Textual variations in the Hanuman-Chalisa | हनुमान्-चालीसा में पाठभेद | Hin

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  • Опубліковано 14 лис 2024
  • हनुमान्-चालीसा के पाठभेदों पर विस्तृत चर्चा।
    १) “शंकर-सुवन केसरी-नंदन” अथवा “शंकर स्वयं केसरी-नंदन” अथवा “शंकर वरद केसरी-नंदन” अथवा “शंकर-शक्ति केसरी-नंदन”
    २) “सबपर राम तपस्वी राजा” अथवा “सबपर राम राय सिरताजा”
    ३) “सदा रहो रघुपति के दासा” अथवा “सादर हो/तुम रघुपति के दासा”
    ४) “जो सत/शत बार पाठ कर जोई” अथवा “यह सत/शत बार पाठ कर जोई”

КОМЕНТАРІ • 323

  • @MrChauhanmanoj007
    @MrChauhanmanoj007 Рік тому +70

    जैसी चर्चा एक विद्वान से अपेक्षित है, वह यह है।

    • @gajanandsharma6247
      @gajanandsharma6247 Рік тому

      आप जैसे मूर्खो पर बलिहारी है😂

    • @ramjigupta5416
      @ramjigupta5416 Рік тому +3

      ... सदैव पूर्णतः प्रमाणित चर्चा ही होती हैं।

    • @r.a.shukla9617
      @r.a.shukla9617 Рік тому

      ​@@ramjigupta5416 🎉🎉🎉🎉🎉🎉🎉

    • @aishwaryasharma3560
      @aishwaryasharma3560 Рік тому

      F

  • @Roar1921
    @Roar1921 Рік тому +64

    मैं बेंगलुरु से हूं। तुलु मेरी मात्ऋ भाषा हैं। मैं शुद्ध हिंदी के लिए आपको सुनती हूं। आपकी भाषा कानों को बहुत अच्छी लगती है। मुझे लगता है कि दक्षिणी भाषाओं में बहुत सारे सामान्य शब्द हैं शुद्ध हिंदी से। यदि हर कोई आपकी तरह हिंदी बोलते तो एक दूसरे की भाषा सीखना तनिक सरल होता। 🙏🙂

    • @pahadi1500
      @pahadi1500 Рік тому +6

      बहुत सही बात कही आपने। इस्लाम ने उर्दू का बहुत प्रचार किया। आज यह काम बॉलीवुड कर रहा है। जिसे शुद्ध हिंदी आती है वह संस्कृत सीख सकता है। और दक्षिण भाषाएं भी सीख सकता है🚩🙏

    • @flyingspaghettimonster2925
      @flyingspaghettimonster2925 Рік тому

      ​@@pahadi1500 भांडवुड में म्लेच्छ बहुत संख्या में रहे हैं सदैव

    • @rupamraj9066
      @rupamraj9066 Рік тому

      Nityananda Misra might be good at Hindi language but his Guru Swami Rambhadrachrya is a repeat offender. He blames Adi Shankaracharya for his statement (द्वारं किमेकं नरकस्य नारी) which is actually menat for Sanyasi and Brahmcharis. His most controversial statement is प्रक्षिप्तवाद (interpolation) of Uttar Kand of Valmiki Ramayan and Gopi Vastra Haran. Swami Raghvacharya has also refuted this instance ( ua-cam.com/video/p9bLMhnv21k/v-deo.html ). Nigrahacharya Shri Bhagavatananda Guru has made several videos (ua-cam.com/play/PL_UOyP4N1Lteu1oUDuHf91pBBCQDmkZ1L.html) regarding Anti Shastras statements of Swami Rambhadracharya

    • @KrishnadasBharatikb
      @KrishnadasBharatikb Рік тому +1

      The battle for assertion of one's language, both spoken and written forms the first soft-line of defence to divide the country and probably the last to fade away after the division ceases to exist.

