क्या बात है संतोषी जी🙏🙏🙏👌👌👌👌👌👌 आपका उपाय तो हम बाद में करेंगे ऐसा उपाय ऐसी वाणी मधुरता के साथ कुकुर बोलने में भी प्रेम झलकता है😂😂 उपाय सुनने मात्र से ही समस्या हल हो जाती है ऐसा उपाय सारे उपाय आपके सारे तर्क वाह वाह वाह 👋👋👋🔥🔥🔥
सच बोले आप ज्ञान किताब से नहीं आत्मा, मन और मस्तिष्क से निकलता है आपका ज्ञान स्वयं का है और यही सच्चा ज्ञान है एक बात और है आप जरूर 2-3 घंटे ध्यान करते होंगे तभी ऐसी अच्छी बातें हम तक पंहुचा रहे हैं ।
भगवान सूर्य को जल का अर्ध्य देकर कई लोगो ने भगवान सूर्य का साक्षात् दर्शन किया हुवा है इसका कई ग्रंथो में जानकारी मिल जायेगी और एक लोटा सूर्य को जल देकर आग को भुझाने की आप बात कर रहे हो जब की सारा पृथ्वी का पानी सातो समुन्दर और सारी नदी का पानी भी सूर्य के ऊपर डालनेसे सूर्य भगवान बूजने का ख्वाब देखना ही मूर्खता है एक मात्र आँखों से दिखनेवाले भगवान सूर्य की शक्ति को समजलो रही बात पितरो को जल देने की उस की अलग से जल अर्पित किया जाता है ये हम जैसे साधारण मनुष्य ने कई जगहसे सुना है और कोई भगवान किसी चीज का अर्ध्य अर्पण करने के भूखे नहीं है उन्हें तो प्यार से दी हुई कोई भी चीज़ प्यारी लगती है अतः पूर्व ऋषि मुनि ने जो भी कुछ संस्कार हम पर डाले है उन्हें मुर्ख कहकर आप उनका अपमान करके हम सभी लोगों को कंफ्यूज मत कीजिए ए आपसे रिक्वेस्ट है
+Suresh Gurav सूर्य को अर्घ्य क्यों ? कारण दीजिए । हमने सिर्फ ग्रह के रूप में घी देने की वकालत तर्क एवं साक्ष्य के साथ की है । बाक़ी कोई बात नही कहा है । ग्रंथ अपने पास रखें । हमें उसमें पूरी श्रद्धा है ।
+Santosh Santoshi (Acharya Santosh Santoshi) havan large samay Ghi idam agnaye idam na mam me paschat Ghi JAL me kyo chodte hai ,gita me krrisna kyo kahte hai JAL me agni ,akash me bhoomi ,bhoomi me aakash hai gita padi hai aapne
Wah devta ji Maine Kabhi surye ko jal nahi diya Kundli dekhne ke baad ajj pehli bar dena dena tha fir apka ye video Dekha Gajab kya logic hai kasam se mazza aa Gaya jai ho jai ho Parnam
क्या हुआ भाई वो सूर्य को जल देने से मना नहीं कर रहा वो कह रहा है कि सूर्य को पिता/पितृ, के भाव से जल देना है. वैसे भी सूर्य ग्रह और सूर्य देव एक नहीं हैं. विष्णु पुराण की किताब और ज्योतिष के अनुसार सूर्य देव ब्रम्हांड के सभी सूर्य, तारों, नक्षत्रों के अधिपति देवता हैं. और उनका संचालन करते हैँ. और सूर्य को आत्मा कहा जाता है ज्योतिष में. आत्मा मीन्स sun की energy. और पिता का इंडिकेटर भी कहा गया है. क्यू कि सूर्य देव का representative सूर्य ग्रह है इसलिए सूरज को देखकर हम जल देते हैँ लेकिन वो जल सूरज ग्रह को नहीं सूर्य देव को देते हैँ और सूर्य देव की सूर्य ग्रह को दी हुई ऊर्जा से हम जीवन धारण करते हैँ इसलिए सूर्य देव जन्मदाता या पिता कहलाते हैँ. ज्योतिष में भी सूर्य देव पिता के कारक हैँ.
ye baat.. 👌👌aaj pehli bar astrology me logic word sun kr dil khush ho gya guru ji ...parnam aapko hriday se....pehli bar you tube pe kisi video pe comment Kiya Hai ...bahut acha karya kr rhe Hai guru ji ....
You are great your logics are true you are really astro scientist i admire you a lot ignore those who are criticising you they are not liking your research they are envy of you keep on dear keep on dont stop
आप पंडित नही जोकर है वेदों का ज्ञान तो हमको भी है हमने आज तक किसी शास्त्र में नही पढ़ा कि सूर्य को अर्घ ना दे अगर ऐसा होता तो अर्घ का मंत्र क्यूँ मिलता है वेदों में ॐ सुर्य देव सह सासो तेजो रासे जगत्पते ,, अनुकंपय्ये मा भक्त्या गृहाणाघर्य दीवाकर || ॐ सूर्याय नम : आदित्याय नम: भास्कराय नम : | मंत्र किस लिए बनाया गया है क्या आप वेदों को नही मानते या आप का वेद अलग है चारौं वेदों में सूर्य अर्घ का विधान मिलता है क्या आप ने अपना अलग वेद इजात कर लिया है ? पंडित जी शास्रों के नियम से चलो
Kishlay Rajbansh जोकर आचार्य जी नही आप है शायद आपका वेद ज्ञान अधूरा है एक बार यजुर्वेद में खोज करो फिर बोलो आचार्य सन्तोष जी बिलकुल सत्य वेद प्रामाणिक बात बताये कि सूर्य भगवान अग्नि के स्वरूप है उनको जल का अर्घ देकर शान्त नही करना चाहिए पितरों के रूप में तर्पण दे सकते यह बात मुझे स्वयं जगद्गुरु शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती जी ने बताया था तबसे मैं अर्घ देना बंद कर दिया सिर्फ अमावस्या और पूर्णिमा को तर्पण देता हूँ। थोड़ा सोच कर बोलो मूर्खता का परिचय मत दो। जय माता दी।
+Krishna Bedardi murakh insan ho surya ak paapi graha hai or vo sabse jyada kru bhi hai vo jaha bhi apna prabhav daalta hai to aadmi naa ji paata hai na mar itni dhag dhagi hai uske prabhav mai ke uski deegri batati hai aap bechain ho jaate hai surya ko paani dikhana isliye hota hai ki jees ki bhi kundali mai surya nirbal ya shubh ho to uski shubhta nirbalta dur ho isliye nahi ki vo balvaan ho jab aap surya ke saamne paani daalte hai to uski kirne sidhe paani ko paar karke aapke sharir aatma par padti hai paani ke dvara uski kirne shudhh or sidhi tejsvi hoti hai pandi ji se puchho ke koi bhi ston paar darshi ho ratti bhari ho to aar paar ka ston kyu pahna te hai kya kaaran hai batange ke jo ston kaan ch ki taraha aar paar nahi hoga to roshni aap ke sharir tak nahi padti isliye panna ho ya pukhraaj sabhi stone paar darshi hone chahiye or asli kyu sahi to jab baat surya ke prabhav ko paane ki ho to aap paani ka sahara lenge isliye kundali mai surya laabh ka dhan ka dasham ka pancham ka bhafya ka lagnaka swami ho or nirbal ho ya na ho tabhhi argh dena chahiye santoshi ji aap daaru kam piya karo baaki aapke paas gyan bohot hai
१)---देवताओ को जो जल दिया जाता है वह अर्घ्य कहलाता हैऔर पितरों को जो जल दिया जाता है उसे तर्पण कहते हैं , दोनो जल से ही होता है पर दोनो मे अंतर होता है २)--अर्घ्य देने से देवताओं को बल मिलताहै तो तर्पण से पितर तृप्त होते हैं, ३)--सूर्य पिता का कारक है न कि पितृगणों का ,पितृ गणों पर राहू, चंद्र,शनि का प्रभाव होता है ४)---सूर्य देव मार्ग का कारक है तो चंद्र पितृ मार्ग का पितृ चंद्र लोक मे रहते हैं चंद्र का वह भाग जो पृथ्वी से नही दिखता जो भाग अंधेरे मे रहता है ५)--वेदों मे अग्नि को भी जल (अर्घ्य )दिया जाता है उससे अग्नि का बल बढता है , जिस प्रकार जल मे उष्मा धारण की शक्ति होती ओर जल को गरम करने पर जल उष्मा को धारण करता है और गर्म हो जाता है , उसी प्रकार जल मे संकल्प की व मंत्र की शक्ति भी धारण करने की योग्यता होती है जल मे दि गयी अर्घ्य मंत्रों व तर्पण मंत्रो की शक्ति को उन उन देवता या पितृगणो तक पहुचाने की योग्यता होती है जल खुद वहां नही जाता पर मंत्रोंकी शक्ति पहुचा देता है जल एक मेसेंजर का काम करता है मेरा मोबाइल तुम तक नही जाता पर जो भी लिखु या बोलू तुम तक पहुंचा देता है बस कुछ कुछ वैसे ही यही कारण है कि वेद पुराणों मे एसी कइ कहानीयां हैं जिसमे कोई ऋषि कमंडल के जल को हांथ मे ले कर अभिमंत्रित जल से राक्षस ,भुत ,प्रेत या मनुष्य को भस्मिभुत कर देते थे ६)---गायत्री संध्या मे सूर्य को दिये अर्घ्य से मंदेहादि राक्षस भस्म होते हैं तो तर्पण से पितृगण व समस्त ब्रम्हाण्ड तृप्त होता है , मंदेहादि राक्षस राहू के मित्र वसूर्य के शत्रु हैं जो हजारो करोडों की तादात मे माने जाते हैं
