Bandi chhod satguru Dev Bagwan Rampal Ji Maharaj ji ki Jay Ho Sat Saheb Ji Parmatma Bandi chhod satguru Dev Bagwan Rampal Ji Maharaj ji ke Shri charanon mein Shambhu Dayal Das Panchal ka koti koti dandvat pranam sat Saheb Ji Parmatma Bandi chhod satguru Dev Bagwan Ji ❤️🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺
मनुष्य जन्म में अपना कल्याण कर सकते हैं जी 84 लाख भोग कर मानव जन्म मिला है 84 लाख योनि में क्या करेगा दुख भोगना ही पड़ता है उसको मानव जनन में कल्याण हो सकता है सद्गुरु शरण में आने से ए तले भला सतगुरु शरण में आने से सतगुरु देव की दया से मोक्ष प्राप्त होगा की भक्ति करने से संत रामपाल जी महाराज जी का लिखा हुआ ज्ञान गंगा पुस्तक पढ़ें और सभी भाई बहन अपना कल्याण
Saviour of the world Sant Rampal Ji जिस कविर्देव/कबीर साहेब/हक्का कबीर/कबीरन/खबीरा के प्रमाण शास्त्रों (वेद, गीता, क़ुरान, बाइबल, गुरुग्रंथ साहिब) में मिलते हैं वह कोई और नहीं बल्कि पूर्ण परमात्मा कबीर साहेब ही हैं जो 600 वर्ष पहले काशी में आये थे। जिन्होंने सद्भक्ति व समाज सुधार का मार्ग बताया।
ऋग्वेद मंडल 9 सूक्त 16 मंत्र 18 “ ऋषिमना य ऋषिकृत् स्वर्षाः सहत्राणीथः पदवीः कवीनाम् । तृतीयम् धाम महिषः सिषा सन्त् सोमः विराजमानु राजति स्टुप् ।। अनुवाद: वेद बोलने वाला ब्रह्म कह रहा है कि (य) जो पूर्ण परमात्मा विलक्षण बच्चे के रूप में आकर (कवीनाम् ) प्रसिद्ध कवियों की (पदवी) उपाधी प्राप्त करके अर्थात् एक संत या ऋषि की भूमिका करता है। उस (ऋषिकृत्) संत रूप में प्रकट हुए प्रभु द्वारा रची गईं (सहत्राणीथः) हजारों वाणी (ऋषिमना) संत स्वभाव वाले व्यक्तियों अर्थात् भक्तों के लिए (स्वर्षाः) स्वर्ग तुल्य आनन्द दायक होती हैं। (सोम) वह अमर पुरुष अर्थात् सतपुरुष (तृतीया) तीसरे (धाम) मुक्ति लोक अर्थात् सत्यलोक की (महिषः) सुदृढ़ पृथ्वी को (सिषा) स्थापित करने के (अनु) पश्चात् (सन्त्) मानव सदृश संत रूप में (स्टुप्) गुबंद अर्थात् गुम्बज में ऊंचे टीले जैसे सिंहासन पर (विराजमनु राजति) उज्जवल स्थूल आकार में अर्थात् मानव सदृश तेजोमय शरीर में विराजमान है। भावार्थ: परमात्मा शिशु रूप धारण कर लेता है। लीला करता हुआ बड़ा होता है। कविताओं द्वारा तत्वज्ञान वर्णन करने के कारण कवि की पदवी प्राप्त करता है। अर्थात् उसे ऋषि, सन्त व कवि कहने लग जाते हैं, वास्तव में वह पूर्ण परमात्मा कविर् ही है। उसके द्वारा रची अमृतवाणी कबीर वाणी (कविर्वाणी) कही जाती है, जो भक्तों के लिए स्वर्ग तुल्य सुखदाई होती है। वही परमात्मा तीसरे मुक्ति धाम अर्थात् सत्यलोक की स्थापना करके तेजोमय मानव सदृश शरीर में आकार में गुम्बज के नीचे ऊंचे सिंहासन पर विराजमान है। "
✨✨✨✨✨✨✨✨✨✨✨✨✨✨✨ At present there is no one who can preach true knowledge except Sant Rampal Ji Maharaj Ji. 💫💫💫💫💫💫💫💫💫💫💫💫💫💫💫 At present, Saint Rampal Ji Maharaj Ji is playing the role of a complete Guru and Tatvdarshi Saint. 🌟✨🌟✨🌟✨🌟✨🌟✨🌟✨🌟✨🌟
परमेश्वर कबीर जी अपनी शरण में आए साधक को काल लोक से छुड़वाने के लिए तब तक साथ रहते हैं जब तक वह मुक्त नहीं हो जाता इसी प्रकार इब्राहिम सुल्तान जो सम्मन वाली आत्मा थी ,उन्हें पार लगाया
तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी से उपदेश लेकर कबीर साहेब जी की भक्ति करने से सतलोक की प्राप्ति होती है। सतलोक अविनाशी लोक है। वहां जाने के बाद साधक जन्म-मृत्यु के चक्र से मुक्त हो जाता है और पूर्ण मोक्ष प्राप्त करता है।
🦈तत्वदर्शी सन्त वह होता है जो वेदों के सांकेतिक शब्दों को पूर्ण विस्तार से वर्णन करता है जिससे पूर्ण परमात्मा की प्राप्ति होती है वह वेद के जानने वाला कहा जाता है।
वेद में लिखा है कि पूर्ण परमात्मा मर चुके हुए साधक को भी जीवित करके 100 वर्ष तक जीने की शक्ति भी दे सकता है। संत रामपाल जी महाराज ऐसी ही सतभक्ति बताते हैं।
हजार वर्ष तप करने का जो फल प्राप्त होता है उससे अधिक फल तत्वदर्शी संत का एक पल का सत्संग सुनने को मिल जाए उससे होता है। कबीर साहेब जी कहते हैं - सत्संग की आधी घड़ी, तप के वर्ष हजार l तो भी बराबर है नहीं, कहै कबीर विचार ll
भविष्यवक्ताओं की भविष्य वानियां और संत रामपाल जी महाराज जी का शास्त्र सम्मत ज्ञान ये सिद्ध कर रहे हैं कि संत रामपाल जी महाराज ही वो बाखबर हैं जिनके विषय में कुरान ज्ञान देने वाला अल्लाह मोहम्मद पैगंबर जी को सूरत फुरकान 25 आयत 52 से 59 में बताते हैं कि तुझे
श्राद्ध आदि शास्त्रविरूद्ध क्रियाऐं झूठे गुरूओं के कहने से करके अपना जीवन नष्ट करते हैं। यदि सतगुरू (तत्वदर्शी संत) का सत्संग सुनते, उसकी संगति करते तो सर्ब पापकर्म नष्ट हो जाते। सत्य साधना करके अमर लोक यानि गीता अध्याय 18 श्लोक 62 में कहे (शाश्वतं स्थानं) सनातन परम धाम में आप जी का आसन यानि स्थाई ठिकाना होता जहाँ कोई कष्ट नहीं। वहाँ पर परम शांति है क्योंकि वहाँ पर कभी जन्म-मृत्यु नहीं होता।
सूक्ष्मवेद (तत्वज्ञान) में तथा चारों वेदों (ऋग्वेद, यजुर्वेद, सामवेद तथा अथवर्वेद) तथा इन चारों वेदों के सारांश गीता में स्पष्ट किया है कि आन-उपासना नहीं करनी चाहिए क्योंकि ये शास्त्रों में वर्णित न होने से मनमाना आचरण है जो गीता अध्याय 16 श्लोक 23,24 में व्यर्थ बताया है। शास्त्रोक्त साधना करने का आदेश दिया है।
🌬️देवता भी मनुष्य जीवन को तरसते हैं क्योंकि मोक्ष मनुष्य जीवन में ही हो सकता है। और परमात्मा का विधान है कोई भी नशा करने वाला मोक्ष प्राप्त नहीं कर सकता और आप इस अनमोल जीवन को शराब पीने में बर्बाद कर रहे हो।
बंदी छोड़ सतगुरु रामपाल जी महाराज जी भगवान जी की जय हो सत साहेब जी🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️🙏🙏🙏🙏🙏🙏
परमात्मा इस दास को अपने चरणों में रखना मालिक 😭😭😭😭🙏🙏🙏🙏🌲🌲🌲🌲🌲🌲🌲🌲🌲🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌳🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷
Bandi chhod satguru Rampal Ji Maharaj ki jai ho 🙏🏼🙏🏼
कबीर, यम द्वारेमें दूत सब, करते खैंचा तानि।
उनते कभू न छूटता, फिरता चारों खानि।।
कबीर, चारि खानिमें भरमता, कबहुं न लगता पार।
सो फेरा सब मिटि गया, सतगुरुके उपकार।।
तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी से उपदेश लेकर कबीर साहेब जी की भक्ति करने से सतलोक की प्राप्ति होती है।
सतलोक अविनाशी लोक है।