    • @pahadi1500
      @pahadi1500 Рік тому

      @@rupamraj9066 भाई उत्तर रामायण प्रक्षिप्त है।

  • @shobhachandla7132
    @shobhachandla7132 4 місяці тому +1

    बहुत बहुत आभार । अग्निसूक्त की व्याख्या करने के लिए । आपकी विद्वता को प्रणाम् ।

  • @cdhd252
    @cdhd252 Рік тому +4

    जय श्रीराम जय बजरंग बली 🚩🚩🚩🕉️🙏🙏🙏🌹🌹

  • @ultimatetransformation393
    @ultimatetransformation393 9 місяців тому

    नित्यानंद जी आप बड़े ज्ञानी तथा बुद्धिजीवी हैं। किसी भी बात का प्रमाण बताने में आप बहुत प्रवीण है।

  • @TheMotivationalQuotes8
    @TheMotivationalQuotes8 Рік тому +1

    भईया नमो राघवाए बहोत से youtuber गुरुजी के बारे मे उलट सुलट बोल रहे है । आप बहोत धन्यवाद आपने सबको सही बात बताई

    • @aravindvaishnava3550
      @aravindvaishnava3550 Рік тому +1

      Bro! Ignore them. They are just jealous freaks. Swami Rambhadracharya is an excellent scholar who values academic and reasonable thinking and those freaks are jealous of Swamiji because Swamiji openly denounces the practice of untouchability and treats all Hindus equally. Those who give logical fallacies to prove their arguments are more likely to use ad hominem, attacking the person rather than the Claim.

  • @lalitpant2187
    @lalitpant2187 Рік тому +3

    पण्डित जी आपने बहुत ही सारगर्भित, शास्त्रीय और शालीन बिधि से विवेचन किया है।आप सनातन धर्म और संस्कृति की पूँजी हैं। ईश्वर आपको दीर्घायु प्रदान करे।जगद्गुरू राम भद्राचार्य जी भी परम् पूजनीय सन्त हैं, उनकी भी कोई बात मनमानी नहीं हो सकती। मगर मैं तो उसी पाठ को मानूँगा जो बाल्यकाल से सीखा है।

  • @no-one3296
    @no-one3296 Рік тому +6

    Mai to Geeta press gorakhpur ko he authentic manta hu. Jiski stapna Pujye shri Hanuman Prasad Poddar ji aur Jay dayal goyandka ji jese mahan bhakto dwara hui aur jinke kaaran aaj ghar ghar mey Bhagwat Geeta, Ramcharitmanas aur Hanuman chalisa jesi pustakey hai🙏🙏🙏

    • @no-one3296
      @no-one3296 Рік тому +1

      @Maruti Vega mera ye matlab nahi tha. Aur kisne kaha Bhagwan shankar khud avtaar nahi lete? Adi guru Shankracharye ji ka naam suna hai? Wo swayam Bhagwan shankar ka he avtaar thay. Wo naa hote to Bharat se Sanatan dharam kabka mit chuka hota. Unhone aa kar Bhodh dharam ke prabhav ko kam kar diya aur fir se sanatan Dharm ko sashakt banaya.

  • @HitnPro
    @HitnPro Рік тому +10

    अद्भुत ज्ञानवर्धन। आपने हमारे ज्ञानचक्षु खोल दिए। धन्यवाद।

  • @drhardikjoshi
    @drhardikjoshi Рік тому +29

    Dear Nityanandji, an excellent indepth description as always... many thanks. Your discussion also helps to learn many new things related to Sanskrit ...

  • @caarvaak
    @caarvaak Рік тому +36

    संदेह/भ्रांति दूर करने के लिए आभार 🙏
    1950-60 के बाल्यकाल में जो सीखा, वही आज भी कंठस्थ है. दो त्रुटियां हैं जो ठीक करनी पड़ी हैं.
    लगभग 20:50 पर उद्धृत कालिदास का श्लोक, निश्चय ही मूढता से बचने में मार्गदर्शन करेगा.
    क्या ही अच्छा हो कि यह लिपिबद्ध कर सकें.
    धन्यवाद .

    • @caarvaak
      @caarvaak Рік тому

      मिश्र जी,
      चलचित्र में उद्धृत कालिदास के श्लोक को व्याख्या सहित लिपिबद्ध करने हेतु अनुरोध किया था ताकि आप की बात ज्यों-की-त्यों अन्य लोगों तक पहुँचाई जा सके.