1. पिता और पितृ में कोई अंतर नहीं. पूर्वज भी फोरफादर्स यानि पिता ही हैं. 2.सूर्य ज्योतिष में पिता का कारक है और सूर्य के साथ malefic या क्रूर पाप ग्रह जैसे राहु, केतु, शनि हो तो भी पितृ दोष बनता है. सूर्य+राहु/केतु /शनि आदि सूर्य (पिता /पितृ) +दोष( पाप ग्रह ) ===पितृदोष 3.सूर्य पर राहु का प्रभाव होता है तभी सूर्य ग्रहण होता है. 4. तर्पण और अर्घ्य दोनों में जल, फूल आदि देते हैं. दोनों देवों और ऋषियों को दे सकते हैं. अगर पितृ सिर्फ चन्द्रमा मे रहते तो सुबह और दिन में तर्पण क्यू करते. रात को ही करते. 5.पितृ पितर लोक में रहते हैं. चन्द्रमा में वो अमावस्या के दिन वास करते हैं.अमा नाम की चंद्र किरण का पान करके पुष्ट होते हैं. 6. सभी पितृ पितरलोक में वास नहीं करते कई स्वर्ग की प्राप्ति भी करते हैं. इसलिए देवलोक में होते हैं तो सूर्य को दिए तर्पण, अर्घ्य से पुष्ट होते हैं. 7.सूर्य का ताप, अनल (आग ), दामिनी (बिजली ) तीनो को एक साथ अग्नि कहा जाता है.इसीलिए कुंडली में सूर्य ख़राब होने पर अग्नि में भोजन होम करने को कहा जाता है. 8. सूर्य को ज्योतिष में आत्मा कहा गया है. आत्मा= सूर्य की ऊर्जा 9.पितृ (meaning 1) =माता पिता दोनों,दादा दादी, नाना नानी, अन्य पूर्वज भी आते हैं. पितृ(meaning 2)= पिता (कारक सूर्य )
Guruji m apki bat se sehmat hun aur har us vyakti ki bat se jo kaaran btata hai ke hme ye kaam isliye krna chahiye ya nhi krna chahiye.. I believe In this from childhood.. Bat to sahi hai aag aur paani ka milap nhi, To baat samjh aati hai.. Aag me ghee daalna (ye to muhawra bhi hai) Yaani aag ko aur tez krna..
+Abhishek Panday Mere mat se toh nahi, kyunki toh bashpa hone wala tel ka prakar hai aur aisa karne se Lene ke Dene pad jayenge, kyun ki yeh Shani Maharaj ke karak ke roop me dikhai de rahe hain, aur Ashudhh Padartha hai, Punya ka toh pata nahi Paap jarur lag jayega aisese, apne Ishta ko Ashudh Vastu Arpan karne se! :)
guruji kya kahun aapko mein , sach mein bachpan se har pandit bole ki suraj ko jal do,,,,,aapne pitar kya kya upaye btaya ,,woww, means jo suraj ki jal dete hum pitro ki puja kr rhe nyc,,, aur ring finger se bas krde ghee ka upaye ,,,, mein bore nhi hoti acha lagta apko sunna,jb sun na lu aapko mein soti nhi thxxxxx!
Pranam.... thank you very much... thank you for encouraging peoples... lots of respect. I became your fan. you are an inspiration for the people who follows Astrological science ...
आप ज्योतिष-मुर्खता के प्रतिमुर्ति है ..। .ऐसा लगता है कि आप ब्रह्मग्यानी है और बाकी सब ज्योतिषी पोंगा-पऩ्डित है किसी को भी अर्घ देना ये श्रद्धा -भाव को प्रदर्शित करता है ।...
सर सुनील सोनी जयपुर से , सर आप नयी पीढी के क्रांतकारी ज्ञान के स्रोत्र है आपमें पौरानिकता, अध्यातम, ज्ञान के साथ तर्क व आधुनिकता भी है जो सर्वथा उत्तम व सही है | आपको मेरा चरण स्पर्श
संदीप जी आपने समझा उसके लिए बहुत साधुवाद । नहीं तो बहुत से तो गाली देने वाले मिले । . आपके विश्वास के लिए बहुत आभार । प्रेम बनाये रखें । - आपका #AstroFriend😍
Guruji.....I love ur show very much 💓and ur logic which u told in video I love that U teach us lot of things....so thanks to making such amazing videos to guide us.I want to meet U...soon sir.....
सूर्य के माध्यम से पितरों को जाता है, सत्य है पर अर्घ्य न दिया जाए ये गलत है। संझा, सबेरे दुपहरिया कबौ जल देव, सूर्य नारायण प्रसन्न होते हैं। वो हमारे पितरों के तेज स्वरूप हैं।
गुरु जी प्रणाम।मैं आपका बहुत सम्मान करता हु ,आपने रत्नों को पत्थर बताया चलिए ठीक है उसके लिए चीख चीख कर बोला पत्थर सत्यानास करते है चलिए ठीक है ,अरे आप तो इतने सालों से चली आ रही प्रथा को ही खारिज कर रहे है ,देखिये माफी चाहता हु मैं खुद बहुत आपको prsanasak था पर अचानक मैंने जब देखा सूर्य के जल की बात तो मैं खुद चौक गया देखिये आप अपने यु ट्यूब चैनल का व्यू बढ़ने सब्स्क्रिबेर बढ़ने के लिए ये सब करना बंद करिये कहा है आपका शोध कब किये इतना शोध आपने अपने दिल से पूछिए क्या वास्तव में आपने शोध किया है आप बस अच्छे तरीके से बोलना जानते है अब सही है बाकी सब ज्योतिषी क्या है।हद है मतलब ,अरे जल भले पितरो को दिया जाता है लोगो को फायदा तो मिलता है अब आप देसी घी बोलते हो सूर्य देव को चढ़ने के लिए वो भी तो शुक्र के प्रभाव में आता है कही ना कही और शुक्र ठंडा प्लानेट है ।माफी चाहता हु पर आपने बिल्कुल सही नही किया ।सिर्फ इतना बता देना की जल सूर्य को न देकर पितरो को दिया जाता है ये कहा कि लॉजिक हुआ सब उल जललूल ।।।।बस करिये ।मैं खुद बहुत पसंद करता था पर अवी बिल्कुल नही ।
+Santosh Santoshi (Acharya Santosh Santoshi) surya ka formula malum hai? to suniye H2o an suniye h yaane hydrogen o yaane oxygen , hydrogen bahut hi jwalanshil hoti hai ,oxygen ke saath hone ke baavjood ye nahi jalta paani me aag nahi Lahti jabki usme hydrogen hoti hai ,gita me bhi Krishna JAL me agni hone ki baat large hai aap apni hi gaattha ga rage hain ,aaditya hriday stotra kya hai, pooja prakash bhi nahi padi hai kya sanatan charm ki jado me Martha to na dalieye ,shabdo ke liye chamaprarthi noon ,mujhe aapke itna gyyannahi hai ,air chahiye bhi nahi ,savita dev ,gayatri aadhar surya surf pitra tarpan nahi hain
+Anurag Singh aap samjhe hi nahi ,kya bargad me been me aapko bargad dikhta hai ,kya doodh me Ghi dikhta hai ,to JAL me agni kaise Sikh sakti hai ,hydrogen air oxygen she JAL ban Santa hai ,hydrogen jwallanshil hai,oxygen sahayak phir bhi aap kahrahe hai me aap ke JAL dene she surya bhuj jaayega JAL me agni nahi hai lol
Shubh thkur.. Dear tum Bach gaye Yeh jyotish ka nirmal baba hai.bhai Kal Yeh naya video bana dega ki bhagwaan shiv ko jal nahi chadana hai sansani failna hai Ishko.. Tark tark kya karta hai... Bach gaye bhai tum Sahi samay par gyaan mil gaya aap ko.. Grah kis bhav mai kis raashi ka kis karak mai hai Yeh sab Ish lolu Santosh ko nahi pata hai..
