धर्मदास जी द्वारा सतलोक का आँखों देखा वर्णन | Sant Rampal Ji Satsang | SATLOK ASHRAM
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- Опубліковано 5 жов 2024
- धर्मदास जी द्वारा सतलोक का आँखों देखा वर्णन | Sant Rampal Ji Satsang | SATLOK ASHRAM
धर्मदास जी ने पूछा कि आप जी को इतना ज्ञान कैसे हुआ?
परमेश्वर जी ने कहा कि मुझे सतगुरु मिले हैं। वे काशी शहर में रहते हैं। उनका नाम कबीर है। वे तो स्वयं परमेश्वर हैं। सतगुरु का रुप बनाकर लीला कर रहे हैं, जुलाहे का कार्य करते हैं। उन्होंने मुझे सतलोक दिखाया, वह लोक सबसे न्यारा है। वहाँ जो सुख है, वह स्वर्ग में भी नहीं है। सदाबहार फलदार वृक्ष, सुन्दर बाग, दूध की नदियाँ बहती हैं। सुन्दर नर-नारी रहते हैं। वे कभी वृद्ध नहीं होते। कभी मृत्यु नहीं होती। जो सतगुरु से तत्वज्ञान सुनकर सत्यनाम की प्राप्ति करके भक्ति करता है, वह उस परमधाम को प्राप्त करता है। इसी का वर्णन गीता अध्याय 15 श्लोक 4 में भी है। धर्मदास जी ने हठ करके कहा कि हे महाराज! मुझे वह अमर लोक दिखाने की कृपा करें ताकि मेरा विश्वास दृढ़ हो। परमेश्वर जी ने कहा कि आप भक्ति करो। जब शरीर त्यागकर जाएगा तो उस लोक को प्राप्त करेगा। धर्मदास जी के अधिक आग्रह करने पर परमेश्वर जिन्दा ने कहा कि चलो आपको सत्यलोक ले चलता हूँ। धर्मदास की आत्मा को निकालकर ऊपर सत्यलोक में ले गए। परमेश्वर के दरबार के द्वार पर एक संत्री खड़ा था। जिन्दा बाबा के रुप में खड़े परमेश्वर ने द्वारपाल से कहा कि धर्मदास को परमेश्वर के दर्शन कराकर लाओ। द्वारपाल ने एक अन्य हंस (सतलोक में भक्त को हंस कहते हैं) से कहा कि धर्मदास को परमेश्वर के सिंहासन के पास ले जाओ, सत्यपुरुष के दर्शन कराकर लाओ। वहाँ पर बहुत सारे हंस (भक्त) तथा हंसनी (नारी-भक्तमति) इकट्ठे होकर नाचते-गाते धर्मदास जी को सम्मान के साथ लेकर चले। सब हंसों तथा नारियों ने गले में सुन्दर मालाएं पहन रखी थी। उनके शरीर का प्रकाश 16 सूर्यों के समान था। जब धर्मदास जी ने तख्त (सिंहासन) पर बैठे सत्य पुरुष जी को देखा तो वही स्वरुप था जो धरती पर जिन्दा बाबा के रुप में था। परन्तु यहाँं पर परमेश्वर के एक रोम (शरीर के बाल) का प्रकाश करोड़ सूर्यों तथा करोड़ चन्द्रमा के प्रकाश से भी कहीं अधिक था। जिन्दा रूप में नीचे से गए परमात्मा तख्त पर विराजमान अपने ही दूसरे स्वरूप पर चँवर करने लगा। धर्मदास ने सोचा कि जिन्दा तो इस परमेश्वर का सेवक होगा। परन्तु सूरत मिलती-जुलती है। कुछ देर में तख्त पर बैठा परमात्मा खड़ा हुआ तथा जिन्दा सिंहासन पर बैठ गया। तेजोमय शरीर वाले प्रभु जिन्दा के शरीर में समा गया।
