कोलकाता की पावन धरती पर, भक्ति की बही बयार, श्रिमद् भागवत कथा में, देवी चित्रलेखा जी का अद्भुत उद्धार। पाँचवे दिन की उस कथा ने, दिलों को छू लिया, भगवान की लीलाओं का, हर एक दृश्य सजीव किया।
पाँचवे दिन की यह कथा, भक्ति का अनमोल रत्न, कविता में झलकी, भक्ति की हर पवित्र ध्वनि। देवी चित्रलेखा जी की वाणी में, भक्ति का अद्भुत धाम, कोलकाता की वह शाम, बनी भक्ति का नाम।
देवी जी की वाणी में, था भक्ति का अनूठा संसार, कृष्ण की महिमा का, वह अद्भुत विस्तार। श्रोताओं के दिलों में बसा, भक्ति का अमर गीत, कविता ने सजीव किया, वह मधुर और पावन मीत।
कृष्ण की लीलाओं का, ऐसा हुआ वर्णन, हर शब्द में छुपा था, भक्ति का मधुर दर्पण। कविता में झलकी वह दिव्यता, वह गहराई का रंग, हर श्रोता के मन में जागी, भक्ति की प्यास का उमंग।
Krishna's pastimes, narrated with love and care, Each story, a treasure, beyond compare. The audience, enraptured, in devotion's embrace, Found solace in her voice, a serene space.
❤ somar ke bhakti karne wale somwar Ko jal dete hai pipal ke vriksh me to unko shankar Ji ka bhakti prapt hota hai kyoki shankar Ko adhar banaya hai isliye din ka bhi mahatva hai jo jis din ka adhar banayega uska parinam avashya usko milega ❤
In Kolkata's air, the divine tales did flow, Devi Chitralekha's Katha, a sacred glow. Her storytelling, a bridge to the divine, In every heart, she planted a sign.
जय जय श्री राधे राधे रानी जी जय जय श्री कृष्ण जी 🙏
कोलकाता की पावन धरती पर, भक्ति की बही बयार,
श्रिमद् भागवत कथा में, देवी चित्रलेखा जी का अद्भुत उद्धार।
पाँचवे दिन की उस कथा ने, दिलों को छू लिया,
भगवान की लीलाओं का, हर एक दृश्य सजीव किया।
पाँचवे दिन की यह कथा, भक्ति का अनमोल रत्न,
कविता में झलकी, भक्ति की हर पवित्र ध्वनि।
देवी चित्रलेखा जी की वाणी में, भक्ति का अद्भुत धाम,
कोलकाता की वह शाम, बनी भक्ति का नाम।
The katha speaks of devotion deep,
Of tales that awaken, spirits to keep.
Krishna’s love, his playful art,
Resonating deeply, in every heart.
देवी जी की वाणी में, था भक्ति का अनूठा संसार,
कृष्ण की महिमा का, वह अद्भुत विस्तार।
श्रोताओं के दिलों में बसा, भक्ति का अमर गीत,
कविता ने सजीव किया, वह मधुर और पावन मीत।
Hare Krishna Radha Radha 🙏🙏🙏
कृष्ण की लीलाओं का, ऐसा हुआ वर्णन,
हर शब्द में छुपा था, भक्ति का मधुर दर्पण।
कविता में झलकी वह दिव्यता, वह गहराई का रंग,
हर श्रोता के मन में जागी, भक्ति की प्यास का उमंग।
Krishna's pastimes, narrated with love and care,
Each story, a treasure, beyond compare.
The audience, enraptured, in devotion's embrace,
Found solace in her voice, a serene space.
❤❤shrii Radhey
Jai shree krishna ji 🙏❤️🌹🌹
🙏
👏👏👏🫶🙏
❤ somar ke bhakti karne wale somwar Ko jal dete hai pipal ke vriksh me to unko shankar Ji ka bhakti prapt hota hai kyoki shankar Ko adhar banaya hai isliye din ka bhi mahatva hai jo jis din ka adhar banayega uska parinam avashya usko milega ❤
In Kolkata's air, the divine tales did flow,
Devi Chitralekha's Katha, a sacred glow.
Her storytelling, a bridge to the divine,
In every heart, she planted a sign.