बिहार में शिक्षा का सर्वनाश! | Bihar School | Bihar Education | CM Nitish Kumar | Panchayat LIVE
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- Опубліковано 15 вер 2024
- बिहार में शिक्षा का सर्वनाश! | Bihar School | CM Nitish Kumar | Panchayat LIVE
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पत्रकार हो तो अभिषेक जी जैसा सही को सही झूठ को झूठ बोलता है ऑन कैमरा ❤❤
कात्यान जी ।
आज आप बहुत ही अलग और आक्रामक रूप में नजर आए यह मुहिम चलाने के लिए बहुत बहुत धन्यवाद
शिक्षा के नाम पर फंड आवंटित कर अधिकारी लोग मिल बांट कर खा जाते है 😢😢
शिक्षा विभाग में बहुत बड़ा घटौला हुआ है। अगर सही से जाँच हो जाये तो मंत्री, अधिकारी जेल जायेगा।
आज शिक्षक नेता ब्रजवासी जी ने आवाज उठाया तो उन्हे बर्खास्त कर दिया शिक्षक जुल्म सहे पर आवाज न उठाये
सरकार तानाशाही हो गया है।
नीतीश और उनके नेताओं ने बिहार के शिक्षा विभाग को वोट प्रोडक्शन यूनिट बना कर रख दिया है
18% के शिक्षा बाजार का 90% पैसा नेता और पदाधिकारी मिल कर खा जाते हैं
Bilkul satya hai
बजट तो खर्च कर रहे हो लेकिन शिक्षा पर नहीं, शिक्षा विभाग के अधिकारियों के जेब में जा रहा है सारा बजट।
जितनी भी योजनाएं हैं बेंच- डेक्स, सबमर्सिबल, शौचालय भवन निर्माण बैग सप्लाईज सब में घोटाला हुआ है।
कात्यायन जी
आज आप बेहद अलग और सराहनीय रूप में नजर आए।
ये मुहिम चलाने के लिए साधुवाद।
नीतीश कुमार और शिक्षा मंत्री दोनो जिम्मेदार हैं
Cm नीतीश कुमार और शिक्षा मंत्री ने सदन की भी लाज नहीं रखा।
स्कूल में सुधार तभी होगा जब भी राजनीति का बेटा बेटी पड़ेगा
बिहार का शिक्षा बजट अप्रत्यक्ष रूप से चुनाव में खर्च होता है।
Deo, Beo ki sampati ki jaach honi chahiye.
जो भी स्कूल का भवन बना है उसकी गुणवत्ता प्रथम दृष्टि डालते दिख जाती है😄😄
5 class tak school chal raha hai room do hi hai
बिहार में शिक्षक शिक्षिका को परेशान करना सरकार का काम रह गया है। 500 किलो मीटर दूर सब शिक्षक शिक्षिका का स्थानांतरण कर दिया है ,टीचर्स किया खाक पढ़ाएंगे।वो तो आते जाते ही माथा खराब हो जाता है पढ़ाएंगे किया खाक?
बिहार में शिक्षको का गृह प्रखंड नही बदला तो सर्वनाश ही नही महा विनाश होगी। 15 से20 किमी तो जरूरी है।मैं भी शिक्षक हूं इसलिए सरजमीं की हालत हमें पता है।
बिहार के स्कूल में कोई सफाई कर्मचारी नहीं है तो विद्यालय की सफाई कौन करेगा, शिक्षक या छात्र ? पहले इसका जवाब दे सरकार।
Shikshak karenge..
