ashtavkra: you are Immortal | आप न जन्मे और न कभी मरेंगे। | स्वयं से सत्य तक |

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  • Опубліковано 2 лис 2024

КОМЕНТАРІ • 39

  • @shashikantsoni6135
    @shashikantsoni6135 4 місяці тому +1

    Kya sahi h Kya galat ye to nhi janta lekin isko sunke Mann shant ho jata h

  • @ajitraonimbalkar3767
    @ajitraonimbalkar3767 4 місяці тому +4

    हम सब निराकार आत्मा ही है .जब ईश्वर की लिला मे रोल मिलता है तो आकार मे
    आते है .रोल समाप्त फिर निराकार रूप में आते है.बस मिला हुवा सही ढंग से
    निभाना है❤

  • @virendrahantal1399
    @virendrahantal1399 Місяць тому

    ❤👍💐🌺

  • @harikumarkejriwal2622
    @harikumarkejriwal2622 5 місяців тому +1

    Extraordinary,Excellent Explanation. Many, Many Thanks.

  • @vaibhavdeshmukh168
    @vaibhavdeshmukh168 5 місяців тому +2

    Namo bhudhay prabhu 🙏🙏🙏

  • @Wisdom738
    @Wisdom738 5 місяців тому +2

    बहुत बहुत धन्यवाद ❤❤

  • @amanbattle5123
    @amanbattle5123 5 місяців тому

    Radhe Radhe ❤️❤️

  • @rajamujumdar1762
    @rajamujumdar1762 5 місяців тому

    बहुत सुंदर विश्लेषण,और गिरीश चंद्रजी का कमेन्ट बहुत ही स्पष्ट दिशा देता है,धन्यवाद जी

  • @chetandafda6584
    @chetandafda6584 5 місяців тому

    bahut gehri bate batai ❤thank you ❤ahobhav

  • @anilprajapati338
    @anilprajapati338 5 місяців тому

    Adbhut

  • @ShahajiBhosale-xw7rp
    @ShahajiBhosale-xw7rp 5 місяців тому

    Self..realization..greatest...........service..in..the..world..

  • @girishchandra3836
    @girishchandra3836 5 місяців тому +5

    नाम, रूप और आकार मिट जाते हैँ. परन्तु जो निराकार है, अदृश्य है, ये नहीं मिटेगा. मेरा शरीर दिखता है, मेरा नाम, मेरा रूप और आकार है. ये सदा नहीं रहेगा. जन्म से पहले न मेरा नाम था, न रूप था. मृत्यु के बाद ये सब मिट जायेगा. मध्य में मेरा शरीर दिखता है. यही बात श्री कृष्ण जी अर्जुन को समझाते हैँ. मध्य में मैं प्रकट होता हूँ. इस रहस्य को अर्जुन ने कृष्ण जी से समझा था. जो जीव समझ लेता है, वह जन्म मृत्यु के बन्धन में नहीं फंसता. उस जीव ने आत्मा के वास्तविक रूप को समझ लिया है. जान लिया है. अब जीव, जीवात्मा हो गया. जीव का अर्थ स्वयं का बोध न होना. हम परमात्मा को खोजते हैँ. परमात्मा, आत्मा की पहचान मुझे नहीं है, मन इसलिए भटकता है. वेद में कहा है आत्मा को जानो. उपनिषद में कहा है, तत्वम् असि, तू वही है. अहं ब्रम्हास्मि. मैं ब्रम्ह हूँ. ब्रम्ह निराकार है, अदृश्य है. बिना सद्गुरु कृपा के इसे नहीं जान सकते हो. यही परम् पद है. बस हमें लोहे की पहचान हो जाये, तो चाकू, तलवार, कुल्हाड़ी, फावड़ा, बलल्म आदि में लोहा ही है. लोहा मुख्य है. सब इसी के रूप में है. जैसे आपने आटा का उदाहरण दिया. आटा पहले गेहूँ था. जैसे चावल के ऊपर छिलका है तो उसे धान कहते हैँ. छिलका उतर गया तो चावल, ऐसे ही शरीर एक खोल की तरह है. इसके हट जाने पर जो बचता है, वह आत्मा है. आत्मा अजर अमर, अविनाशी है. अपरिवर्तनीय है. शरीर में परिवर्तन है. ये निराकार है. सर्वत्र है, सर्वव्यापी है. आत्मा सीमित है, परमात्मा असीमित है. जान लेने पर एक समझ में आता है. इसलिए ईश्वर एक है. इसके अनेक नाम हैँ. हमको इसी एक को जानना है. धन्यवाद. गिरीश चन्द्र, मो. न. 9839285890.आप बात कर सकते हैँ.

  • @bhupinderkaur648
    @bhupinderkaur648 4 місяці тому

    Thanks 🙏

  • @ArunSingh-jj7oj
    @ArunSingh-jj7oj 4 місяці тому

    Babu bij energy hai ❤

    • @tenzinnams-w7x
      @tenzinnams-w7x 19 днів тому

      Nope 🙅‍♂️ 🙅‍♀️ chetna bindi roshni ki ruph mein hote hai marne k baad koi atma nahi hai

  • @ReshmaSingh-xo4rc
    @ReshmaSingh-xo4rc 5 місяців тому

    जैसे स्टील से कटोरी चम्मच भगोना थाली अलग अलग आकृतियां दिख रही है लेकिन इन सब के पीछे एक ही सत्ता है वह स्टील और स्टील सदा से ही मौजूद है आकृति और नाम मिथ्या है स्टील का बदला हुआ ही रूप है इस रेस्ट को जानने के बाद कुछ जानना शेष नहीं बचता है जी आप की बहुत ही अच्छा समझते हैं आप की का बहुत बहुत शुक्रिया जी आप की के चरणों में नमन है जी और आप जी से कैसे बात हो सके जी मुझे आप जी से बात करनी हैजी

  • @अमित-ठ8ह
    @अमित-ठ8ह 5 місяців тому

    Bahut bahut apko naman
    Apne sb kuch sahi kaha
    Udaharan bhi sahi diye
    Parantu prashna yaha hai ki ye man kyun itna bolta hai. ?
    Kyun ye wasnao ke prati akarshit hai?
    Mansik aur sharirik kasht hai hi kyun? Ped pass mann hai kya ?
    Pani ke pass mann hai kya?