Yes guru ji aap bilkul sahi ferma rahe hai.Science aur jyotish ka aapas me gehra rishta hai. Jyotish ki her baat science ke pratical se aanki jaye to duniya ko samaj aayega
Jin logon ne galat karam kiya hai un logon ke liye kalyug mai ese hi guru honge Jo unke Marg ko bhatka sake aur unko galat raah mai bhej saken ! Jo kar rha hai inko follow ! Usko karne do kiuki uske past life karma ke Karan hi usko esa guru mila
आचार्य जी लगता है आप बिना वेद ज्ञान के आप के शोध करते है 1 2 नहीं सूर्य को अर्घ देने के बारे में कई ग्रंथो में व्याख्यान किया है सूर्य को अर्घ देने से आग भुझती नही सूर्य का तेज हमारे शरीर मे प्रवेश करता है थोड़ी जानकारी ले कर फिर उपदेश देंगे तो ज्यादा अच्छा होगा
+shubh baghel महाशय शोहरत का भूखा नही हूँ । जो पाया हूँ जो तार्किक है बोला है । हमने पितर के रूप में तर्पण के लिये मना नही किया सूर्य ग्रह के रूप में बोला है जल नही दिया जा सकता । यदि आप दिलवाते रहें हो तो विचार करें
ved grantho me keval sury vandna ko anivary kaha gya h ...Maine nhi dekha padha kahi mere prbhu Krishna ya ram g JAL Dale sury dev ko as a planet ha ye likha hai ki sabhi sadhu or prbhu subah sury vandna karte hai Jo keval lal sury ke samne hota h ... radhe radhe
+Santosh Santoshi (Acharya Santosh Santoshi) गुरुजी आप हमारे लिए भगवान् हो। गुरुजी चाहे कोई माने या ना माने हम तोह आपको भगवान् मानते हे। आपके बताए हुए उपायों से हमारे जीवन में इस तरीके का बदलाव आया हे की हम शब्दों में बता ही नहीं सकते गुरूजी अगर हम हमारा पूरा जीवन आपके चरणों में समर्पित करदे तोह भी कम हे। गुरु आप सदैव आपका आशीर्वाद हम पर बनाये रखना जय श्री राधे गुरु जी
Ekdam alag information mili aaj. Kuch doubts. Pl clarify... 1. घी का अर्घ्य देने बाद वो जमीन पर गीरे तो ये चलेगा ? नहीं तो क्या उपाय करे? 2. सूर्य के सामने जाकर अर्घ्य देना शक्य ना हो तो पुरब दिशा की ओर देखकर घर मे अर्घ्य दे सकते हैं?
Agar surya marak hua na sanjevni K.. Toh Ghee dene se life mai Aag Hi lag jaye gi..koi guest ya relative ya hot weather mai aata hai toh usko jal dekar khush kiya jata hai na ki ghee dekar heart patients banaya jata hai.. Surya ko sirf sirf jal de.. Tab Hi life easy hogi apna mind bhi use Kare inki sansani aapki life ko current Maar ke hospital bejh degi
सबसे पहले तो आचार्य जी मेरा सादर प्रणाम स्वीकार करें 🙏🙏 आज आपने जो जानकारी सुर्य को जल न देने के संबंध में दिया है, वो बेहद ही विज्ञान सम्मत लगा और आप जो तर्क देते हैं वो सचमुच अपने आप में ब्रंम्हास्त्र का कार्य करता है, आपसे क्या बताऊँ मेरे कुछ मित्र स्वंय ज्योतिष कार्य से जुड़े हैं जो मेरे चिकित्सालय में कभी कभार आ कर बैठते हैं लेकिन आपका आज का प्रोग्राम जब मैं देख रहा था तो मेरा अपने मित्रों से मोह भंग हो गया। आपके अंदर जो विद्या है निःसंदेह पुरे विश्व के ज्योतिषी घुटने टेक देगें।
ryt guru ji but ye bi btay jan rahu k sath surya ho to kya mrng me surya ko uday hoty huy dekh sakty h yaa nai jab surya orange colour ka ho tab bcz suna h bones n eyes k liy 1mimut mrng me dekj dakty j pls tell us
Inko khud pr ghmnd h baki sb inke samne pgl dikhte h inko😃😃or ab to bhgwan pr bhi tippni krne lg gye.. inko ye nhi pta ki Surya ko jal Dena devta yug se he chla aaraha h.logo ko bhrmit na kre😒.
रामायण मे भगवान राम ने सूर्य को अर्घ देते हुए महर्षि अगस्त ने आदित्य हर्दय स्त्रोत की रचना की। सूर्य को ठीक करने के लिए लोग इसी कापाठ करते है। तो क्या महाभारत मे कर्ण सूर्य को अर्घ देकर गलत ढग से पूजा करता था। या कुन्ती आदि ने जो सूर्य देव की पूजा किया गलत था। ये बताइए कि सूर्य देव मार्त ग्रह है या ब्रम्हा विण्णु महेश तिमूर्ति स्वरूप है।
भाई सूर्य ग्रह और सूर्य देव एक नहीं हैं. सूर्य देव सभी सूर्यों और तारों, नक्षत्रों के अधिपति देवता को कहते हैं. चुंकि वो प्रत्यक्ष नहीं इसलिए सूर्य ग्रह की तरफ मुँह करके सूर्य देवता और पितृ या पूर्वजों को अर्घ्य देते हैं. सूरज planet को नहीं देते. क्यू कि सूर्य देव अपनी ऊर्जा सब नक्षत्रों, तारों को देते हैं उसी ऊर्जा को हम ग्रहण करते हैं इसलिए सूर्य ग्रह जो माध्यम है उसके द्वारा हम सूर्य देव की ऊर्जा ग्रहण करते हैं. वो कह रहा है कि सूर्य को ग्रह नहीं पिता के भाव से सूर्य देव को अर्घ्य दो.सूर्य देव और सूर्य ग्रह एक नहीं हैं .12 आदित्य हैं और ये आदित्य भी सूर्य ग्रह नहीं हैं देवता हैं. ये आदित्य के भी अंडर में सूर्य ग्रह आता है. पूजा सूर्य देव जो कि संज्ञा और छाया के पति हैं और शनि, यम और यमुना के पिता हैं उनकी होती है. Planet या ग्रह की शादी थोड़ी होती है. सारे planet और उसके अधिपति देवता अलग अलग हैं. रामजी ने पूजा सूर्य देव की की. सोचो आजकल इंसान चाँद पर पहुँच गया तो क्या चंद्रदेव की छाती पर चला? नहीं क्यू कि चन्द्रमा के रूलर देव चंद्र देव कहलाते हैं. उपग्रह चन्द्रमा थोड़ी चंद्र देव है उनकी भी शादी हुई थी दक्ष की 27 कन्याओं से. और सूर्य देव, चंद्रदेव से तो पूरी मानव जाती का वंश चला है. Planet से नहीं.भगवान राम सूर्य देव के वंश में पैदा हुए थे. रिफरेन्स.... वैदिक ज्योतिष, विष्णु पुराण किताब pdf...
@@vijayalakshmi4749 हां, बिल्कुल सही 👍,हमारे अनन्त ब्रह्मांड में कई और सूर्य हैं जो सूर्य देव के अंश मात्र हैं स्वयं सूर्य देव नहीं,इसी प्रकार हर ग्रह के कई चंद्रमा हैं ब्रह्मांड में,वे सब भी केवल चंद्र देव के अंश मात्र हैं न कि साक्षात चंद्र देव।
क्या बदला? सही तो बोले सूर्य को ग्रह मानकर नहीं पिता /पितृ मानकर जल देना चाहिए. सूर्य देव और सूर्य ग्रह एक नहीं हैँ. सूर्य देव ब्रम्हांड के सभी सूर्यों, तारों, नक्षत्रो और ग्रहों के अधिपति देवता को कहते हैं. क्यू की हमारे सूर्यमण्डल का सूर्य उन्ही सूर्य देव का representative है इसलिए सूर्य की तरफ मुंह करके वो भी उगते सूर्य के समय जल देते हैं लेकिन देते हैं एक्चुअली सूर्य देवता को. इसलिए क्यू कि सभी प्राणियों के जन्म धारण सूर्य देव की सूर्य ग्रह को दी हुई सौर ऊर्जा से होता है इसलिए उनको पिता कहते हैं. ज्योतिष भी सूर्य को पिता का कारक कहता है. ठीक वैसे ही चन्द्रमा उपग्रह और चंद्रदेव भी अलग हैं. चंद्रदेव ब्रम्हांड के सभी moons के अधिपति देवता हैं. वैसे ही सभी ग्रह का है. इसीलिए मंगल ग्रह पर पैर रखने से मंगल देव का अपमान नहीं होता क्यू कि मंगल देव मंगल और उसके जैसे अन्य ग्रहो के अधिपति हैं. जैसे हम पृथ्वी पर रहते हैं तो पृथ्वी देवी (ब्राम्हण की सभी पृथ्वियों की देवी )का अपमान नहीं होता.विष्णु पुराण किताब में डिटेल में बताया है पढ़ सकते हैं.