Bandi chhod satguru Dev Bagwan Rampal Ji Maharaj ji ki Jay Ho Sat Saheb Ji Parmatma Bandi chhod satguru Dev Bagwan Rampal Ji Maharaj ji ke Shri charanon mein Shambhu Dayal Das Panchal ka koti koti dandvat pranam sat Saheb Ji Parmatma Bandi chhod satguru Dev Bagwan Ji ❤️🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🙏🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺🌹🌺
बन्दी छोड़ संत रामपाल जी पूर्ण परमात्मा है इनकी शरण में आ कर अपना कल्याण करें जी।
जब तक गुरु मिले नहीं सच्चा
तब तक दस पांच करे बाचा
Sat saheb Ji 🌷🌷🌷🙏🙏🙏
❤❤❤❤❤ सन्त मिलन को चलिए तज माया अभिमान ज्यों ज्यों पग आगे धरे कोटी यज्ञ समान ❤❤❤
संत रामपाल जी महाराज बहुत ही महत्वपूर्ण ओर अच्छा ज्ञान बताते है जी इसलिए ध्यान से सत्संग सुने जी
संत रामपाल जी महाराज ने ही सभी धर्म ग्रंथों से प्रमाणित करके दिखाया है कि कबीर परमेश्वर ही पूजा के योग्य हैं वही सृष्टि के रचयिता हैं।
Sat sahib ji maharaj ki jai ho mere sat sahib ji ✍️✍️✍️🙏🙏🙏🙏👏👏👏👏👏👏🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷♥️♥️♥️♥️♥️♥️🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🪷🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌺🌺🌺
Wow Very Nice Satsang
Kabir sab jag nirdhan,
dhanwant na koi,
dhanwant so janiye,
jinhe Ram-nam dhan hoye
Satguru Rampal Ji Maharaj ki Jai Ho.
तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज बहुत ही अच्छा ज्ञान बताते है जी
मनुष्य जन्म में अपना कल्याण कर सकते हैं जी 84 लाख भोग कर मानव जन्म मिला है 84 लाख योनि में क्या करेगा दुख भोगना ही पड़ता है उसको मानव जनन में कल्याण हो सकता है सद्गुरु शरण में आने से ए तले भला सतगुरु शरण में आने से सतगुरु देव की दया से मोक्ष प्राप्त होगा की भक्ति करने से संत रामपाल जी महाराज जी का लिखा हुआ ज्ञान गंगा पुस्तक पढ़ें और सभी भाई बहन अपना कल्याण
Very Very Nice satsong 🙏👍👌🙏🏼
Satguru dev ki jai 0:31
Kabir Saheb is real god 🙏🏿
Sat saheb
Satgurudev rampal ji bhagwan ki jai ho
वेद बताते हैं पूर्ण परमात्मा की सतभक्ति से रोगियों के रोग नाश होते हैं और संत रामपाल जी महाराज के शिष्यों को ये लाभ मिल भी रहे हैं।
अनमोल ज्ञान🙇♀️🙇♀️🙇♀️🙇♀️🙇♀️🙇♀️🙇♀️🙇♀️
Kabir saheb hi purn parmatma h
Almighty God Kabir
God Given Spiritual knowledge
अल्लाह कबीर ही इब्राहिम सुल्तान को मिले और उन्हें यथार्थ ज्ञान से परिचित करवाकर सत मार्ग पर लगाया
Last Prophet Sant Rampal Ji
Javani Chhod Ke Bandi Chhod Satguru Rampal Ji Bhagwan ki Jay Ho Parmatma Apne Charanon Mein Kyon Na Kariye
कबीर,ऐसा निर्मल ज्ञान है, निर्मल करे शरीर।🤗🤗
Wonderful satsang of sant rampal Ji Maharaj ❤❤❤❤❤❤
Bhagwan dya krna mere malik😢😢😢
बहुत अच्छा सत्संग है
Koti koti pranam 🙏🙇 guru ji 🙏🙌 पूर्ण परमात्मा
Kabir is supreme god
Anmol Vachan
Sat sahib ji Bandi chhod sat Guru Rampal ji Maharaj ji ki Jai Ho Sat sahib ji 🙏🏻👌🙏🏻🥀💯🌲💯
Saviour of the world Sant Rampal Ji
जिस कविर्देव/कबीर साहेब/हक्का कबीर/कबीरन/खबीरा के प्रमाण शास्त्रों (वेद, गीता, क़ुरान, बाइबल, गुरुग्रंथ साहिब) में मिलते हैं वह कोई और नहीं बल्कि पूर्ण परमात्मा कबीर साहेब ही हैं जो 600 वर्ष पहले काशी में आये थे। जिन्होंने सद्भक्ति व समाज सुधार का मार्ग बताया।