  • @hershchat
    @hershchat Рік тому +1

    साधु सोभनीय समीक्ष्ण। नित्यानंदजी धन्य हैं। परआलोचना व विवाद को त्यज, इस ही प्रकार के विवेचन अभीष्ट हैं।
    हरि ॐ।

  • @prashantdeshmukh3944
    @prashantdeshmukh3944 5 місяців тому

    यह चलचित्र के श्रवणसे बहुत संतोष मिला। आभार।

  • @bhagwanmishra7243
    @bhagwanmishra7243 Рік тому

    भगवान ब्रह्मा ने रामावतार के साथ सभी देवों को वानर योनि में जन्म लेने के लिए आदेश दिया था और स्वयं जामवंत के रूप में तथा शंकरजी एकादश रूद्रावतार हनुमान जी की भूमिका में हैं।इसी तरह बाली सुग्रीव नल नील आदि के वारे में भी इंद्र सूर्य विश्वकर्मा आदि। सीता द्वारा हनुमान जी को बरदान देते समय भी करहु सदा रघुनायक छोहू।अजर अमर गुननिधि सुत होहू। बहुत सुंदर विवेचन है। धन्यवाद

  • @Hanudaas
    @Hanudaas Рік тому

    अति उत्तम जेष्ठ भ्राता 🙏नमो राघवाय श्री सीताराम 🙏

  • @lokeshgautam4015
    @lokeshgautam4015 Рік тому

    जय अंजनिकुमार बलवन्ता। शंकरसुवन वीर हनुमन्ता।।
    फिर तो इस में भी स्वयं करना।

  • @gopalpur2
    @gopalpur2 Рік тому +5

    प्रभु जी 👑 हिंदी 🙌 Logic, reasoning, respectful 🙏🙏🙏💐

  • @rahulanand5076
    @rahulanand5076 11 місяців тому +1

    आपकी प्रशंसा करता हूं इतना अनुसंधान के लिए

  • @mukeshdwivedi5510
    @mukeshdwivedi5510 Рік тому +13

    Very polite and logical presentation leaves no disputes.

  • @Roar1921
    @Roar1921 Рік тому +28

    I used to love talking like in Mahabharatha and Ramayana even as a kid. Would use किन्तु परंतु with my north indian friends in school, but it was a comedy for them. Hence, stopped speaking🙄 I hope your videos become more popular and your hindi becomes colloquial 🙏

    • @NFah43Bk
      @NFah43Bk Рік тому +4

      North Indians speak nowadays Urdu , you don't have to be ashamed Hindi is sanskritised. And that is how it should be accepted

  • @viralgaming6569
    @viralgaming6569 8 місяців тому +1

    अति उत्तम प्रयास, शत शत प्रणाम

  • @pradeepshukla3970
    @pradeepshukla3970 Рік тому +2

    Jai Shree Ram 🙏 Thanks for uploading this video which brings forth proper textual content of Shri Hanuman Chalisa 🙏🙏

  • @ekamsat06
    @ekamsat06 Рік тому +8

    जय श्री कृष्णा गुरुजी 🙏🙏🙏

  • @shyamkantverma1262
    @shyamkantverma1262 Рік тому +5

    Nityananda ji 🙏 for very Rational and decent Analysis.

  • @geetmeetsangeet2169
    @geetmeetsangeet2169 Рік тому

    महाजनो येन गतः स पन्था

  • @brainstorming9
    @brainstorming9 Рік тому +5

    अति सुंदर चर्चा! अभिनन्दन! साधुवाद! 🙏🙏

  • @rajushing2130
    @rajushing2130 Рік тому +5

    🙏🚩जय श्री राम 🚩🙏

  • @maheshkumarram6112
    @maheshkumarram6112 Рік тому +1

    Gyanvardhak jankari di aapne very nice

  • @shankarlaljatshankar6905
    @shankarlaljatshankar6905 Рік тому

    बिल्कुल सही कहा आपने
    सही पंक्ति
    शंकर स्वयं कैसरी नंदन ही हो सकता हे
    शंकर सुवन केशरी नंदन हो ही नही सकता

