बाबा मस्तनाथ कथा-2/रचयिता- श्री रामपाल/गायक-कर्मपाल शर्मा/Baba Mastnath Katha-2-KPS-Maina-1997
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- Опубліковано 12 вер 2024
- बाबा मस्तनाथ कथा-2
रचयिता-श्री कर्मपाल शर्मा, श्री रामपाल
गायक-कर्मपाल शर्मा, ब्रह्मपाल नागर व साथी
प्रस्तुति-मैना कैसेटस
प्रस्तुति वर्ष-1993
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1. बाले मस्ताने चमत्कार दिखलाए, सब नर-नारी हर्षाए
वो देख-देख हैरान थे
2. बाबा जी मैनै चेला कर मैं कहूं जोड़ कै हाथ,
कठिन फकीरी की करना ना सब के बस की बात।।
3. चोगरदे गए बैठ महात्मा सत आजमावाण की खातर,
मस्तनाथ गए बैठ अनोखा रूप दिखावाण की खातर।।
4. जिसे नहीं योग क्रिया का ज्ञान नफा के कान फड़ाए तै।
5. औघड़ तै बन गए दर्शनी सिद्धयोग के बल से,
आ कै धूणी रमा दी बाबा ने बहोर अस्थल मैं।।
6. अलख निरंजन बाबा हे दुःखभंजन बाबा, नाव मेरी मझदार,
भव से लगा दे बेड़ा पार।।
तर्ज-कजरा मोहब्बत वाला
7. मैं सूं कर्म हीन नर बाबा, तेरे चरणों में सर धरा बाबा,
मेरा कुछ भी राह कर बाबा, मैं आंख्या का अन्धा।।
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jai ho BABA Mast nath ji
कुंडू जी कर्मपाल शर्मा जी की आवाज में बाबा मस्तनाथ के किस्से का भाग 2 सुनवाने के लिए हम आपका सहृदय: धन्यवाद करते हैं
Jai baba masth naath ji 🙏🙏🌹🌹
jai ho nath ji
जय हो बाबा मस्तनाथ जी की
Jai ho
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