कबीर राम वियोगी ना जीवे, जीवे तो बावला होय।
मुख से तो बोले नहीं नैन देत हैं रोए।
Kabir is Supreme God ❤❤❤
बंदी छोड़ सतगुरु रामपाल जी महाराज की जय हो 🙏🙏🌹🌹⚘️⚘️
Sat sahib ji 🙏🙏
सत साहेब जी ❤❤❤❤❤🎉🎉🎉❤🎉❤🎉❤🎉
ऋग्वेद मंडल 9 सूक्त 16 मंत्र 18 “
ऋषिमना य ऋषिकृत् स्वर्षाः सहत्राणीथः पदवीः कवीनाम् । तृतीयम् धाम महिषः सिषा सन्त् सोमः विराजमानु राजति स्टुप् ।।
अनुवाद: वेद बोलने वाला ब्रह्म कह रहा है कि (य) जो पूर्ण परमात्मा विलक्षण बच्चे के रूप में आकर (कवीनाम् ) प्रसिद्ध कवियों की (पदवी) उपाधी प्राप्त करके अर्थात् एक संत या ऋषि की भूमिका करता है। उस (ऋषिकृत्) संत रूप में प्रकट हुए प्रभु द्वारा रची गईं (सहत्राणीथः) हजारों वाणी (ऋषिमना) संत स्वभाव वाले व्यक्तियों अर्थात् भक्तों के लिए (स्वर्षाः) स्वर्ग तुल्य आनन्द दायक होती हैं। (सोम) वह अमर पुरुष अर्थात् सतपुरुष (तृतीया) तीसरे (धाम) मुक्ति लोक अर्थात् सत्यलोक की (महिषः) सुदृढ़ पृथ्वी को (सिषा) स्थापित करने के (अनु) पश्चात् (सन्त्) मानव सदृश संत रूप में (स्टुप्) गुबंद अर्थात् गुम्बज में ऊंचे टीले जैसे सिंहासन पर (विराजमनु राजति) उज्जवल स्थूल आकार में अर्थात् मानव सदृश तेजोमय शरीर में विराजमान है। भावार्थ: परमात्मा शिशु रूप धारण कर लेता है। लीला करता हुआ बड़ा होता है। कविताओं द्वारा तत्वज्ञान वर्णन करने के कारण कवि की पदवी प्राप्त करता है। अर्थात् उसे ऋषि, सन्त व कवि कहने लग जाते हैं, वास्तव में वह पूर्ण परमात्मा कविर् ही है। उसके द्वारा रची अमृतवाणी कबीर वाणी (कविर्वाणी) कही जाती है, जो भक्तों के लिए स्वर्ग तुल्य सुखदाई होती है। वही परमात्मा तीसरे मुक्ति धाम अर्थात् सत्यलोक की स्थापना करके तेजोमय मानव सदृश शरीर में आकार में गुम्बज के नीचे ऊंचे सिंहासन पर विराजमान है। "
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At present there is no one who can preach true knowledge except Sant Rampal Ji Maharaj Ji.
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परमेश्वर कबीर जी अपनी शरण में आए साधक को काल लोक से छुड़वाने के लिए तब तक साथ रहते हैं जब तक वह मुक्त नहीं हो जाता इसी प्रकार इब्राहिम सुल्तान जो सम्मन वाली आत्मा थी ,उन्हें पार लगाया
Advitiy gyan he
केहरी नाम कबीर का,विषम काल गजराज।
दादू भजन के प्रताप ते,भागै सुनत आवाज।।
True news
तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी से उपदेश लेकर कबीर साहेब जी की भक्ति करने से सतलोक की प्राप्ति होती है।
सतलोक अविनाशी लोक है। वहां जाने के बाद साधक जन्म-मृत्यु के चक्र से मुक्त हो जाता है और पूर्ण मोक्ष प्राप्त करता है।
Real spiritual knowledge
Satguru Rampal ji maharaj ji ki Jai ho 🙏
Tatvdarshi Sant Rampal Ji Maharaj bahut hi Achcha Gyan batate Hain
🦈तत्वदर्शी सन्त वह होता है जो वेदों के सांकेतिक शब्दों को पूर्ण विस्तार से वर्णन करता है जिससे पूर्ण परमात्मा की प्राप्ति होती है वह वेद के जानने वाला कहा जाता है।
Anmol satsang
वेद में लिखा है कि पूर्ण परमात्मा मर चुके हुए साधक को भी जीवित करके 100 वर्ष तक जीने की शक्ति भी दे सकता है। संत रामपाल जी महाराज ऐसी ही सतभक्ति बताते हैं।
Kabir is god