धर्मदास शर्म के मारे पानी-पानी हो गया। अपने आपको कोसने लगा कि मैं कैसा दुष्ट हूँ। मैंने परमेश्वर को कितना दुःखी किया, कितना अपमानित किया। मुझे वहाँ विश्वास नहीं हुआ। जब दर्शन कराकर सतलोक के भक्त वापिस लाए। तीन दिन तक परमात्मा के सत्यलोक में रहा। उधर से धर्मदास को तीन दिन से अचेत देखकर घर, गाँव तथा रिश्तेदार व मित्र बान्धवगढ़ में धर्मदास जी के घर पर इकट्ठे हो गए। कोई झाड़-फूँक करा रहा था। कोई वैध से उपचार करा रहा था, परन्तु सब उपाय व्यर्थ हो चुके थे। किसी को आशा नहीं रही थी कि धर्मदास जिन्दा हो जाएगा। तीसरे दिन परमात्मा ने उसकी आत्मा को शरीर में प्रवेश कर दिया। धर्मदास जी को उस बाग से उठाकर घर ले गए थे। जहाँ से परमात्मा उसको सत्यलोक लेकर गए थे। धर्मदास सचेत हो गया था। धर्मदास जी सचेत होते ही उस बाग में उसी स्थान पर गए तो वही परमात्मा जिन्दा बाबा के रुप में बैठे थे। धर्मदास जी चरणों में गिर गए और कहने लगे हे प्रभु! मुझ अज्ञानी को क्षमा करो प्रभु!:- ‘‘अवगुण मेरे बाप जी, बख्सो गरीब निवाज। जो मैं पूत कुपुत हूँ, बहुर पिता को लाज।।’’
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sant rampal maharaj ki jai ho 🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹
संत मिलन को चालिए, तज माया अभिमान।
जो जो पग आगे धरे, कोटि यज्ञ समान।।🙏
अद्वितीय आध्यात्मिक सत्संग
संत रामपाल जी महाराज जी परमान के साथ सतसंग में शस्त्र खोल के दिखाते है किस किस महा पुरुष को परमात्मा मिले और परमात्मा साकार रूप में है
शरण पड़े तो गुरु सम्भाले जान के बालक भोला रे कहे कबीर तुम चरण चीत राखो ज्यु सुई में डोरा रे 🙏🙏
अद्वितीय अध्यात्मिक ज्ञान अवश्य सुनों जगत् गुरू तत्वदर्शी पुर्ण संत रामपाल जी महाराज के मुखकमल से मंगल वचन
Very nice satsang
Great Spiritual knowledge
पूर्ण गुरु संत रामपाल जी महाराज जी के प्रयासों से भेदभाव की स्थिति समाप्त हो रही है। समाज में शांति स्थापित हो रही है। संत रामपाल जी महाराज जी कहते हैं:-
जीव हमारी जाति है, मानव धर्म हमारा।
हिंदू मुस्लिम सिख ईसाई, धर्म नहीं कोई न्यारा।।
साधु दर्शन राम का, मुख पर बसे सुहाग |
दर्स उसी को होत है, जिनके पूरण भाग ||
👏👏👏👏🥀🥀🥀🥀🥀🥀🌿
Kabir is real god
धर्मदास यो जग बैराना, कोई न जाने पद निरवाना
यही कारण में कथा पसारा , जग से कहिए एक राम नियारा
राम कृष्ण से कौन बड़ा तिन्न्हे भी गुरु कीन्ह
तीन लोक के वे धनी गुरु आगे अधीन।
साधु दर्शन राम का मुख पर बसे सुहाग
दर्श उन्ही को होता है जिनके पुराण भाग 🙏🙏🙏🙏
संत रामपाल जी महाराज जी ने श्री ब्रह्मा जी, श्री विष्णु जी, श्री शिव जी इन तीनों गुणों के बारे में विस्तार से समझाया है जो आज तक कोई नहीं समझा सका।
World Spiritual leader Saint Rampal Ji Maharaj
anmol jankari prmatma ke satlok ki
Supreme God Kabir Ji met Respected Dharamdas Saheb ji, the people of Bandhavgarh Madhya Pradesh, in Mathura in the form of a living Mahatma, showed Satlok.
