Ik zaraa se husn par itni akad | Kushal Dauneria | OnStage 2.0 by Poetistic

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  • Опубліковано 10 лис 2023
  • Prepare to be spellbound by the soul-stirring Shayari performance of the exceptionally talented Kushal Dauneria at the "OnStage - A Shayari Event." 🎙️
    In this captivating video, Kushal Dauneria takes the stage and weaves magic with his words, leaving the audience in awe. His eloquent expressions, heartfelt verses, and magnetic stage presence will transport you to a world of emotions and poetry.
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    Lyrics:
    चल गया होगा पता ये आपको
    बेवफ़ा कहते हैं लड़के आपको
    इक ज़रा से हुस्न पर इतनी अकड़
    तू समझती क्या है अपने आपको
    ********
    सारे का सारा तो मेरा भी नहीं
    और वो शख़्स बेवफ़ा भी नहीं
    ग़ौर से देखने पे बोली है
    शादी से पहले सोचना भी नहीं
    जितना बर्बाद कर दिया तूने
    उतना आबाद तो मैं था भी नहीं
    ********
    पहले उदासी बन के ये चेहरे पे आ गया
    फिर इश्क़ मेरे ख़ून के क़तरे पे आ गया
    मैंने तो आँख मींझ के छोड़ा था एक तीर
    वो हुस्न अपने आप निशाने पे आ गया
    उसको कभी भी छूने का सोचा नहीं था पर
    इक रात वो बदन मेरे कमरे पे आ गया
    तू भी तो मेरे साथ कभी सिगरेटें जला
    मैं भी तो तेरे कहने से चाय पे आ गया
    ********
    कोई मदद करे तो उसका शुक्रिया अदा करे
    उसे कहो कि हर किसी को दिल नहीं दिया करे
    मैं देखता हूँ रोज़ रोज़ इस क़दर हसीन जिस्म
    कहाँ से बन के आ रहे हैं कोई तो पता करे
    लबों पे हाथ रख रही है ख़ुदकुशी की बात पर
    हज़ार बार बोला है कि होंठ रख दिया करे
    ********
    छोड़ कर जाने का दस्तूर नहीं होता था
    कोई भी ज़ख़्म हो नासूर नहीं होता था
    मेरे भी होंठ पे सिगरेट नहीं होती थी
    उसकी भी माँग में सिंदूर नहीं होता था
    ********
    दाग़ ये कैसे तेरे दामन के हिस्से आ लगा
    तू उतरते ही फ़लक से किसके सीने जा लगा
    आज जब तू अस्पताल आई थी मुझको देखने
    मैं तो अच्छा न हुआ पर देख कर अच्छा लगा
    आज भी मैं तेरी ख़ातिर सब रक़म दूँगा चुका
    ये बता तू बस तेरी शादी में क्या ख़र्चा लगा
    ********
    सुबह करता है रात करता है
    जाने क्या दिल के साथ करता है
    किसी दिन घर से भाग आऊँ तो
    पास रख लेगा बात करता है
    ********
    कुछ आँसुओं से इश्क़ की टहनी हरी हुई
    बाहर से ख़ुश्बूदार है अंदर सड़ी हुई
    तुम बी ए करना चाहती थी उसका क्या हुआ
    और जो तुम्हारी बेटी थी कितनी बड़ी हुई
    ********
    कोई हसीं तो कोई दर्दनाक समझेगा
    मेरा मिज़ाज वही ठीक-ठाक समझेगा
    मैं जिस के साथ कई रातों से हूॅं उसका नाम
    बता तो दूॅंगा मगर तू मज़ाक समझेगा
    वो जिस हिसाब से गाता है उस से लगता है
    कि मेरे दुख को तो बस बी प्राक समझेगा
    ********
    क़िस्सा तेरे मेरे कॉलेज वाले टाइम का
    जैसे टूटा कोई कप रेड वाइन का
    जैसे ब्लैक एंड व्हाइट मूवी का सीन हो
    जिसमें बस तेरी ही साड़ी रंगीन हो
    जिसमें साउथ के विलेन ने तुझको घेरा हो
    अब कौन बचाएगा तुझे ऐसे कह रहा हो
    मैं दौड़ा चला आऊँ ऐसे सीन्स में
    घुटनों से आधी फटी जीन्स में
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    #KushalDauneria #ShayariPerformance #OnStageEvent #SoulfulVerses
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