अनमोल ज्ञान
Amazing knowledge
Bandi chod gurudev ji ki kamlwat charno me koti koti dandwat parnam sat saheb ji 👏👏👏🌺🌺🌺👏👏👏
Amazing Interwiev
सत्य ज्ञान
Bandi chod sadguru rampal ji bhagvan ki jay 🙏🙏🙏
Lovely satsang👌👌👌
कबीर अक्षर पुरुष एक पेड़ है निरंजन वाकि डार।
तीनों देवा शाखा है पात रुप संसार।।
हजार वर्ष तप करने का जो फल प्राप्त होता है उससे अधिक फल तत्वदर्शी संत का एक पल का सत्संग सुनने को मिल जाए उससे होता है।
कबीर साहेब जी कहते हैं -
सत्संग की आधी घड़ी, तप के वर्ष हजार l
तो भी बराबर है नहीं, कहै कबीर विचार ll
Sat saheb jii
🙇🙇🙇🙇🙇
Nice satsng
Parmatma ki charno me das kadandavat parnam
Sat sahib ji 🙏🙏🙏
अनमोल सत्संग 🙏🏼
Veri nice
तत्व ज्ञान
Sat saheb ji ❤❤
Nice
True knowledge
Anmol satsang ❤
भविष्यवक्ताओं की भविष्य वानियां और संत रामपाल जी महाराज जी का शास्त्र सम्मत ज्ञान ये सिद्ध कर रहे हैं कि संत रामपाल जी महाराज ही वो बाखबर हैं जिनके विषय में कुरान ज्ञान देने वाला अल्लाह मोहम्मद पैगंबर जी को सूरत फुरकान 25 आयत 52 से 59 में बताते हैं कि तुझे
Anmol Gyan.....!!!❤❤🙏🙏
Sant rampal ji maharaj ji is providing knowledge according to the holy scriptures of every religion.
धन जननी धन भूमि धन,धन धरती धन देश।
धन करणी धन कुल धन,जहाँ साधू प्रबेश।
Pure vishav me sant rampal ji maharaj hi hai jo sastravnukul sadhna batate hai
श्राद्ध आदि शास्त्रविरूद्ध क्रियाऐं झूठे गुरूओं के कहने से करके अपना जीवन नष्ट करते हैं। यदि सतगुरू (तत्वदर्शी संत) का सत्संग सुनते, उसकी संगति करते तो सर्ब पापकर्म नष्ट हो जाते। सत्य साधना करके अमर लोक यानि गीता अध्याय 18 श्लोक 62 में कहे (शाश्वतं स्थानं) सनातन परम धाम में आप जी
का आसन यानि स्थाई ठिकाना होता जहाँ कोई कष्ट नहीं। वहाँ पर परम शांति है क्योंकि वहाँ पर कभी जन्म-मृत्यु नहीं होता।
बहुत अनमोल सत्संग
True spiritual knowledge 🙏🏻🙏🏻🙏🏻
Kabir is god
❤🙏🙏kabir is God 🙏🙏❤
Very nice interview
Guruvar k charno me koti koti dandwat pranaam 🙏
😢😢😢😢
Anmol gyan
Nirmal gyan
AOL vchan
कबीर, बलिहारी गुरु अपना घरी घरी सौ बार l
मनुष्य से देवता किया करत न लगी बार ll
गरीब, तन मन धन सब अरपिए, भक्ति मुक्ति के काज ।
जिनके उर में बंदगी, क्या इंद्र का राज।।
Guru bin mala pherte guru bin dete dan guru bin dono nishphal hai chahe pucho bed puran.
सूक्ष्मवेद (तत्वज्ञान) में तथा चारों वेदों (ऋग्वेद, यजुर्वेद, सामवेद तथा अथवर्वेद) तथा इन चारों वेदों के सारांश गीता में स्पष्ट किया है कि आन-उपासना नहीं करनी चाहिए क्योंकि ये शास्त्रों में वर्णित न होने से मनमाना आचरण है जो गीता अध्याय 16 श्लोक 23,24 में व्यर्थ बताया है। शास्त्रोक्त साधना करने का आदेश दिया है।
सात दीप नो खंड में, गुरु से बड़ा ना कोई। करता करे ना कर सके, गुरु करे सो होई।
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Bandi chhor ki Jai ho 🙏
🌬️देवता भी मनुष्य जीवन को तरसते हैं क्योंकि मोक्ष मनुष्य जीवन में ही हो सकता है।
और परमात्मा का विधान है कोई भी नशा करने वाला मोक्ष प्राप्त नहीं कर सकता और आप इस अनमोल जीवन को शराब पीने में बर्बाद कर रहे हो।