Satguru dev ki jai ho
Sant Rampal ji maharaj ji ki jai jaikar hoti rahe 🙏👍
Anmol vachan 🙏 🙏🙏🙏🌹🌹🌹
कबीर, जीवन तो थोड़ा ही भला, जै सत सुमरन होय।
लाख बरस का जीवना, लेखे धरै ना कोय।।
सत्य साधना बिना बहुत लंबी उम्र हमारे कोई काम नहीं आएगी क्योंकि इस लोक में दुख ही दुख है।
पूर्ण संत से नाम उपदेश लेकर नाम की कमाई करके हम सतलोक के अधिकारी हो सकते हैं। वर्तमान में वह पूर्ण संत रामपाल जी महाराज हैं।
Awesome satsang
Amazing knowledge didnt hear before
वर्तमान में सतभक्ति संत रामपाल जी महाराज जी ही दे रहे हैं। जिससे सभी प्रकार के रोग कष्ट दूर होते हैं।
Bandi chhod parmatma satguru rampal ji maharaj ki jai ho 🙏🙏🙏🙏🙏🌹🌹🌹🌹🌹
कबीर परमात्मा पूर्ण ब्रह्म
Anmol gyan
जीने की राह पुस्तक घर-घर में रखने योग्य है। इसके पढ़ने तथा अमल करने से घर में परमात्मा का निवास होगा। भूत-प्रेत, पित्तर-भैरव-बेताल जैसी आत्माऐं उस परिवार के आसपास नहीं आएंगी।
- संत रामपाल जी महाराज
True spritual knowledge with Authentic proof : अवश्य जानिये,सत्य को पहचानिये...🙏
गरीब, सत्गुरु पुरुष कबीर हैं चारों युग प्रमाण...!
झूंठे गुरूवां मर गये, हो गये भूत-मसान ..........!!
कबीर, सत्गुरु पूरण ब्रह्म है,सत्गुरु आप अलेख...!
सत्गुरु रमता राम है, या में मीन ना मेख...!!
मानव जीवन का मूल उद्देश्य "भक्ति से भगवान" तक जाकर पूर्ण मोक्ष पाना है। जो कि सिर्फ संत रामपाल जी महाराज जी द्वारा बताई शास्त्रानुसार सत्य साधना करने से ही संभव है। भक्ति से भगवान तक पहुॅंचने का शास्त्रानुकूल मार्ग जानने के लिए देखें साधना चैनल शाम 7:30 से 8:30 बजे तक।
संत रामपाल जी महाराज ही एक ऐसे संत है जो सभी सत् ग्रंथों मे प्रमाण सहित बताते हैं।।
कबीर साहेब जी संत गरीबदास जी को
1727 में सतलीक से आकर मिले।
अपना तत्वज्ञान कराया, नाम दिया तथा सतलोक दर्शन
करवाया।
गरीबदास जी ने वाणी में कहा है हम सुल्तानी नानक तारे, दादू को उपदेश दिया। जात जुलाहा भेद न पाया, काशी माहे कबीर हुआ।
Almighty God Kabir appeared to many great souls like Nanak Ji, Garibdas Ji, DharamDas Ji and explained to them the creation of the universe, imparted true spiritual knowledge, and also took them to his place Satlok.
🌾मानव जीवन का मूल उद्देश्य "भक्ति से भगवान" तक जाकर पूर्ण मोक्ष पाना है।
जो की सिर्फ संत रामपालजी महाराज द्वारा बताई शास्त्रानुसार सत्य साधना करने से ही संभव है।
भक्ति से भगवान तक पहुँचने का शास्त्रानुकूल मार्ग जानने के लिए देखें साधना चैनल शाम 07:30 बजे।
Sat sahib ji
🙇♂️🙇♂️🙇♂️🙇♂️🙇♂️
गुरू बिन काहू न पाया ज्ञाना, ज्यों थोथा भुष छड़े मूढ़ किसाना।
गुरू बिन वेद पढ़े जो प्राणी, समझे न सार रहे अज्ञानी।
कबीर, नौ मन सूत उलझिया, ऋषि रहे झख मार।
सतगुरू ऐसा सुलझा दे, उलझै ना दूजी बार।।
कबीर,चार मुक्ति जहां चम्पी करती माया (दुर्गा) हो रही दासी (कबीर परमेश्वर की) दास गरीब अभये पद पर्से वो मिले राम (कबीर) अविनाशी।।
सतगुरु के दरवार में मेरी थर थर कांपे देह न जाने किस बात से मेरा टुट न जाए नेह
जगतगुरु तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज पूर्ण गुरु है
Sat saheb ji
ब्रह्मा जी, विष्णु जी और शिव जी इन भगवानों से भी ऊपर असंख्य भुजा का परमात्मा सतपुरुष है। जो सत्यलोक में रहता है तथा उसके अन्तर्गत सर्वलोक तथा अन्य सर्व ब्रह्मण्ड आते हैं और वहाँ पर सतभक्ति व सत्यनाम-सारनाम के जाप द्वारा ही जाया जाएगा जो पूरे गुरु से प्राप्त होता है। इसे ही पूर्ण मोक्ष कहते हैं।
Nice video
Beautiful
Sant Rampal Ji Maharaj has given us the true spritual knowledge by authenticating from all the scriptures. along with this we have been also provided true way of worship due to which over human life is becoming successful.we will be foreever indebted to Saint Rampal ji maharaj for this benevolence.