  • @sujeetjha
    @sujeetjha Рік тому +2

    Jai Shree Raam.
    Bahut Bahut Dhanyawad

  • @deveshkumarsingh2168
    @deveshkumarsingh2168 Рік тому

    Jai shree Sita Ram Hanuman 🙏🙏🙏🙏🙏🎉 🇮🇳🎉 🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏

  • @parasnathyadav3869
    @parasnathyadav3869 Рік тому

    जय श्री कृष्ण नित्यानद जी

  • @ramjigupta5416
    @ramjigupta5416 Рік тому +6

    सब-कुछ स्पष्ट हो गया है। अल्पज्ञ को इसपर बहस नहीं करना चाहिए। सनातन धर्म के परम विद्वान स्वामी रामभद्राचार्य जी ने जो कहा हैं वह पूर्णतः सत्य है। नित्यानंद जी ने चलचित्र में अनेकों साक्ष्यों को दिखा दिया हैं। अब भी जो ना माने उसे मैं क्या कहूं?
    परमपूज्य स्वामी रामभद्राचार्य जी को शत् शत् नमन 🙏🏻
    हिंदीं एवं संस्कृत भाषा के विद्वान श्री नित्यानंद मिश्र जी को सादर नमन 🙏🏻

  • @abhayvaygaonkar2425
    @abhayvaygaonkar2425 Рік тому

    जय श्री राम् ।

  • @LOL-tz5kt
    @LOL-tz5kt Рік тому +2

    बहुत सही कहा। जय सिया राम लखन हनुमान

  • @JDsupervideos225
    @JDsupervideos225 Рік тому

    I started chanting according to Sri Ram Bhadrachrya Ji's correction but got a bit confused of different types of opinions. Now my confusions are cleared. Aapko hriday se Dhanyawad.🙏🙏🙏

  • @vasalji
    @vasalji Рік тому +1

    धन्यवाद श्रीमान! अपने बहुत सुन्दर एवं सरल भाषा में अपने विचार रखे | हनुमान चालीसा में जो " जुग सहस्त्र जोजन पर भानू । लील्यो ताहि मधुर फ़ल जानू ॥" का हम पाठ करते हैं, कुछ लोगों का कथन है कि यह मूल पाठ में नहीं है और बाद में किसी ने जोड़ा है | परन्तु यही बात हनुमानाष्टक में भी मिलती है "बाल समय रवि भक्षि लियो तब तीनहूँ लोक भयो अँधियारो" | मेरा आपसे विनम्र निवेदन है कि इस सम्बन्ध में भी उचित मार्गदर्शन प्रदान करने की कृपा करें | |

  • @dsrajpoot9440
    @dsrajpoot9440 Рік тому

    🕉 NamahShivay 🕉

  • @vandematram8205
    @vandematram8205 Рік тому +4

    Dhanywad Nityananda Ji

  • @madhavpratapsingh8274
    @madhavpratapsingh8274 Рік тому +6

    बजरंग बाण में भी शंकर सुवन वीर हनुमंता वाक्य आया है अतः आप मूल स्वरूप को भी मान सकते हैं।
    वैसे कोई भी पाठ करें दोनों के हो समान लाभ हैं।
    गीता प्रेस अति प्राचीन है शिलालेख से भी ज्यादा प्राचीन। मैं तो गीता प्रेस को ही प्रमाणिक मान रहा हूं। मूल लेखक ने क्या लिखा ये सबसे महत्वपूर्ण बाद में कोई भी अपने हिसाब से edit कर सकता है। प्रेम चंद ने जो लिखा उसमें कोई भी संशोधन कर सकता है लेकिन मौलिक तो प्रेमचंद का ही होगा
    गुरु राम भद्राचार्य जी को सादर नमन

  • @janardanprasadpandey4180
    @janardanprasadpandey4180 Рік тому

    भ्रम निवारण हेतु हार्दिक आभार।
    🙏 🙏

  • @lovvvv68
    @lovvvv68 Рік тому +14

    Such an incredible gentleman.... महोदय, आपके लालन पालन का क्या रहस्य है??