क्या गुरु जी आप भी जिसको आंख की बीमारी हो बो 41 दिन पानी दे और फिर देखे ,पर संकल्प ले कर करे ,जो पानी की धार है उसमे सूरज को देखे और एक बात पितृ दक्षिण में होते है ना कि पूर्व में गुरु जी आज आप ने गलत बोल दिया मै आप का बोहत आदर करता हूं गुरु जी सॉरी
aapka har ek video hamae pasand aata hai humnae bahut se videos deakhae par aapkae channel jaisa nahi aap hamae bahut acche lagtae hai Thank-you hamarae saath acche video share karnae ke liyae mere maa aapka bahut bari fan hai
Parnam guru ji bhut hi acha btya aap ne me tv pr dekhti thi but naam bhul gai thi aap ka aaj achnk utube pr aap ko dekha to lga soi kismat ab jag jayegi dhnyavad bhut bhut parnam
+Bhupendra Chourasia वैज्ञानिक फ़िल्टर के लिये हमने कब मना किया महाशय ? हमने बस एक बात कही है कि ग्रह के रूप में कुडंली के सूर्य को सुधारने के लिये जल नही दिया जा सकता है । सिम्पल । इस पर उछलिये मत । पूरी वीडियो देखिये ।
सिर्फ किरण देखने के लिए अर्घ्य नहीं देते. जो पानी नीचे गिरता है उसको ऊँगली में लेकर आँखों में स्पर्श भी करना होता है. ये अर्घ्य का कम्पलीट प्रोसेस है. वरना सुबह सूर्योदय की धूप सेंक लेने से भी अच्छा है.
Dear Yeh chath puja se Jay a yada gyaani hai.. Bihar walo ko toh chutiya samjh hai sansani ne.. Chath mai ya ki puja Aur subah jal dena in Ke liye useless hai.. Yeh festival se bhi bade gyaani hai.. Yeh festival 500 saalo se ho raha hai Aur in ki age toh 50 hai.. Yeh festival galat hai.. Lalu parasad ke samene na bol dena budwak nahi toh what laga dega Mr sansani Santosh tumhari
Sahi bole guru ji ki Gyan dikhta h dhong see thodhi na hota h AP bahut stret bat karte ho hm apke bahut badhe fan h Jai ho guru ji miss u always guru ji or AP bahut acche bhi lagte ho or apki avaj me bahut bulandi h Jai ho apna asirvad aise hi banaye rakhiya
Ha aacharyji ye bat to sahi h jyada din mujhe v nhi hua aapka video dekhte huye par ab roj dekhti hu meri age 21 sal h mera name pooja soni h meri kanya rashi h
Aacharya ji manna nhi kiya hai shury ko jal dene ko guru ji ne to ye kaha hai grah ke rup me nhi pitro ke roop de sakte ho samjhe....samjhne ki koshish kro 🙏🙏
आपके तर्क का कोई जबाबा नहीं आचार्य जी , आप को सुनकर लोगों से तर्क करने का एक अद्धभूत गुण का प्रादुर्भाव होता है
बहुत आभार आपका
क्या बात है संतोषी जी🙏🙏🙏👌👌👌👌👌👌 आपका उपाय तो हम बाद में करेंगे ऐसा उपाय ऐसी वाणी मधुरता के साथ कुकुर बोलने में भी प्रेम झलकता है😂😂 उपाय सुनने मात्र से ही समस्या हल हो जाती है ऐसा उपाय सारे उपाय आपके सारे तर्क वाह वाह वाह 👋👋👋🔥🔥🔥
❤️😍😅🙏🏼
सच बोले आप ज्ञान किताब से नहीं आत्मा, मन और मस्तिष्क से निकलता है आपका ज्ञान स्वयं का है और यही सच्चा ज्ञान है एक बात और है आप जरूर 2-3 घंटे ध्यान करते होंगे तभी ऐसी अच्छी बातें हम तक पंहुचा रहे हैं ।
जय श्री राधे 😊 ..
आपके विश्वास के लिए बहुत आभार ।
प्रेम बनाये रखें ।
- आपका #AstroFriend😍
जबरदस्त फायदा देने वाला उपाय क्या बात है पंडित जी दुनिया में आप खूब नाम कमाए और सब का भला करें यही ईश्वर से प्रार्थना है 👌👌🙏🙏🙏🌹🌹🌹
भगवान सूर्य को जल का अर्ध्य देकर कई लोगो ने भगवान सूर्य का साक्षात् दर्शन किया हुवा है इसका कई ग्रंथो में जानकारी मिल जायेगी
और एक लोटा सूर्य को जल देकर आग को भुझाने की आप बात कर रहे हो जब की सारा पृथ्वी का पानी सातो समुन्दर और सारी नदी का पानी भी सूर्य के ऊपर डालनेसे सूर्य भगवान बूजने का ख्वाब देखना ही मूर्खता है
एक मात्र आँखों से दिखनेवाले भगवान सूर्य की शक्ति को समजलो
रही बात पितरो को जल देने की उस की अलग से जल अर्पित किया जाता है ये हम जैसे साधारण मनुष्य ने कई जगहसे सुना है
और कोई भगवान किसी चीज का अर्ध्य अर्पण करने के भूखे नहीं है उन्हें तो प्यार से दी हुई कोई भी चीज़ प्यारी लगती है अतः पूर्व ऋषि मुनि ने जो भी कुछ संस्कार हम पर डाले है उन्हें मुर्ख कहकर आप उनका अपमान करके हम सभी लोगों को कंफ्यूज मत कीजिए ए आपसे रिक्वेस्ट है
+Suresh Gurav सूर्य को अर्घ्य क्यों ? कारण दीजिए ।
हमने सिर्फ ग्रह के रूप में घी देने की वकालत तर्क एवं साक्ष्य के साथ की है । बाक़ी कोई बात नही कहा है ।
ग्रंथ अपने पास रखें ।
हमें उसमें पूरी श्रद्धा है ।
ya apne TRP k leye paresan hai sab log ignore karo Santoshi ko tave ye samajh payengay
+Santosh Santoshi (Acharya Santosh Santoshi) havan large samay Ghi idam agnaye idam na mam me paschat Ghi JAL me kyo chodte hai ,gita me krrisna kyo kahte hai JAL me agni ,akash me bhoomi ,bhoomi me aakash hai
gita padi hai aapne
वैग्यानिक कारण सुर्य के जल ददेते समय छन के आने वाले किरण आँखो को लाभदयि है
koi bhi aata hai aur bina gnyan ke uthpatang gyan dene lag jata hai.
Guruji sach me aap bahut acche hai Maine aapka bahut Sara उपाय किए है हमको फायदा भी हुआ है सच में आप बहुत ग्रेट h ❤❤❤❤❤
ओमघृणि सुरयाय नम् kar ke jal dhal rahi thi kuch din baad mujhe chakar ane lagi .aaj apki baat sune ke baat mai surya ka asli jankari mili .dhanyvaad .