हर जिले में यही हाल है।सब जगह बस शिक्षक पर करवाई करो लेकिन संसाधन की कमी करने वाले पर कोई करवाई नहीं।
आपके माध्यम से जो दिखाया जा रहा है बिल्कुल सत्य है बिहार का शिझा विभाग और सरकार के अनुसार बहुत सुधार हुआ है
बिहार के हर विद्यालय मे आंगनबारी केंद्र चल रहा है। बिहार मे सर्व शिक्षा अभियान नहीं। सर्वनाश शिक्षा अभियान चल रहा है। शिक्षको को समय पर वेतन नहीं दे पा रही है और गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा किया बात कर रही है।
Good anchor sir 🙏
Bilkul sahi relayi hua hai
जनता ही लापरवाह है,,,,,,बाकी नेताओं को क्या कहा जाए इन बेशर्मों को
बिहार के शिक्षा ही भ्रष्टाचार में डूबा हुआ है
नीतीश की सरकार ने सिर्फ विद्यालय बनाने में काम किया लेकिन गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा देने में असमर्थ रही है यह भी सत्य है
नीतिश कुमारने शिक्षा के सुधार नही किया। आंगन वाड़ी और विदयालय में बच्चों के सुविधा पर जो खरचो किया जाता है। यह गलत है। शिक्षक को अघिक वेतनदें।तभी सुधार हो गा।
खेल के क्षेत्र में भी सुशासन की सरकार लंबे लंबे भाषण देते हैं कि खेलेगा बिहार तो खिलेगा बिहार और खेल शिक्षक को मात्र 8000 वेतन में 2 वर्षों से जीवन जीने पर विवश कर दिया गया है
Sir...physical teachers के मुद्दे पर भी चर्चा हों.....aapko bahut 2 धन्यवाद Abhishek sir
Sahi baat hai sir
बिहार में शिक्षा बजट इतना है कि हर स्कूल DPS की तरह बन जाये ,लेकिन सरकार चाहती नही है।
विद्यालय भवनों की गुणवत्ता आपके पुलों और बच्चों को हालिया वितरित स्कूल बैग की तरह ही हैं।
डेढ़ सौ रुपया के बैग 1200 में दिया गया
सरकार को इस बिषय मे संज्ञान लेना अतिआअशयक हो गया। है
आर जे डी का माला जप करके कब तक सरकार चलाइयेगा। पन्द्रह वर्षों से गद्दी पर है और इन्फ्रा स्ट्रक्चर में सुधार नहीं हुआ। कानून का राज स्थापित करने के नाम पर सभी कार्यालयों में घुसखोरी की खुली छूट दे रखा है।
अभिषेक कात्यायन जी से विनम्र निवेदन है कि फिजिकल टीचर 8000 की मुद्दे को भी लेकर डिबेट रखिए और सरकार को कटघरे में खड़ी कीजिए
धन्यवाद चैनल को ऐसे ही लोकतंत्र में आवाज बुलंद कर के बोला जाता है।अच्छा लगा सुन कर।
बेसर्म प्रवक्ता क्या बोलेंगे सिवाय झूठी दलीलों के। लाज सरम सब उठाकर पी गए हैं।
मेरा विद्यालय में भी दो कमरे है जिसमे वर्ग 1से 5 तक वर्ग संचालन किया जा रहा है।
वर्ग कक्ष निर्माण हेतु विद्यालय में भूमि भी उपलब्ध है।
लेकिन नेता जी को एसी गाड़ी बंगला गार्ड चाहिए। सिर्फ लूट और वो भी विभागीय लूट।
इन्फ्रास्ट्रक्चर में कोई सुधार नहीं हुआ है।केवल शिक्षकों पर अत्याचार करने में यह सरकार लगी हुई है।
आज अभिषेक जी बिल्कुल चौथे स्तंभ कि तरह दिखाई दे रहे हैं। इसी कारण से लोग निजी स्कूल में भेजने को मजबूर हैं।बिहार के शिक्षा विभाग में लूट हो रही है और ये खर्चा चुनाव के में करते है नीतीश कुमार।
धीरे धीरे सब कुछ हो रहा है सर
Thanks sir
Abhishek sir school me koi baibastha nahi hai teacher ko paresan Kiya jata hai aap aabaj uthaye aapka bhanybad
इसकी बहुत जरूरत थी कात्यायन जी! बहुत बड़बोलापन आ गया है शिक्षा विभाग के सरकारी महकमे में। धन्यवाद 🙏!
एन डी ए की सरकार में शिक्षा की स्थिति और भी बद्तर है
शिक्षा विभाग के बजट में से आधे का बंदरबांट कर दिया जाता है
और आधे बजट से शिक्षा के नाम पर लीपा पोती की जाती है
एमडीएम बंद हो। तभी शिक्षा का विकाश सम्भव हो सकता है।
R.t e rule पूर्णत लागू करे सरकार...🇮🇳😎
शिक्षा बजट को भारी करके पॉकेट में डालने का काम किया जाता है उदाहरण के लिए मधेपुरा जिला में 3करोड़ लगभग विभागीय पदाधिकारी द्वारा फर्जी निकासी
👌🙏🙏बिलकुल सही सर
मधुबनी जिले में भी ऐसे अनेकों विद्यालय का संचालन पौधे के नीचे पढ़ाई हो रही हैं।
Aap chinta na kare aane Wale kuchh samay me Bihar ke siksha vevastha top hoga .. Jai hind......