  • @Madimanojg
    @Madimanojg Рік тому

    It is really laudable that you are taking so much efforts to dig out sources and explain even the pettiest of the things. Nothing offensive in my statement as it is a pity that the present generation is not even aware of the pāṭhabhēda we find in our purāṇic traditions. You must encourage your followers for swādhyāya than spoon feeding.

  • @jagadishmandal2627
    @jagadishmandal2627 Рік тому +1

    Jay shree ram

  • @yogendramohan2809
    @yogendramohan2809 Рік тому

    मान्यवर सादर नमस्कार जय हो

  • @kritiroy9142
    @kritiroy9142 Рік тому

    आप खुब सही, समय अनुकूल बात रखी 🙏

  • @lokeshgautam4015
    @lokeshgautam4015 Рік тому +1

    sir ji jai shree Ram , apka bahut bahut dhanyawad sare sandeh clear karne ke liye .
    kripa kar ke ye bhi clear kro ki Bajrang ban mei bhi sankar swaym hi sahi rahega.

  • @harshbehl4
    @harshbehl4 Рік тому +1

    Jai Shri Ram

  • @theviraltrendsofficial
    @theviraltrendsofficial Рік тому +17

    हमेशा से संकर सुवन ही है वही सही है...अगर आपको लगता है की वो प्रिंट मिस्टेक है तो फिर बजरंग बाण में भी एक जगह संकर सुवन कहा गया है तो आप कहेंगे वहां भी प्रिंटिंग मिस्टेक हुई है ऐसा नहीं है प्रभु..हनुमान गड़ी में लिखा हुआ ज्यादा पुराना नहीं है 1966 का ही है गीता प्रेस की स्थापना 1923 में हुई थी..ऐसे बहुत से प्रमाण आपको दे सकता हू...

  • @rohitpushp330
    @rohitpushp330 Рік тому

    Salute u ... विद्वान

  • @bitsbytes4454
    @bitsbytes4454 Рік тому +6

    जय जय श्री हनुमान 💐🚩🙏

  • @chadetrikrout
    @chadetrikrout Рік тому

    Jai Shri Ram🙏

  • @JayantPatnaik12
    @JayantPatnaik12 Рік тому +2

    Saari purani lipiyon me shankar suvan hi likha gya hai . 1837 ki lippi me bhi shankar suvan hi likha gya hai . 1628 ki lippi me bhi shankar suvan hi likha gya hai . Kevan 1940 aur 1966 me shankar swayam likha gya hai

    • @NityanandaMisra
      @NityanandaMisra  Рік тому

      क्या आप इन‌ सबका लिंक दे सकते हैं?

  • @kuldeepkumarpadha1561
    @kuldeepkumarpadha1561 Рік тому +1

    अति सुन्दर!

  • @varadarajcuram2238
    @varadarajcuram2238 Рік тому +3

    Just chant any with faith. Forget everything else.

  • @babinchatterjee9317
    @babinchatterjee9317 Рік тому

    Amazing analysis and hardwork...

  • @deepakjoshi5744
    @deepakjoshi5744 Рік тому +1

    साधुवाद 🙏🏽

  • @maimaihum4686
    @maimaihum4686 Рік тому +1

    आपका धन्यवाद 🙏🚩

  • @mukulsharmaknh
    @mukulsharmaknh Рік тому +4

    Shriman ji bajrang baan me bhi Shankar suvan likha hai yadi aap iske upar bhi thoda bataen
    जय अंजनि कुमार बलवंता। शंकरसुवन बीर हनुमंता॥

  • @bajrangsingh7414
    @bajrangsingh7414 Рік тому

    Apne sab clear kar diya. 👍👍👍

  • @rajendrakumarjha9833
    @rajendrakumarjha9833 Рік тому

    सादर प्रणाम।सुना है बजरंग बाण में सुवन पाठ है।

  • @ashit_pandey
    @ashit_pandey Рік тому

    नित्यानंद जी मेरा भी अभिवादन स्वीकार करें।किसी भी विषय पर धाराप्रवाह बोलना एक अभ्यास हो सकता है परंतु बोलने की कला के साथ-साथ जिससे या जिनसे कथन किया जा रहा है उसे / उन्हें विषय के साथ आत्मसात् कर लेना अभ्यास का परिणाम नहीं है अपितु यह एक कठिन परिश्रम है जो शोध व भगवदकृपा से ही संभव है ।🙏💐

  • @ganeshanram3225
    @ganeshanram3225 Рік тому

    Well researched, Sir. A good presentation. You are very clear and lucid.