  • @ArunSingh-jj7oj
    @ArunSingh-jj7oj 4 місяці тому

    Echha kya hai ❤ravan gyani kyo ❤nau graha ko vandi Banya tha ravan

  • @ArunSingh-jj7oj
    @ArunSingh-jj7oj 4 місяці тому

    Aap kuchh pane ki echha kiya ❤kya mila kitane din me

  • @ArunSingh-jj7oj
    @ArunSingh-jj7oj 4 місяці тому

    Babu rupantar kaun karta hai ❤system dhacha kya hai ❤kumar ka

  • @s.k.4893
    @s.k.4893 5 місяців тому +2

    Bhai bhagwat gita me ye bataya hai, atma ka rupantaran hota hai, atma na marti hai na janmati hai bas rupantarit hoti hai atma

    • @koham_000
      @koham_000 5 місяців тому +1

      भाई श्री कृष्ण ने जिव आत्मा की बात की है। पुराने वस्त्र छोड़ कर नए वस्त्र धारण करता है। आप ही सोचो जब आत्मा न मरती है। न जन्मती है। तो उसका पुनर्जन्म कहां से होगा।

    • @s.k.4893
      @s.k.4893 5 місяців тому

      @@koham_000 भाई मैने बहोत दिनो तक भागवत गीता पढि, लेकिन वो यौद्ध हिंसा को आज कल गलत रूप मे देखा ज्यता है, अहिंसा परमो धर्म ठीक है,,, मगर धर्म हिंसा तथेच मुझे गलत लगता है.

    • @koham_000
      @koham_000 5 місяців тому

      @@s.k.4893 भाई आपने पहले ही मान रखा है की कुरुक्षेत्र में हिंसा हुआ। अर्जुन लड़ना नही चाहता था कृष्ण ने धर्म के लिए हिंसा करवाई आपने यही मान रखा है की हिंसा हुई। आपकी हिंसा की परिभाषा क्या है। अर्जुन मोहवस नही लड़ रहा क्या अर्जुन तब भी लड़ने को मना कर देता यदि उसके सगे सम्बंधि न होते अर्जुन बहुत प्रबल योद्धा है उसने बहुत लड़ाई जीती है। लेकिन जब कुरुक्षेत्र मे उसके अपने पितामह अपने अपने भाई अपने गुरु को देख कर मना कर रहा है। मुहं सूख रहे है हाथ पांव काप रहे है खड़े होने की भी ताकत नही दिखा पा रहा है। अर्जुन मोहवह लड़ने से मना कर रहा है। मोह में कोन सी अहिंसा होती है। तुम अपने कुटुंब अपने परिवार अपने जाति धर्म के लोगो को अपना मान कर युद्ध न करो ये हिंसा नही है। अपने पराए का भेद करना ही हिंसा है। मै के दायरे में रह कर काम करना ही हिंसा है।

  • @ArunSingh-jj7oj
    @ArunSingh-jj7oj 4 місяці тому

    Echha kya hai ❤devi kyo bhagvan ke liye tap ❤power use karte hai

  • @websurf8072
    @websurf8072 5 місяців тому +6

    रूपांतरण नही हो रहा है सब खत्म हो रहा है खालीपन में रूपांतरण मानोगे तो फासोगे अनंत काल तक क्योंकि रूपांतरण की कोई सीमा नहीं है।

  • @MaheshPatil-ux9sh
    @MaheshPatil-ux9sh 5 місяців тому

    Philosophy sunne mein badi accchi lagti hai,time aane pe kuch bhi yaad nahi rahta😂😂Puri fat jati haii..😢😢😢

    • @Vishal77885
      @Vishal77885 5 місяців тому

      Brother aap samjhe nhi
      Jab tak ishwar nhi mil jaata tab tak philosophy ka janam nhi hota uske baad pta lgta hai sab baate

  • @ArunSingh-jj7oj
    @ArunSingh-jj7oj 4 місяці тому

    Laddu se universe bana ❤Hanuman se Surya ko khaya tha kyo

  • @sureshjoshi8870
    @sureshjoshi8870 5 місяців тому

    इसमें एक भाई बोल रहे हे की ये सब पढ़ कर बोल रहे हे लेकिन ये भाई आपको केसे समझआए उसको सब्द तो बोलने पड़ेंगे लेकिन ये बोल रहे हे तब अपने दिमाग़ में देखे की वहा किया कहानी चल रही है

  • @khushivandiye8437
    @khushivandiye8437 5 місяців тому

    आप भी पढ़ कर दे दो 😂😂 मंद बुद्धि

  • @BiplabSinghaThakur
    @BiplabSinghaThakur 5 місяців тому

    ही ही ही ही ही ही ही ही ही ही...खाली पढ़ के ज्ञान दे रहा है...

    • @khushivandiye8437
      @khushivandiye8437 5 місяців тому

      आप भी पढ़ कर दे दो मंद बुद्धि 😂😂

    • @BiplabSinghaThakur
      @BiplabSinghaThakur 5 місяців тому

      छिः। मुझे पढाई लिखाई पसंद नहीं है।

  • @amanbattle5123
    @amanbattle5123 5 місяців тому

    Radhe Radhe ❤️❤️