गुरुकूल के समान जब तक गरीब से ले कर राज नेता के बच्चे एक स्कूल एक कक्षा में नहीं पढ़ेंगे तक तक सुधार असम्भव है
अधिकारी हो या जनप्रतिनिधी या फिर स्थानीय शिक्षक और विद्यालय प्रभारी सब अपना भविष्य उज्ज्वल कर रहे बिहार से या बिहारियों से किसी का कोई लेना देना नहीं है
बेवकूफ को बेवकूफ बनाना ही चाहिए। बिहार की जनता है ही ऐसी तो कोई क्या ही कर सकता है?? कोई नई पार्टी कों सरकार में लाओ।
बिहार के विद्यालय में सफाई कर्मी को 9 महीनों से पैसा नहीं मिला है। ये लोग काम छोड़ने को मजबूर हैं।
90 हजार में में 75% स्कूलों में खेल का मैदान ही नही है
Sari Rashi netao ke liye hai.
Good.niuj.
बिहार मे जितना प्राथमिक विधालय है उसमे एक साथ 2 _3 क्लास चलता है
नीतीश कुमार की सरकार शिक्षा का सर्वनाश कर दिया
जब RJD के पास शिक्षा विभाग था तब क्या लकवा मार गया था कि अब सारिका जी गला फार रही है!
जब सदन में ही सरकार शिक्षा और शिक्षक को लेकर झूठ बोलती हो ,उससे क्या आशा की जा सकती है ।10 से 4
अभिषेक कात्यान सही बोले हैं सब स्कूल कि यही बेबस्था है 😂😂
For the improvement in education, admission of wards of leaders, teachers and education officers must be necessary
1 से 5 तक कि कक्षा मात्र 2 रुम में ही चलता है।ई सरकार शिक्षा का मजाक बनाकर रख दिया है।पढ़ाई हो न हो शिक्षक केवल रिपोर्ट बनाने में ही ब्यस्त हैं।रोज रोज कोई न कोई रिपोर्ट मांगा जाता है।
मध्य विद्यालय मथुरापुर खगड़िया मैं नामांकित सारे 500 बच्चे हैं लेकिन कमरों की संख्या मात्र दो है और बच्चों की उपस्थिति लगभग 400 रहता है इस विद्यालय में भी पेड़ नीचे पढ़ना पड़ता है
शिक्षा व्यवस्था पूरी तरह से फेल बिहार में
असली मुद्दा बोल रहे हैं। शिक्षक खास तौर पर niyojit को Badnam किया जा रहा है। पाठक राज में अति हो गया। एक कमरा मे तीन क्लास। पांच prakar का शिक्षक। जो बचा है Sidharth बाबू पूरा कर देगे।
विद्यालय भवन निर्माण 20% स्कूल में नहीं हैं। बच्चे अभी भी खुले आसमान में बिहार में पढ़ाई होती हैं।
नीतिश कुमार शिक्षा को बर्बाद करके छोड़ेगा।
सुप्रीम कोर्ट आदेश है 12 मांस जो काम कर लिया उनको परमानेंट किया जाए और नहीं किया जाता है तो उसे पैर अवहेलना का केस किया जाए 100% होगा
Right
सरकारी आकड़ा के अनुसार विद्यालय की संख्या 75 हजार है तो फिर 90 हजार विद्यालय कैसे बन गया? 15 हजार विद्यालय कहाँ गया?
