार सा।
45:05
ईश्वर को जानने की एक निर्धारित प्रक्रिया है।इतने धर्म ग्रंथ, ऋषि मुनि ,अगणित साधकों की वाणी आदि आदि ईश्वर के होने के अनन्त बोध प्रमाण हैं। चुकिं सनातन धर्म सरल है, कट्टर नहीं है इसलिए दूसरा धर्म बढ़ रहा जबकि सनातन घटता जा रहा है।
क्या धर्मों के बीच में कोई स्पर्धा चल रही है जैसे सवारी गाडियां एक दूसरे को पछाड़ कर जो ज्यादा ताकतवर आगे बड़ जाती है। जैसे आपने कहा कि सनातन सरल है या कमजोर है इसलिए अन्य ताकतवर धर्म आगे बड़ रहा है। आप बताइए कि सनातन धर्म के अनुसार इन्सान के म्रुत्य के बाद क्या?
ईश्वर ने नियम बना दिया हमारे धर्म ग्रंथो ने नियम बता दिए हैं अब मानो या ना मानो हर एक इंसान को ईश्वर बताने थोड़ी आएगा जो चाहे करो अच्छा करोगे तो अच्छा परिणाम मिलेंगे बुरा करोगे तो बुरे परिणाम मिलेंगे सब यहीं पर मिलेंगे
गुरबाणी (मत गर्भ में आपन सिमरन देह तह टीम रखन hare)इस में जो रिफ्रेंस है वो ईश्वर की ओर है
अभी तक में सभी संत महात्मा औरआचार्य जी सभी अपनीअपनी दुकान चला रहे थे सभी का पर्दाफाश किया जगद्गुरु तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज उन्होंने एक ईश्वर की बात कहीहै हिंदू का ही शस्त्र नहीं बल्कि सभी धर्म का ग के आधार पर प्रमाणित कर दिया कि ईश्वर कौन है कहां रहता है यह सृष्टि कितनेदोनों में बने और यहां से कितनीदूरी है जहां पर कि हम सभी जीव रहा करते थे उस जगह का नाम क्या है
हरेकके शरीरको चलानेवाली जो चेतनशक्ती है वो आत्मा है ।आत्माये अनेक है।जो जन्म मरणसे न्यारा है वह परमात्मा है।परमात्मा एक है,चेतन है,सर्वज्ञ है,सर्वशक्तिमान है,सर्व श्रेष्ठ है।वह आकाशस्थ परे ब्रह्ममहतत्व,जिसको परमधाम कहते है,वहांका रहनेवाला है। वह सर्वव्यापी नही है।आत्माये अनेक है ,जन्म मरणे चक्रमे आती है।वह अल्पज्ञ,शक्तिमान बनती है।जन्म लेते लेते जब अपनेको आत्माके बदले शरीर समझने लगती है,शरीरके आकर्षणके कारण पापकर्म करना शुरू करती है और परिणामतः दुखी बनकर परमात्माको पुकारती है।
है
ये kliyug का prbhao जो Mann में aaye so कह diya bina bisswas और srdha ke vagwan नहीं milte pita ka v pita o है parampita Sampson saktiyo ka malik eswae
Nastik je science kisne banaya? Binapada likha tapashwi kaise likhta hai bade bade grantha , kya tumari science ne likha? ye kaise sambhav huwa?
संत रामपाल जी महाराज जी के सत्संग सुनो सब कुछ स्पष्ट हो जाएगा।साधना चैनल शाम 7.30 से 8.30 तक।
Tujhe kuch pat nahi rampal ko suna
शब्दावली सम्मान पूर्वक बोलिये
जेसे दूध में माखन लकड़ी में अग्नि वैसे ही ईश्वर कण कण में है
मैं घर के डराम में चावल रखा उसमें सुरा कहा से आ गया, ईश्वर होने का बोध होता है।
आपने कहा क्रिएशन है तो क्रिएटरहै हर क्रिएशन का क्रिएटर हमें नजर आता है फिर इस ब्रह्मांड का क्रिएटर हमें नजर क्यों नहींआता
गुरुजी पहले मुर्गी आई कि अंडा ?
Guru Granth sahib ji Guru bani se seekho Baba Nanak ji aur Maha Purshon parmatma ko kaise darshan kiye hai aur kaise parmatma ki pehchan hai.
Nature ne
God hai.
Maybe 👽
Tarh,tarh,,ke,bhasa,,bolne,,se,,duniya,me,atyachar,,badhta,,hai,li,liye,,sabko,,Shambhu,sadhu,ka,bat,manna,padega,aur,unhin,ke,raste,par,chalna,padega,
ईश्वर कहा है वेद पुराणों में पढ़ लो प्राप्त करने की विधि किसी तत्व दरसी संत के शरण से मिलेगा
किसीका सुनो ज्ञान गृह करने की प्रेरणा.अंततः करण में प्रकाशित होती है शुद्धीकरती 45:05 45:05
वेद लिखने वाला भी मनुष्य है कोई ईश्वर वेद पुराण नही लिखा। कागज का अविष्कार भी मनुष्य ने किया कोई ईश्वर ने नही किया। ईश्वर की उत्पति भी मनुष्य ने किया है।
Guru Ji - Na thhe dharti na Thha amber na thha Noou Lakh tara bran vishnu Mahesh nahin thee na thha sirzen hara chand nahin thha surya nahin thha na thha barsan haha Tab
Vigyan se prani amer nhi ho skta.
😅
क्या कोई इन्सान २ लड़की और २ लड़का पैदा कर सकता है अपने आप में कन्फर्म कर सकता है..... नहीं क्योंकि सब नेचर के अधिन होता है....
ईश्वर से कह दो ना के बच्चे पैदा कर दे मां बाप की क्या जरूरत है मां आप के बच्चे पैदा करता नहीं बनता भी नहीं