Wah devta ji
Maine Kabhi surye ko jal nahi diya
Kundli dekhne ke baad ajj pehli bar dena dena tha fir apka ye video Dekha Gajab kya logic hai kasam se mazza aa Gaya jai ho jai ho
Parnam
❤️😍🙏🏼
Yes, interesting!☀️Om Suryaya namh:🙏
Wah...wah..bahut behtareen shodh....Naman hai aapko 🙏🏻
आप पर भगवान सूर्य देव की कृपा है उस कृपा को बर्बाद मत कीजिए,, इंसान को सड़क पर आते हुए देर नहीं लगती,, बाकी आप समझदार है
क्या हुआ भाई वो सूर्य को जल देने से मना नहीं कर रहा वो कह रहा है कि सूर्य को पिता/पितृ, के भाव से जल देना है. वैसे भी सूर्य ग्रह और सूर्य देव एक नहीं हैं. विष्णु पुराण की किताब और ज्योतिष के अनुसार सूर्य देव ब्रम्हांड के सभी सूर्य, तारों, नक्षत्रों के अधिपति देवता हैं. और उनका संचालन करते हैँ. और सूर्य को आत्मा कहा जाता है ज्योतिष में. आत्मा मीन्स sun की energy. और पिता का इंडिकेटर भी कहा गया है. क्यू कि सूर्य देव का representative सूर्य ग्रह है इसलिए सूरज को देखकर हम जल देते हैँ लेकिन वो जल सूरज ग्रह को नहीं सूर्य देव को देते हैँ और सूर्य देव की सूर्य ग्रह को दी हुई ऊर्जा से हम जीवन धारण करते हैँ इसलिए सूर्य देव जन्मदाता या पिता कहलाते हैँ. ज्योतिष में भी सूर्य देव पिता के कारक हैँ.
आपने तो सच मे पूरा ज्ञान ही पलट दिया | बहुत शुक्रिया |
अर्घ किस समय देना है वो भी बताने की कृपा करे |
Guru Ji, I like your explanation, it's always truth, sabki dukane band ho jayegi, keep it up, very naturally true
+Shree Ram 🙏🏼😊😊
@@SantoshSantoshi Great brain logic explained
ye baat.. 👌👌aaj pehli bar astrology me logic word sun kr dil khush ho gya guru ji ...parnam aapko hriday se....pehli bar you tube pe kisi video pe comment Kiya Hai ...bahut acha karya kr rhe Hai guru ji ....
You are great your logics are true you are really astro scientist i admire you a lot ignore those who are criticising you they are not liking your research they are envy of you keep on dear keep on dont stop
😍🤗🙏🏼
You are 100 percent right.
आप पंडित नही जोकर है वेदों का ज्ञान तो हमको भी है हमने आज तक किसी शास्त्र में नही पढ़ा कि सूर्य को अर्घ ना दे अगर ऐसा होता तो अर्घ का मंत्र क्यूँ मिलता है वेदों में
ॐ सुर्य देव सह सासो तेजो रासे जगत्पते ,,
अनुकंपय्ये मा भक्त्या
गृहाणाघर्य दीवाकर ||
ॐ सूर्याय नम : आदित्याय नम: भास्कराय नम : | मंत्र किस लिए बनाया गया है
क्या आप वेदों को नही मानते या आप का वेद अलग है चारौं वेदों में सूर्य अर्घ का विधान मिलता है
क्या आप ने अपना अलग वेद इजात कर लिया है ? पंडित जी शास्रों के नियम से चलो
+Kishlay Rajbansh जोकर हूँ तो अलग चलने दीजिये । आप का अभिनंदन अग्रज । 😀👏🙏🏼
Kishlay Rajbansh
जोकर आचार्य जी नही आप है शायद आपका वेद ज्ञान अधूरा है एक बार यजुर्वेद में खोज करो फिर बोलो आचार्य सन्तोष जी बिलकुल सत्य वेद प्रामाणिक बात बताये कि सूर्य भगवान अग्नि के स्वरूप है उनको जल का अर्घ देकर शान्त नही करना चाहिए पितरों के रूप में तर्पण दे सकते यह बात मुझे स्वयं जगद्गुरु शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती जी ने बताया था तबसे मैं अर्घ देना बंद कर दिया सिर्फ अमावस्या और पूर्णिमा को तर्पण देता हूँ।
थोड़ा सोच कर बोलो मूर्खता का परिचय मत दो।
जय माता दी।
Kishlay Rajbansh सही लिखा है आपने ये संतोष जोकर ही हैं
+Krishna Bedardi murakh insan ho
surya ak paapi graha hai or vo sabse jyada kru bhi hai vo jaha bhi apna prabhav daalta hai to aadmi naa ji paata hai na mar
itni dhag dhagi hai uske prabhav mai ke uski deegri batati hai aap bechain ho jaate hai surya ko paani dikhana isliye hota hai ki jees ki bhi kundali mai surya nirbal ya shubh ho to uski shubhta nirbalta dur ho isliye nahi ki vo balvaan ho
jab aap surya ke saamne paani daalte hai to uski kirne sidhe paani ko paar karke aapke sharir aatma par padti hai
paani ke dvara uski kirne shudhh or sidhi tejsvi hoti hai
pandi ji se puchho ke koi bhi ston
paar darshi ho ratti bhari ho to aar paar ka ston kyu pahna te hai
kya kaaran hai batange ke jo ston kaan ch ki taraha aar paar nahi hoga to roshni aap ke sharir tak nahi padti isliye panna ho ya pukhraaj sabhi stone paar darshi hone chahiye or asli kyu sahi to jab baat surya ke prabhav ko paane ki ho to aap paani ka sahara lenge isliye kundali mai surya
laabh ka dhan ka dasham ka pancham ka bhafya ka lagnaka swami ho or nirbal ho ya na ho tabhhi argh dena chahiye
santoshi ji aap daaru kam piya karo baaki aapke paas gyan bohot hai
jis vykti ke pichhe 7 laakh se jyada log pagal h unhhe jokar bolte sharm ni aa ri aapko bolo jai shree radhe
bahut hi gyanvardhak bate batate hai acharyaji mere liye to aapke dwara batayee gayee sari bate bilkul sahi ho rahi hai
+Rakesh Kumar Singh बहुत आभार
१)---देवताओ को जो जल दिया जाता है वह अर्घ्य कहलाता हैऔर पितरों को जो जल दिया जाता है उसे तर्पण कहते हैं ,
दोनो जल से ही होता है पर दोनो मे अंतर होता है
२)--अर्घ्य देने से देवताओं को बल मिलताहै
तो तर्पण से पितर तृप्त होते हैं,
३)--सूर्य पिता का कारक है न कि पितृगणों का ,पितृ गणों पर राहू, चंद्र,शनि का प्रभाव होता है
४)---सूर्य देव मार्ग का कारक है तो चंद्र पितृ मार्ग का पितृ चंद्र लोक मे रहते हैं चंद्र का वह भाग जो पृथ्वी से नही दिखता जो भाग अंधेरे मे रहता है
५)--वेदों मे अग्नि को भी जल (अर्घ्य )दिया जाता है उससे अग्नि का बल बढता है ,
जिस प्रकार जल मे उष्मा धारण की शक्ति होती ओर जल को गरम करने पर जल उष्मा को धारण करता है और गर्म हो जाता है ,
उसी प्रकार जल मे संकल्प की व मंत्र की शक्ति भी धारण करने की योग्यता होती है
जल मे दि गयी अर्घ्य मंत्रों व तर्पण मंत्रो की शक्ति को उन उन देवता या पितृगणो तक पहुचाने की योग्यता होती है जल खुद वहां नही जाता पर मंत्रोंकी शक्ति पहुचा देता है
जल एक मेसेंजर का काम करता है
मेरा मोबाइल तुम तक नही जाता पर जो भी लिखु या बोलू तुम तक पहुंचा देता है बस कुछ कुछ वैसे ही यही कारण है कि वेद पुराणों मे एसी कइ कहानीयां हैं जिसमे कोई ऋषि कमंडल के जल को हांथ मे ले कर अभिमंत्रित जल से राक्षस ,भुत ,प्रेत या मनुष्य को भस्मिभुत कर देते थे
६)---गायत्री संध्या मे सूर्य को दिये अर्घ्य से मंदेहादि राक्षस भस्म होते हैं तो तर्पण से पितृगण व समस्त ब्रम्हाण्ड तृप्त होता है ,
मंदेहादि राक्षस राहू के मित्र वसूर्य के शत्रु हैं जो हजारो करोडों की तादात मे माने जाते हैं
1. पिता और पितृ में कोई अंतर नहीं. पूर्वज भी फोरफादर्स यानि पिता ही हैं.
2.सूर्य ज्योतिष में पिता का कारक है और सूर्य के साथ malefic या क्रूर पाप ग्रह जैसे राहु, केतु, शनि हो तो भी पितृ दोष बनता है. सूर्य+राहु/केतु /शनि आदि
सूर्य (पिता /पितृ) +दोष( पाप ग्रह )
===पितृदोष
3.सूर्य पर राहु का प्रभाव होता है तभी सूर्य ग्रहण होता है.
4. तर्पण और अर्घ्य दोनों में जल, फूल आदि देते हैं. दोनों देवों और ऋषियों को दे सकते हैं. अगर पितृ सिर्फ चन्द्रमा मे रहते तो सुबह और दिन में तर्पण क्यू करते. रात को ही करते.