BANDI CHHOD SAT GURU RAMPAL JI BHAGAWAN KI JAY HO 🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏 SAT SAHEB JI 🙏🙏🙏🙏
कबीर इज सुप्रीम गॉड
है पङने आत्मा आप और हमसबको ठीकसे भक्ति करना है सतलोक जाना है घुथि परम्पराके त्यागना पढ़ेगा सत् साहेब
He Guruvar satlok Le jaane wale to Satguru aap hi hain Aapke Charanon Mein कोटि-कोटि dandvat Pranam
❤️
Nice
🙏
Kabir is god 🙏😭❤️❤️ Malik es dasi pe bhi daya karo data
संत रामपाल जी महाराज एक ऐसा मानव समाज तैयार कर रहे हैं, जो किसी भी क्षेत्र में ईमानदारी से कार्य करके सबको न्याय दिलाएगा।
छोटा बड़ा, अमीर-गरीब की खाई को मिटायेगा। आध्यात्मिक तत्वज्ञान के आधार से भारत विश्व का एक महान राष्ट्र होगा। अन्य सर्व राष्ट्र भारत वर्ष का अनुसरण करेंगे।
धर्मदास यह जग बौराना , कोई न जाने पद निरवाना ।
यही कारण मैं कथा पसारा ,जग से कहिए राम नियारा।।
यही ज्ञान जब जीव सुनाओ , सब जियों का भरम नशावो । अब मैं तुमसे कहो चिताई , त्रिदेवन की उत्पत्ति भाई ।।
कुछ संक्षेप कहो गुहराई ,सब संशय तुमरे मिट जाए ।
भरम गए जग वेद.पुराना , आदि राम का भेद न जाना ।। राम राम सब जगत बखाने ,आदि राम कोई बिरला जाने । ज्ञानी सुने सो ह्रदय लगाई , मूर्ख सुने सो गम न पाई ।।
Kabirisgod
Jai ho mere malik...
The great spiritual knowledge 📚📚
Kabir is supreme God
Jagata Guru tattoosi sant rampal image video 🙏🙏🙏
नाइस सत्संग गोड ज्ञान
अध्यात्म में मूल रूप से पूजा, पूज्य, साधक तथा साधना शब्द आते हैं जिनको जगतगुरु तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज ने विस्तार से समझाया है और भक्ति से भगवान तक की राह बताई है।
God KABIR takes his pious soul to Satlok along with him like he took Garibdas Ji, Dharamdas Ji, Nanak Dev Ji, Malook Das Ji, Dadu Das Ji, etc.
गीता अध्याय 2 श्लोक 12:- इसमें गीता ज्ञान बोलने वाले ने कहा है कि ‘‘न तो ऐसा ही (है कि) मैं किसी काल में नहीं था। और तू नहीं था अथवा ये राजा लोग नहीं
थे और न ऐसा (है कि) इससे आगे हम (मैं, तू तथा
ये राजा व सैनिक) सब (आगे) नहीं रहेंगे।
गीता अध्याय 4 का श्लोक 5 में गीता बोलने वाला ने स्पष्ट कहा है कि हे परन्तप अजुर्न! मेरे और तेरे बहुत जन्म हो चुके हैं। उन सबको तू नहीं जानता, मैं जानता हूँ।
विवेचन:- उपरोक्त श्लोकों से स्पष्ट हो गया है कि गीता ज्ञान दाता नाशवान है। उसका जन्म-मृत्यु होता है।
True spiritual knowledge
आज संत रामपाल जी महाराज उन्हीं कबीर परमेश्वर के अवतार हैं जो वही आध्यात्मिक ज्ञान मानव समाज को दे रहे हैं । उनसे नाम दीक्षा लेकर हम अपने निज घर सतलोक जा सकते हैं और हमेशा के लिए जन्म मरण के रोग से मुक्ति पा सकते हैं ।
Kabir is supreme god
अनमोल सतसंग
कबीर एकै साधै सब सधै सब साधै सब जाय।माली सींचै मूल कूं फूलै अधाय्।
बंदी छोड सतगुरु रामपाल जी महाराज की जय हो सत् साहेब 🙏🙏🏻
Kabir is suprime God
💠परमात्मा साकार है व सहशरीर है (प्रभु राजा के समान दर्शनीय है)
यजुर्वेद अध्याय 5, मंत्र 1, 6, 8, यजुर्वेद अध्याय 1, मंत्र 15, यजुर्वेद अध्याय 7 मंत्र 39, ऋग्वेद मण्डल 1, सूक्त 31, मंत्र 17, ऋग्वेद मण्डल 9, सूक्त 86, मंत्र 26, 27, ऋग्वेद मण्डल 9, सूक्त 82, मंत्र 1 - 3
नाइस
गुरु बिन काहुना पाया न ज्ञना। ज्यों थोथा भुस छड़े मूढ़ किसाना।
Jo dekhega mere lok ko Ve jaane ka mujh.