  • @raghavverma7306
    @raghavverma7306 Рік тому

    Jai Shri krishna from raghav Verma KARNAL

  • @सुनोऔरसोंचो

    किसी भी महात्मा के संशोधन और किसी भी पुराने अभिलेख को हनुमान चालीसा प्रेमी न मानें। प्रेमभाव से पाठ जारी रखें जो कंठस्थ कर
    लिया है। हनुमानजी सर्वव्यापक हैं वो व्याकरण
    और तुकबंदी नहीं देखते।आज के ज्यादातर साधु-संत अपना मंतव्य थोप रहे हैं जिनको सुनने
    पर भावभंग होता है।भाषा पीछे भाव आगे है।हर हर महादेव।

  • @gulshangupta1899
    @gulshangupta1899 Рік тому

    Thanks a lot for clarification 🌹🙏🙏🙏🙏naman

  • @grvmohan1
    @grvmohan1 Рік тому +2

    अति उत्कृष्ट

  • @SonofSoma108
    @SonofSoma108 Рік тому +9

    THIS IS A HUGE HUGE HUGE PROBLEM FOR THOSE WHO DO SADHANA OF HANUMAN JI USING HC, BECAUSE NOW A LOT ARE CONFUSED BUT PERSONALLY I THINK THE OLDER VERSION WHICH WE GREW UP LISTENING TO IS THE CORRECT ONE BECAUSE I HAVE SEEN MANY PEOPLE GETTING RESULTS BY DOING SADHANA OF THAT ONE

    • @rupamraj9066
      @rupamraj9066 Рік тому

      Regarding Hanuman Chalisa (ua-cam.com/video/g403DYs9c2A/v-deo.html). Nigrahacharya Shri Bhagavatananda Guru has made several videos (ua-cam.com/play/PL_UOyP4N1Lteu1oUDuHf91pBBCQDmkZ1L.html) regarding Anti Shastras statements of Swami Rambhadracharya

    • @aravindvaishnava3550
      @aravindvaishnava3550 Рік тому

      @@rupamraj9066 Who gave him the title of Nigrahacharya. He used ad hominem toward Swami Rambhadracharya instead of disagreeing respectfully. He supports untouchability practices toward the Dalit communities. He doesn't know how much humiliation, prejudice, untouchability, and discrimination the 35 Crores Dalits and Tribals face. He means to say that if Brahmins decided to live in poverty, so Dalits should accept their position in Society. He doesn't ever talk about the Dignity of Labor of Dalits, except for yelling about how Brahmins left 90% of the occupations for Dalits, UNTOUCHABILITY is the problem not occupation. Either he should provide scientific evidence for his untouchability claims or he should conveniently shut the f*ck up. Thousands of Dalits are leaving Hindu Dharma just because of untouchability and your Nigrahacharya is endorsing it and ironically, these kinds of people conveniently blame discontent among Dalits onto Politicians, Missionaries, etc, except themselves. Hypothetically, even if Ravidas and Kabirdas ever came to meet him, he would definitely never let them in their house as they would pollute their homes.
      He even abused Swami Vivekananda. Swami Rambhadracharya is an intellectual who values academic thinking and almost all academicians have come to the conclusion that Uttarakanda Ramayana is an interpolation, from Prof. Camil Bulke to Prof. Rajni Raman Jha. Their evidence is based on logic and facts and you and your so-called Nigrahacharya could use only Logical Fallacies. And regarding the Sanyasa of Swami Rambhadracharya, Swamiji has not taken non-Shastric sannyasa, those disability rules concerning sannyasa can be only applicable to those who are born with disabilities not who became disabled after normal birth like Swami Rambhadracharya. He was made Vaishnavacharya by Saints who are well-versed in shastras. Do you think that he would dismantle the prestige of Swamiji, if you are thinking, then it can never be possible.
      His Advaita Sampradaya and perhaps yours have not been able to produce one saint from a Sudra background. And they claim to be well-wishers of Dalits ironically. Smarta Advaita Sampradaya is for the Brahmins, by the Brahmins, and of the Brahmins. They should stay away from Dalits and live their own life.
      I am not Swami Rambhadracharya Shisya, I am a Skeptic Hindu who values both Science and Hindu Philosophy, who only believes in facts and reason not logical fallacies.