5.पितृ पितर लोक में रहते हैं. चन्द्रमा में वो अमावस्या के दिन वास करते हैं.अमा नाम की चंद्र किरण का पान करके पुष्ट होते हैं.
6. सभी पितृ पितरलोक में वास नहीं करते कई स्वर्ग की प्राप्ति भी करते हैं. इसलिए देवलोक में होते हैं तो सूर्य को दिए तर्पण, अर्घ्य से पुष्ट होते हैं.
7.सूर्य का ताप, अनल (आग ), दामिनी (बिजली ) तीनो को एक साथ अग्नि कहा जाता है.इसीलिए कुंडली में सूर्य ख़राब होने पर अग्नि में भोजन होम करने को कहा जाता है.
8. सूर्य को ज्योतिष में आत्मा कहा गया है. आत्मा= सूर्य की ऊर्जा
9.पितृ (meaning 1) =माता पिता दोनों,दादा दादी, नाना नानी, अन्य पूर्वज भी आते हैं.
पितृ(meaning 2)= पिता (कारक सूर्य )
Guruji m apki bat se sehmat hun aur har us vyakti ki bat se jo kaaran btata hai ke hme ye kaam isliye krna chahiye ya nhi krna chahiye..
I believe In this from childhood..
Bat to sahi hai aag aur paani ka milap nhi,
To baat samjh aati hai..
Aag me ghee daalna (ye to muhawra bhi hai)
Yaani aag ko aur tez krna..
शुक्रिया 😅😍
petrol se argh dedu kya.. btao sir..😋😋😋
+Abhishek Panday हाहाहा । शोध की बात 😂😂
Santosh Santoshi yap sir u should search it...😊😊😊
+Abhishek Panday Mere mat se toh nahi, kyunki toh bashpa hone wala tel ka prakar hai aur aisa karne se Lene ke Dene pad jayenge, kyun ki yeh Shani Maharaj ke karak ke roop me dikhai de rahe hain, aur Ashudhh Padartha hai, Punya ka toh pata nahi Paap jarur lag jayega aisese, apne Ishta ko Ashudh Vastu Arpan karne se! :)
Abhishek Panday comedy thought mera tho has has keep pet dukhra is comment par
Good comedy. Achcha hua daru se
argh deneke baat nehi bola
guruji kya kahun aapko mein , sach mein bachpan se har pandit bole ki suraj ko jal do,,,,,aapne pitar kya kya upaye btaya ,,woww, means jo suraj ki jal dete hum pitro ki puja kr rhe nyc,,,
aur ring finger se bas krde ghee ka upaye ,,,,
mein bore nhi hoti acha lagta apko sunna,jb sun na lu aapko mein soti nhi
thxxxxx!
Pranam.... thank you very much... thank you for encouraging peoples... lots of respect. I became your fan. you are an inspiration for the people who follows Astrological science ...
Aap ko iska positive result mila kiya? Pls bataiyee
Bht sahi kaha... Well done 👍
गूरू जी बहूत ही अछा टफीक है🙏🙏🙏
ये video देखकर उतना आश्चर्य नही हुआ जितना इस video को मिले हुये likes देखकर हुआ।
Mushed bhi duke hua
बिल्कुल सही आप बोल रहे है... सूर्य हमारे पित़ हैं .....
सूर्य, पवन, अग्नि, धरती, वरूण (पानी)प्रकृति ही हमारे साक्षात भगवान् हैं जो दिखते हैं और हमें जीवन देते हैं
thanks for this explanation. thank you 100 times.
आप ज्योतिष-मुर्खता के प्रतिमुर्ति है ..।
.ऐसा लगता है कि आप ब्रह्मग्यानी है
और बाकी सब ज्योतिषी पोंगा-पऩ्डित है
किसी को भी अर्घ देना ये श्रद्धा -भाव को प्रदर्शित करता है ।...
सर सुनील सोनी जयपुर से , सर आप नयी पीढी के क्रांतकारी ज्ञान के स्रोत्र है आपमें पौरानिकता, अध्यातम, ज्ञान के साथ तर्क व आधुनिकता भी है जो सर्वथा उत्तम व सही है |
आपको मेरा चरण स्पर्श
संदीप जी आपने समझा उसके लिए बहुत साधुवाद । नहीं तो बहुत से तो गाली देने वाले मिले । .
आपके विश्वास के लिए बहुत आभार ।
प्रेम बनाये रखें ।
- आपका #AstroFriend😍
Guruji.....I love ur show very much 💓and ur logic which u told in video I love that U teach us lot of things....so thanks to making such amazing videos to guide us.I want to meet U...soon sir.....
Hame pata nahita sir tq jankari dene ke lite👍👍🌷🌷🌷👌👌👌
gurujee parnam bahut hi aachi jankari diye aap. aapke madhyam se hume bahut aachi aachi jankari prapt ho rahi hai. thank u
+Pradip Kumar 😊🙏🏼
You are grate aapne hmare eye khol de
🥰🥰🤩🙏🏼
सूर्य के माध्यम से पितरों को जाता है, सत्य है पर अर्घ्य न दिया जाए ये गलत है। संझा, सबेरे दुपहरिया कबौ जल देव, सूर्य नारायण प्रसन्न होते हैं। वो हमारे पितरों के तेज स्वरूप हैं।
अर्ध्य नहीं देने नहीं बोले वो बोले पितृ के भाव से दो. ग्रह मानकर नहीं.
he. bhagwan ....
aj me apni atma se ye prarthna krta hu...ki jo ye trk h ye shi h to thik h.
nhi to vinash ho..vinash ho..vinash ho.
गुरु जी प्रणाम।मैं आपका बहुत सम्मान करता हु ,आपने रत्नों को पत्थर बताया चलिए ठीक है उसके लिए चीख चीख कर बोला पत्थर सत्यानास करते है चलिए ठीक है ,अरे आप तो इतने सालों से चली आ रही प्रथा को ही खारिज कर रहे है ,देखिये माफी चाहता हु मैं खुद बहुत आपको prsanasak था पर अचानक मैंने जब देखा सूर्य के जल की बात तो मैं खुद चौक गया देखिये आप अपने यु ट्यूब चैनल का व्यू बढ़ने सब्स्क्रिबेर बढ़ने के लिए ये सब करना बंद करिये कहा है आपका शोध कब किये इतना शोध आपने अपने दिल से पूछिए क्या वास्तव में आपने शोध किया है आप बस अच्छे तरीके से बोलना जानते है अब सही है बाकी सब ज्योतिषी क्या है।हद है मतलब ,अरे जल भले पितरो को दिया जाता है लोगो को फायदा तो मिलता है अब आप देसी घी बोलते हो सूर्य देव को चढ़ने के लिए वो भी तो शुक्र के प्रभाव में आता है कही ना कही और शुक्र ठंडा प्लानेट है ।माफी चाहता हु पर आपने बिल्कुल सही नही किया ।सिर्फ इतना बता देना की जल सूर्य को न देकर पितरो को दिया जाता है ये कहा कि लॉजिक हुआ सब उल जललूल ।।।।बस करिये ।मैं खुद बहुत पसंद करता था पर अवी बिल्कुल नही ।
+shubh baghel फिर से बोल रहा हूँ ।
सूर्य को पितृ भाव से जल क्या तरकारी मसाला दाल भात सब दो न ।
सूर्य को ग्रह मानकर सिर्फ घी ही दिया जा सकता है ।
+Santosh Santoshi (Acharya Santosh Santoshi) surya ka formula malum hai? to suniye H2o an suniye h yaane hydrogen o yaane oxygen , hydrogen bahut hi jwalanshil hoti hai ,oxygen ke saath hone ke baavjood ye nahi jalta paani me aag nahi Lahti jabki usme hydrogen hoti hai ,gita me bhi Krishna JAL me agni hone ki baat large hai aap apni hi gaattha ga rage hain ,aaditya hriday stotra kya hai, pooja prakash bhi nahi padi hai kya sanatan charm ki jado me Martha to na dalieye ,shabdo ke liye chamaprarthi noon ,mujhe aapke itna gyyannahi hai ,air chahiye bhi nahi ,savita dev ,gayatri aadhar surya surf pitra tarpan nahi hain
+Anurag Singh aap samjhe hi nahi ,kya bargad me been me aapko bargad dikhta hai ,kya doodh me Ghi dikhta hai ,to JAL me agni kaise Sikh sakti hai ,hydrogen air oxygen she JAL ban Santa hai ,hydrogen jwallanshil hai,oxygen sahayak phir bhi aap kahrahe hai me aap ke JAL dene she surya bhuj jaayega JAL me agni nahi hai lol
Shubh thkur.. Dear tum Bach gaye Yeh jyotish ka nirmal baba hai.bhai Kal Yeh naya video bana dega ki bhagwaan shiv ko jal nahi chadana hai sansani failna hai Ishko.. Tark tark kya karta hai... Bach gaye bhai tum Sahi samay par gyaan mil gaya aap ko.. Grah kis bhav mai kis raashi ka kis karak mai hai Yeh sab Ish lolu Santosh ko nahi pata hai..