Garib das Mai tose kahun, sun Gayatri gujh.
सूक्ष्मवेद में कहा है:-
“यह संसार समझदा नाहीं, कहंदा शाम दुपहरे नूँ।
गरीबदास यह वक्त जात है, रोवोगे इस पहरे नूँ।।”
आध्यात्मिक ज्ञान के अभाव से परमात्मा के विधान से परीचित न होने के कारण यह प्राणी इस दुःखों के घर संसार में महान कष्ट झेल रहा है और इसी को सुख स्थान मान रहा है।
भक्ति से भगवान तक जाने का शास्त्रानुकूल मार्ग जानें जिससे परम शांति, सुख व मोक्ष की प्राप्ति होगी, देखें साधना चैनल शाम 7:30 पर।
Jai bandi chhod ki jai ho
Sant Rampal Ji Maharaj is real God
परमात्मा कबीर जी की महिमा से अनजान दिल्ली के बादशाह सिकंदर लोदी ने गर्भवती गाय के दो टुकड़े किये और कबीर जी से उसे जिंदा करने के लिए कहा। परमेश्वर कबीर जी ने बच्चे और गाय दोनों को तुरंत जिंदा कर दिया।
सत्य ज्ञान सत् गुरु तत्व दर्शी संत रामपाल जी ही एकमात्र ऐसे गुरु है जो सारे शास्त्रों के अनुसार भक्ति बताते हैं
Bandichhod satguru dev ki jay
Bandi Chhod Satguru Rampal Ji Maharaj Ki Jai Ho..Sat Saheb..🙏
Supreme God is Kabir
शास्त्र विरुद्ध क्रियाएं करना शास्त्रों के विरुद्ध भक्ति करना गीतानुसार सहि नहीं है तत्वदर्शी संत की शरण में जाकर नाम उपदेश लेकर गुरु मरियादा में रहकर सतभक्ति करने से ही हमारा मानव जीवन सफल होगा यानी पूर्ण मोक्ष प्राप्त होगा आज वर्तमान में पूर्ण संत जगत गुरु तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी ही है उनसे नाम उपदेश लेकर सतभक्ति करने से ही सभी क्लेश कट जायेंगे फिर इस गन्धे लोक में जन्म नहीं होगा यहे संसार तो एक आसार हैं यहां कोई सुखी नही है।और सुखी हो ही नहीं सकता इसलिए जीवन रहते रहते तत्वदर्शी संत कि शरण ग्रहण कर लेना ही हमारी भलाई है।
सत साहेब
Great knowledge 👍
Kabir Saheb is explaining to His dear disciple Dharamdas in this speech, that all the saints and religious preachers will quarrel with My Saint who will guide the path of true worship.
