azim naza gazal kanchanpur urs2024

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  • Опубліковано 30 вер 2024

КОМЕНТАРІ • 1

  • @PathanAarifkhan-js8ur
    @PathanAarifkhan-js8ur 3 місяці тому

    अब वो फनकार नहीं रहे जिनको सुनकर सुबाह गुजर जाती थी
    आखिर में छोटे मजीद भाई भी अब उमर में ढल गए हे
    अब ये जितने भी ही इनको सुनकर रात गुजरना मुस्किल ही