Ishko ratano ki power ka pata Hi nahi hai.. Jb ratano ko ka bhi Dekh a nahi toh kya Jane ga.. Lolu lal
Yes guru ji aap bilkul sahi ferma rahe hai.Science aur jyotish ka aapas me gehra rishta hai. Jyotish ki her baat science ke pratical se aanki jaye to duniya ko samaj aayega
+lucky nikhil 😊🙏🏼
really nice logical, fantastic
Sir mujhe ap ki awaz se bahut jyada positive energy milti hai thanks
guru ji aag to bujani hai esi ley to jal dathe hai aap to aag ko taj kar rhi ho mari samaj m nhi aa rha hai plz plZ btaao
+Yash Sehrawat किसी के मनपसंद खाना खिला कर उसे उग्र नहीं शांत ही करतें हैं
+Santosh Santoshi (Acharya Santosh Santoshi) good answer
Very good logic. Thnq thnq thnq.
IN WHICH SCIENCE SUBJECT DID YOU GET DEGREE?
may be china, pakistan or brotherwood
Guruji aaj tak dete the...per ab nahi...aap k video se bahut prbhabit hun.. koti koti Prnaam.koi btane bala nahi tha.🙆🙆🙆🙆🙏
Jin logon ne galat karam kiya hai un logon ke liye kalyug mai ese hi guru honge Jo unke Marg ko bhatka sake aur unko galat raah mai bhej saken ! Jo kar rha hai inko follow ! Usko karne do kiuki uske past life karma ke Karan hi usko esa guru mila
U r right guruji 😍😍😍😍😍😍.. Thankuu soooo much
आचार्य जी लगता है आप बिना वेद ज्ञान के आप के शोध करते है 1 2 नहीं सूर्य को अर्घ देने के बारे में कई ग्रंथो में व्याख्यान किया है सूर्य को अर्घ देने से आग भुझती नही सूर्य का तेज हमारे शरीर मे प्रवेश करता है थोड़ी जानकारी ले कर फिर उपदेश देंगे तो ज्यादा अच्छा होगा
+pradhan mantri yojana पितर के रूप में दिया जा सकता है । सूर्य ग्रह के रूप में क़तई नही
+shubh baghel महाशय शोहरत का भूखा नही हूँ । जो पाया हूँ जो तार्किक है बोला है ।
हमने पितर के रूप में तर्पण के लिये मना नही किया सूर्य ग्रह के रूप में बोला है जल नही दिया जा सकता ।
यदि आप दिलवाते रहें हो तो विचार करें
+shubh baghel समझ रहा हूँ । कुछ और ऐसे ही लाने वाला हूँ ।
ved grantho me keval sury vandna ko anivary kaha gya h ...Maine nhi dekha padha kahi mere prbhu Krishna ya ram g JAL Dale sury dev ko as a planet
ha ye likha hai ki sabhi sadhu or prbhu subah sury vandna karte hai Jo keval lal sury ke samne hota h ...
radhe radhe
+Santosh Santoshi (Acharya Santosh Santoshi) गुरुजी आप हमारे लिए भगवान् हो। गुरुजी चाहे कोई माने या ना माने हम तोह आपको भगवान् मानते हे। आपके बताए हुए उपायों से हमारे जीवन में इस तरीके का बदलाव आया हे की हम शब्दों में बता ही नहीं सकते गुरूजी अगर हम हमारा पूरा जीवन आपके चरणों में समर्पित करदे तोह भी कम हे। गुरु आप सदैव आपका आशीर्वाद हम पर बनाये रखना जय श्री राधे गुरु जी
Appne shi kha explain kiya sirjji mere grji nai bhi same yhhi reason btaya hai woh bhot bde astrologer hai
Ekdam alag information mili aaj. Kuch doubts. Pl clarify...
1. घी का अर्घ्य देने बाद वो जमीन पर गीरे तो ये चलेगा ? नहीं तो क्या उपाय करे?
2. सूर्य के सामने जाकर अर्घ्य देना शक्य ना हो तो पुरब दिशा की ओर देखकर घर मे अर्घ्य दे सकते हैं?
बिल्कुल सूर्य की तरफ देखकर दे सकतें हैं ।
घी को अनामिका अंगुली डुबो कर, फिर सूर्यदेव को देखते हुए छिड़काव करिये ।
Sanjivani K ù
Agar surya marak hua na sanjevni K.. Toh Ghee dene se life mai Aag Hi lag jaye gi..koi guest ya relative ya hot weather mai aata hai toh usko jal dekar khush kiya jata hai na ki ghee dekar heart patients banaya jata hai.. Surya ko sirf sirf jal de.. Tab Hi life easy hogi apna mind bhi use Kare inki sansani aapki life ko current Maar ke hospital bejh degi
सबसे पहले तो आचार्य जी मेरा सादर प्रणाम स्वीकार करें 🙏🙏 आज आपने जो जानकारी सुर्य को जल न देने के संबंध में दिया है, वो बेहद ही विज्ञान सम्मत लगा और आप जो तर्क देते हैं वो सचमुच अपने आप में ब्रंम्हास्त्र का कार्य करता है, आपसे क्या बताऊँ मेरे कुछ मित्र स्वंय ज्योतिष कार्य से जुड़े हैं जो मेरे चिकित्सालय में कभी कभार आ कर बैठते हैं लेकिन आपका आज का प्रोग्राम जब मैं देख रहा था तो मेरा अपने मित्रों से मोह भंग हो गया। आपके अंदर जो विद्या है निःसंदेह पुरे विश्व के ज्योतिषी घुटने टेक देगें।
बहुत आभार, आपके स्नेहिल प्रेम के लिए । अब क्रांति ही लानी है इस क्षेत्र में ।
अनावश्यक रूप से लूट समाप्त करके ही रहूंगा ।
अब से मैं पेट्रोल का अर्ग दूंगा!
+Parikshit Abhimanyu दे दो । कोढ़ी हो जाओगे 😀🤣😂😂
hahahahaha
Parikshit Abhimanyu haaha
OMG too much 😂
Bht mhnga ho rkha hai Kuch or sasta dhundlo
Bohat badiya btaya guruji
ryt guru ji but ye bi btay jan rahu k sath surya ho to kya mrng me surya ko uday hoty huy dekh sakty h yaa nai jab surya orange colour ka ho tab bcz suna h bones n eyes k liy 1mimut mrng me dekj dakty j pls tell us
+🙏🏼😊kanak bhudhiraj
Aapka logic mujhe bht pasand aata haikyoki ye tarksangat hota hai aor sir nai tark se jiwan jeeti hu
आपको मूर्खता पूर्ण सवांद के लिए बधाई
अधूरा ज्ञान खतरनाक होता है,
पहले अपना ज्ञान पूर्ण करे
+ravi bhushan 🙏🏼😊
Inko khud pr ghmnd h baki sb inke samne pgl dikhte h inko😃😃or ab to bhgwan pr bhi tippni krne lg gye.. inko ye nhi pta ki Surya ko jal Dena devta yug se he chla aaraha h.logo ko bhrmit na kre😒.
Sahi kaha apne😆
Very Good your advice
sir jo bolte hai bolne dijiye we love u. ap dharam k naam se darate nahi balki knowledge se strong relation banate hai bhagwan se.
Guruji rahu ketu grah ko shant krne k liye upay bataye plz mera 1year ka beta h jo beemar rahta h
For the first time came to know this ...🙏🙏let’s try
रामायण मे भगवान राम ने सूर्य को अर्घ देते हुए महर्षि अगस्त ने आदित्य हर्दय स्त्रोत की रचना की। सूर्य को ठीक करने के लिए लोग इसी कापाठ करते है। तो क्या महाभारत मे कर्ण सूर्य को अर्घ देकर गलत ढग से पूजा करता था। या कुन्ती आदि ने जो सूर्य देव की पूजा किया गलत था। ये बताइए कि सूर्य देव मार्त ग्रह है या ब्रम्हा विण्णु महेश तिमूर्ति स्वरूप है।
भाई सूर्य ग्रह और सूर्य देव एक नहीं हैं. सूर्य देव सभी सूर्यों और तारों, नक्षत्रों के अधिपति देवता को कहते हैं. चुंकि वो प्रत्यक्ष नहीं इसलिए सूर्य ग्रह की तरफ मुँह करके सूर्य देवता और पितृ या पूर्वजों को अर्घ्य देते हैं. सूरज planet को नहीं देते. क्यू कि सूर्य देव अपनी ऊर्जा सब नक्षत्रों, तारों को देते हैं उसी ऊर्जा को हम ग्रहण करते हैं इसलिए सूर्य ग्रह जो माध्यम है उसके द्वारा हम सूर्य देव की ऊर्जा ग्रहण करते हैं.