कहीं नेता, अधिकारी के जेब में तो नहीं।
सिर्फ शिछको पर उँगली उठाने से शिछा मे सुधार नही होगा
शिक्षक 9 से 4:30 तक रह रहे हैं न स्कूल में ये क्या कम है। बहुत बड़ी उपलब्धि है साहब विभाग के लिए 😂 चाहे ताड़ के पेड़ के नीचे रहें या तिरपाल तान के रहें।
बिहार में शिक्षा विभाग में सारे अधिकारी और ठेकेदार और सत्ता धारी नेता पैसे लुट रहे हैं
सारे नेता मिलकर लूट रहे हैं
Sir aap roj school me ripoting kijiye school ka baibastha samajh aajaye ga
अगर स्कूल मे बिल्डिंग था तो पाठक जी के द्वारा इतने सारे विधालय को मर्ज क्यो किया गया।
बिहार के बच्चे ही नहीं पालकी पूरे भारत में बच्चों का मौलिक अधिकार खेल है जब खेल को ही इन्होंने अंशकालिक कर दिया तो फिर विद्यालय में अनुशासन में बच्चों को रखने की जिम्मेदारी किसकी है बच्चों को अनुशासन जरूरी है जब तक अनुशासन नहीं रहेगा तब तक बच्चे आगे डेवलप नहीं कर पाएंगे और संपूर्ण विषय का मेरुदंड अगर है तो वह है शारीरिक शिक्षा शारीरिक शिक्षा के बगैर कोई भी विद्यालय में गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा का माहौल को तैयार करना असंभव है
MDM से शिक्षक को अलग करें, शिक्षा मे सुधार दिखने को मिल जायेगा।
सिर्फ एसी मे बैठकर और सदन में भाषण मात्र देने से कुछ नहीं होगा । जरा बाहर निकलिए जनाब ।
समस्तीपुर जिला में भी दर्जनों वि0 जर्जर हैं । पर विभाग कुम्भकरनी निंद्रा में सोई हुई । नित नए नियम बनाकर शिक्षकों को परेशान करने के अलावे इनका कोई एजेंडा नहीं है ।
स्कूल 10 हजार से 75 हजार रुपये से ज्यादा खर्च नहीं कर सकता??सीधा अधिकारी तय करते हैं??स्कूल को भी एक समय सीमा में राशि खर्च कर देनी है,बाँकी समय में स्कूल के पास एक अठन्नी खर्च करने का अधिकार,न राशि होता है??क्या,साल के 11 महीने स्कूल बिना किसी राशि के चल सकता है,क्या??लूट सके,सो लूट??
Real Attendance of 90% School will not be more than 30%. But on paper it would be more than 80%.
सही बोला राहें
शुद्ध शुद्ध हिंदी नहीं पढ़ सकता है सरकारी विद्यालय के बच्चे आज हमारे विद्यालय में वर्ग 8में तीन बच्चे उपस्थित थे
Sahi bat hai lut ho rahi hai
रोहतास जिला के नोखा प्रखंड में भी एक प्लस टू विद्यालय है जहां पर कमरे की घोर कमी है वहां पर केवल तीन ही कमरे हैं और प्लस टू तक की पढ़ाई होती है
आज कागजी घोड़ा खूब दोडता है यह अधिकारी पढाने देते ही कहाँ है सिफ रिपोर्ट तैयार करने में ही लगे रहो
बिहार में सरकार और अधिकारी सिर्फ फरमान जारी करते है और किस फंड में कहा से पैसा लुटा जाए इस पर सिर्फ ध्यान रखना है
पढ़ाई से सरकार और अधिकारी को कोई मतलब नहीं है
गरीब के बच्चे आज प्राईवेट स्कूल में पढ़ रहे हैं। सरकारी स्कूलों में किसानों के बच्चे पढ़ते हैं।
शिक्षा के क्षेत्र में जमीनी स्तर मजबुत नहीं है
आप को यह जानकारी दू कि बिहार शिक्षा परियोजना के पास जब तक इंजीनियर की फौज टेक्निकल सुपरवाइजर था तब तक विद्यालय का विकाश हो रहा था यथा विद्यालय भवन निर्माण से लेकर तमाम विकाश कार्य हो रहा था। आप जो विद्यालय भवन देख रहे है वह इन्ही टेक्निकल सुपरवाइजर की देन है।वर्ष2019 से शिक्षा के विरोधी टेक्निकल सुपरवाइजर से काम लेना छोड़ दिए है।तब से निर्माण कार्य धीमी है भ्रष्टाचार से लैस है।तमाम पैसे की लूट हो रही है।एक समय यह भी आयेगा की बरबादी से मुक्ति के लिए फिर से निर्माण कार्य के लिए टेक्निकल सुपरवाइजर को लगाना होगा।नौटंकी बंद करना होगा।पैसे की लूट हो रही है।
40 बच्चे पर 1 वर्ग होनी चाहिए जो 95% स्कूल में नहीं है ।
95% नहीं केवल 5% मिल सकता है और 95% जो है यहां पर व्यवस्था सही नहीं है
बिल्कुल
शिक्षा विभाग मे निचले स्तर से उपर तक सिर्फ मलाई खाया जा रहा है।
School ka badhai ka jimmedar paksh or bipasha dono hai
बिहार में केवल शिक्षक को परेशान किया जाता है,पढ़ायी कैसे होगा,जब अवसंरचना ही नहीं रहेगा। सभी स्कूल में निजी स्कूल की तरह अवसंरचना प्रदान करना चाहिए, तब सुकून से पठन पाठन की सही से हो पाएगा, लेकिन यहाँ अधिकारी भगवान बन गए है।