Very nice satsnag
कबीर परमात्मा के दर्शन गरुड़ जी को हुए थे, कबीर सागर में 11वां अध्याय ‘‘गरूड़ बोध‘‘ पृष्ठ 65 (625) पर प्रमाण है कि परमेश्वर कबीर जी ने धर्मदास जी को बताया कि मैंने विष्णु जी के वाहन पक्षीराज गरूड़ जी को उपदेश दिया, उनको सृष्टि रचना सुनाई।परमेश्वर कबीर जी ने गरुड़ जी को भी सत्य ज्ञान का उपदेश देकर शरण में लिया था।
Great precious evergreen blockbuster magnificent original spritual satsang dandwat pernam ho aapke charno me malik sat Sahib ji 🌷🌷🌷🌷🙏🙏🙏🙏🙏🙏
गरीब मन गीरा आकाश से माया का है गुलाम लख चौरासी मन बसी भुल गया है राम
इन्द्री कर्म ना लगे लगारं, जो भजन करैं निर्धुन्ध रे।
गरीब दास जग कीर्ति होगी, जब लग सुरज चन्द रे।।
समर्थ परमेश्वर की शरण रहकर सत्य साधना करने वाले को काल लोक के कर्म नहीं लगते।
उस साधक को पूर्ण मोक्ष प्राप्ति में कोई शंका नहीं है, न ही कोई हानि होती।
रावण मनुष्य जन्म हार कर चला गया सतभक्ति के बिना। कृपया आप अपना कीमती जीवन बर्बाद न करें।
भक्तिहीन प्राणी को यम के दूत पकड़कर ले जाते हैं और नरक मे डाल देते हैं। नरक के बाद वे प्राणी चौरासी लाख योनियों में जाते हैं। अगर आपको इन सब दुखों से बचना है तो सतभक्ति करो। वर्तमान में सतभक्ति संत रामपाल जी महाराज जी ही दे रहे हैं। जिससे सभी प्रकार के रोग कष्ट दूर होते हैं।
Supreme God Kabir Ji told Dharamdas ji that -
I met "Garuda Dev ji" and told him that "my name is Kabir. I am a resident of Satlok (Eternal Place).
Kabir is god 🙌❤🙏😍💖♥🙌❤🙏
Supreme God Kabir met Dharamdas in the form of a Jinda Saint in Mathura and took him to Satlok. In Satlok God Kabir showed Dharamdas two forms (God & Jinda Saint) and then sat down on the throne of Supreme God
Satguru Rampal Ji ki Samman Dharti Mein dusra Koi Sant Nahin Hai aaj ke Samay mein Satguru Rampal Ji Maharaj Apne Satsang pravachan se Sansar Mein fayde kurti को समाप्त कर रहे हैं
पवित्र गीता में भी लिखा है, यही आदेश वेदों में भी है कि सतभक्ति करना जरूरी है। यजुर्वेद अध्याय 40 मंत्र 15 में कहा है कि ओम नाम का स्मरण कार्य करते-करते करो, विशेष तड़प के साथ स्मरण करो, मनुष्य जीवन का मूल उद्देश्य जानकर स्मरण करो।
With proof knowledge
पवित्र गीता जी अध्याय 2 श्लोक 12 से स्पष्ट होता है कि गीता ज्ञान दाता भी जन्म-मृत्यु में है तो उनकी भक्ति से हमारा मोक्ष कैसे सम्भव है?
अविनाशी परमात्मा और मोक्ष मार्ग को समझने के लिए आज ही निःशुल्क मंगवायें पवित्र पुस्तक ज्ञान गंगा।
पूर्ण ब्रह्म कबीर अविनाशी
कबीर परमात्मा हर युग में आते हैं
ऋग्वेद मण्डल 9 सूक्त 96 मंत्र 18
कविर्देव शिशु रूप धारण कर लेता है। लीला करता हुआ बड़ा होता है। कविताओं द्वारा तत्वज्ञान वर्णन करने के कारण कवि की पदवी प्राप्त करता है अर्थात् उसे कवि कहने लग जाते हैं, वास्तव में वह पूर्ण परमात्मा कविर् (कबीर प्रभु) ही है।🙏
समाज में जो साधना प्रचलित है वह ना तो परमात्मा को पाने की है और ना ही वह मानसिक शांति दे सकती है। ना ही उससे कर्म की मार समाप्त हो सकती है।
तो वह कौन सी साधना है जिससे हम भक्ति करके भगवान को प्राप्त हो सकते हैं।
जानने के लिए अवश्य देखिए साधना चैनल शाम 07:30 बजे।
गीता जी में तीन प्रकार के भगवान बताए गए हैं- क्षर पुरुष, अक्षर पुरुष, परम अक्षर पुरुष । परम अक्षर पुरुष ही परमात्मा सतपुरुष हैं। उनकी भक्ति करने से कर्मों की मार समाप्त होकर मानसिक शांति व पूर्ण मोक्ष मिलता है।