  • @jaggimanish
    @jaggimanish Рік тому +2

    Sir read your book mahavira ..really loved reading it

  • @sarojabv2339
    @sarojabv2339 Рік тому

    Thank you so much for the detailed explanation.🙏

  • @anuragsingh4522
    @anuragsingh4522 Рік тому

    क्या "ॐ नमः शिवाय" को छोड़कर "श्री शिवाय नमस्तुभ्यं" को अपनाना धार्मिक दृष्टि से सही है?

  • @shivseedsmultai5425
    @shivseedsmultai5425 Рік тому +2

    बहुत ही सुंदर

  • @ravishkrishnan9602
    @ravishkrishnan9602 Рік тому

    Very very thanks Bhaiya jee

  • @karnkashyapachintya
    @karnkashyapachintya 9 місяців тому

    I want to write that kalidas shlok with meaning. And i will stick that for my students , in my class room

  • @sanjayjha6759
    @sanjayjha6759 Рік тому

    आप अनुसंधान कर जो व्याख्या की है, सराहनीय है

  • @jaybharat3677
    @jaybharat3677 Рік тому +3

    👌🏻👌🏻👌🏻🙏🏻

  • @hariharbramha
    @hariharbramha Рік тому +1

    यही सनातन है

  • @vijayshankarmishra9168
    @vijayshankarmishra9168 Рік тому +2

    हर हर महादेव! शंकर स्वयं कभी नहीं होगा क्योंकि विश्वास घात का असर होगा! हनुमान जी ग्यारहवां रूद्र है जिस रूप में पूजा स्वीकार नहीं किया था !

  • @arunjoshi6508
    @arunjoshi6508 Рік тому

    आपका विवेचन विचार करने को प्रोत्साहित करता है. हम १२ वर्ष की आयु से नित्य हनुमान चालीसा का पाठ करते हैं. मेरे मन मे ये प्रश्न है "जो सत बार पाठ कर कोई" मे आने वाला शब्द सत का अर्थ ७ है या १०० बार है? कृपया इसे बताये . धन्यवाद!!!

  • @sanjayjoshi8363
    @sanjayjoshi8363 Рік тому

    🙏🙏🙏🙏🙏🙏

  • @rajkumarhirwani1598
    @rajkumarhirwani1598 Рік тому

    बहुत सुंदर 🎉🎉🎉

  • @sunandaparmeshwar489
    @sunandaparmeshwar489 Рік тому

    Thank you 🙏

  • @geetmeetsangeet2169
    @geetmeetsangeet2169 Рік тому +4

    शङ्कर स्वयं केसरी नन्दन। यह तो कुछ युक्ति संगत लगता है। बाकी आप की गुरुभक्ति है। लाखों स्थानों पर लाखों प्रतियों को छोड़कर चन्द प्रतियों का अनुकरण आपकी गुरुभक्ति मात्र है। बाकी जिसके गुरुगोविन्द जो आदेश करें वही श्रेयस्कर है।

  • @MayurMate24
    @MayurMate24 Рік тому

    धन्यवाद।

  • @shubhamkaushik4u
    @shubhamkaushik4u Рік тому

    bahut sundar 👏👏👏👏

  • @madansharma2700
    @madansharma2700 9 місяців тому

    प्रणाम, प्राथना है कि महिषासुर मर्दिनी strotam का भावानुवाद प्रस्तुत करें बहुत कृपा होगी।

  • @RamayanaShorts
    @RamayanaShorts Рік тому +2

    मुझे एक original श्री रामायण जी की प्रति चाहिए। आपसे आग्रह है प्रत्युत्तर करें श्रीमान 🙏🙏🙏

  • @mycornerwithyou
    @mycornerwithyou Рік тому

    हमारे लिए वही सही है जो हम आज तक सुनते आए क्योंकि इसमें हमारे भगवान भी प्रसन्न है क्यू कि भगवान भाव देखते है शन्द नही फिर तो जो सुंदर काण्ड मे ढोल गवार वाली है उसके बारे में भ भी एसा कुछ है क्या

  • @neelammishra7201
    @neelammishra7201 Рік тому +1

    जी ,आजकल रामायण में सीता जी द्वारा किए मां गौरी की स्तुति को भी कुछ राम कथा कहनेवाले अलग शब्द का प्रयोग कर रहे हैं। जैसे " जय जय जय गिरिराज किशोरी"
    और जय जय गिरिवरराज किशोरी !!

  • @jigarpathak6857
    @jigarpathak6857 Рік тому +2

    Sir, great job. Thanks. I wanted to know the meaning remains the same, or does it differ a lot? 🙏

  • @deepakSharma-ig9hw
    @deepakSharma-ig9hw Рік тому

    Excellent explanation

  • @arijitjoshi8968
    @arijitjoshi8968 Рік тому

    🙏🏽

  • @amitjisu15
    @amitjisu15 Рік тому

    Bahut bahut dhanyawad🙏

  • @Bharatglory
    @Bharatglory Рік тому

    Hari Om.. Nityanand ji.. I will request you to please convert all your videos into a podcasts.

  • @অভিরূপসিনহা

    Vai, gita press ka hanuman aank book aapka pass hya?

  • @abhinavkarkare
    @abhinavkarkare Рік тому

    Atisundar.

  • @SanskritRoaster
    @SanskritRoaster Рік тому +18

    मिश्रा जी सादर नमस्कार । यहाँ एक सूक्ष्म बात आप मिस कर गए । आपने सिद्ध तो कर दिया कि सारे पाठभेद किसी न किसी "शाखा" में समर्थित हैं, किन्तु सभी भिन्न भिन्न शाखाएँ भी तो हैं । अतः प्रचलित पाठ अपने आप में एक शाखा बनाता है, जिसका संशोधन सम्भव नहीं । ठीक वैसे ही जैसे एक शब्द आधा पाणिनि के व्याकरण से और आधा कात्यायन (कच्चायन) के व्याकरण से सिद्ध हो जाने पर किसी भी भाषा का शब्द सिद्ध नहीं होता, न संस्कृत का न पालि का । दूसरी बात ये है कि जिसके द्वारा पत्थर पर उकेरवाया गया है वो गोरखपुर के एक महाशय प्रतीत होते हैं, जाहिर है उन्होंने अपनी परम्परा ("शाखा") का निर्वहन किया । और ताज शब्द उर्दू का है, मूलपाठ में होना अयुक्त बैठता है, भले ही कुछ उर्दू शब्द संतप्रवर की रचनाओं में मिलते हैं । क्योंकि दो शाखाएँ क्रमशः उर्दू और संस्कृत पाठ वाली उपलब्ध हैं तो निर्णय संस्कृत के पक्ष में ही जाएगा ।

  • @Chetukundu
    @Chetukundu Рік тому +1

    श्री राम चरित मानस के बाल काण्ड में शुरुआत में ही तुलसीदास जी ने गरीब नेवाजू और साहिब जैसे फारसी शब्द का प्रयोग किया है ।

  • @mahendrajaiswal3070
    @mahendrajaiswal3070 Рік тому

    श्रीमान नित्यानंद जी, श्रीमान नीलेश ओक द्वारा रामायण तथा महाभारत किए गए शोध के विषय में आपकी क्या प्रतिक्रिया है.

  • @sunilbengani9490
    @sunilbengani9490 Рік тому

    How to purchase hanuman chalisa,
    Ramcharit manas and
    Sunderland
    Please guide 🙏