वो कह रहा है कि सूर्य को ग्रह नहीं पिता के भाव से सूर्य देव को अर्घ्य दो.सूर्य देव और सूर्य ग्रह एक नहीं हैं .12 आदित्य हैं और ये आदित्य भी सूर्य ग्रह नहीं हैं देवता हैं. ये आदित्य के भी अंडर में सूर्य ग्रह आता है. पूजा सूर्य देव जो कि संज्ञा और छाया के पति हैं और शनि, यम और यमुना के पिता हैं उनकी होती है. Planet या ग्रह की शादी थोड़ी होती है. सारे planet और उसके अधिपति देवता अलग अलग हैं. रामजी ने पूजा सूर्य देव की की. सोचो आजकल इंसान चाँद पर पहुँच गया तो क्या चंद्रदेव की छाती पर चला? नहीं क्यू कि चन्द्रमा के रूलर देव चंद्र देव कहलाते हैं. उपग्रह चन्द्रमा थोड़ी चंद्र देव है उनकी भी शादी हुई थी दक्ष की 27 कन्याओं से. और सूर्य देव, चंद्रदेव से तो पूरी मानव जाती का वंश चला है. Planet से नहीं.भगवान राम सूर्य देव के वंश में पैदा हुए थे.
रिफरेन्स.... वैदिक ज्योतिष,
विष्णु पुराण किताब pdf...
@@vijayalakshmi4749 हां, बिल्कुल सही 👍,हमारे अनन्त ब्रह्मांड में कई और सूर्य हैं जो सूर्य देव के अंश मात्र हैं स्वयं सूर्य देव नहीं,इसी प्रकार हर ग्रह के कई चंद्रमा हैं ब्रह्मांड में,वे सब भी केवल चंद्र देव के अंश मात्र हैं न कि साक्षात चंद्र देव।
राधे राधे आप भी तो राशी फल के वारे वहुत भ्रामक बातें बताते हैं।
Sahi bole sir
+Harsh Abishek 😀🙏🏼
Radhe Radhe Swami Ji bahut Achcha bataya aaj aapane ekadam new
😍😍🤗
अरे पंडित जी
इतिहास ना बदले
+punit pandey जैसे ? पूरा देखा वीडियो सच बोलना
क्या बदला? सही तो बोले सूर्य को ग्रह मानकर नहीं पिता /पितृ मानकर जल देना चाहिए. सूर्य देव और सूर्य ग्रह एक नहीं हैँ. सूर्य देव ब्रम्हांड के सभी सूर्यों, तारों, नक्षत्रो और ग्रहों के अधिपति देवता को कहते हैं. क्यू की हमारे सूर्यमण्डल का सूर्य उन्ही सूर्य देव का representative है इसलिए सूर्य की तरफ मुंह करके वो भी उगते सूर्य के समय जल देते हैं लेकिन देते हैं एक्चुअली सूर्य देवता को. इसलिए क्यू कि सभी प्राणियों के जन्म धारण सूर्य देव की सूर्य ग्रह को दी हुई सौर ऊर्जा से होता है इसलिए उनको पिता कहते हैं. ज्योतिष भी सूर्य को पिता का कारक कहता है. ठीक वैसे ही चन्द्रमा उपग्रह और चंद्रदेव भी अलग हैं. चंद्रदेव ब्रम्हांड के सभी moons के अधिपति देवता हैं. वैसे ही सभी ग्रह का है. इसीलिए मंगल ग्रह पर पैर रखने से मंगल देव का अपमान नहीं होता क्यू कि मंगल देव मंगल और उसके जैसे अन्य ग्रहो के अधिपति हैं. जैसे हम पृथ्वी पर रहते हैं तो पृथ्वी देवी (ब्राम्हण की सभी पृथ्वियों की देवी )का अपमान नहीं होता.विष्णु पुराण किताब में डिटेल में बताया है पढ़ सकते हैं.
Wow, very interesting thanks 🙏
Radhe Radhe guru ji
+Sanju Gupta 🙏🏼😊
Guru ji sury devay ki jagah aaditay deway kah kr jal de skty h. Kripya margdarshan kry 🙏🙏🙏
क्या गुरु जी आप भी जिसको आंख की बीमारी हो बो 41 दिन पानी दे और फिर देखे ,पर संकल्प ले कर करे ,जो पानी की धार है उसमे सूरज को देखे और एक बात पितृ दक्षिण में होते है ना कि पूर्व में गुरु जी आज आप ने गलत बोल दिया मै आप का बोहत आदर करता हूं गुरु जी सॉरी
Ap explain krke btate ho whi acha lgta h guru ji ...
Radhe Radhe ....rajni pareek Ki beti shweta(murti pareek)
aapka har ek video hamae pasand aata hai humnae bahut se videos deakhae par aapkae channel jaisa nahi aap hamae bahut acche lagtae hai Thank-you hamarae saath acche video share karnae ke liyae mere maa aapka bahut bari fan hai
+bijay kumar singh 😀😊🙏🏼
Very good
sir..G..nice videos..😍😍👌👌.
sbse htke sbse alag..hoti hai..Aapke. vichar..👌
जय श्री राधे 😊 ..
आपके विश्वास के लिए बहुत आभार ।
प्रेम बनाये रखें ।
- आपका #AstroFriend😍
गुरुजी आपका बहुत बहुत धन्यवाद।।इतनी अच्छी जानकारी। सच मे मेरा ज्ञानवर्धन हो रहा है।कैसे आपका आभार ब्यक्त करू मेरे पास सब्द नही है।
+vinod kumar 🙏🏼😊
Jai ho bhagban ki. Jo aapki chanel dexne or aapki salah Mila thank you sir. Meri name mamu or me Guwahati se hoon
गुरू जी हम जानते है सूर्य को जल देने से हमारे दुख दुर हो जाते है
Thanks 🙏 ghurgj🍁🌷🌷🌸🌻🌻🌹prnam
Pz update and improve your knowledge about surya....
Parnam guru ji bhut hi acha btya aap ne me tv pr dekhti thi but naam bhul gai thi aap ka aaj achnk utube pr aap ko dekha to lga soi kismat ab jag jayegi
dhnyavad bhut bhut parnam
apka Gyan acha he bt ghamand thodi kam kro guruji
Fir se suniye video, khi ye aatmvishwas to nhi
Raight🤣
गुरु जी बहुत बहुत धन्यवाद जो तर्क सहित आप ज्ञान देते हैं 🙏.आपके साथ हमारे जैसे बहुत हैं परंतु मेरे पास आप जैसे कोई नहीं 🙏
Hame ye btao tum ne kha se pda....
पढ़ने से क्या मतलब है ?
सब कुछ पढ़ के आता है ?
बैशाखनंदन कहीं के
सर युवर व्हेरी व्हेरी ब्रिलियंट
M to kbi band nhi krungi
+Shivi Karki जी
Nice bro 👌👌👌👌👌👌
Kyo ki surya ek devta hai aur hum devta ko jal chadhte hai
Thank u so much acharyaji. I am 28 years and like me lot of youth follow you and like ypur videos. God bless you
घी कहा से लाये
भाई साहव जल से सूर्य की किरण फ़िल्टर हो कर हमारे सरीर पर पड़ती है जो की आवश्यक हैं
+Bhupendra Chourasia वैज्ञानिक फ़िल्टर के लिये हमने कब मना किया महाशय ?
हमने बस एक बात कही है कि ग्रह के रूप में कुडंली के सूर्य को सुधारने के लिये जल नही दिया जा सकता है ।
सिम्पल ।
इस पर उछलिये मत ।
पूरी वीडियो देखिये ।
सिर्फ किरण देखने के लिए अर्घ्य नहीं देते. जो पानी नीचे गिरता है उसको ऊँगली में लेकर आँखों में स्पर्श भी करना होता है. ये अर्घ्य का कम्पलीट प्रोसेस है. वरना सुबह सूर्योदय की धूप सेंक लेने से भी अच्छा है.
Very nice and wonderful knowledge jo koi nahi deh sakda app k bina thanks guru ji charn sparsh
But bihar mein surya puja mein surya ko jal dena hi aacha mana gaya hai aur yr parampara bi hai
Dear Yeh chath puja se Jay a yada gyaani hai.. Bihar walo ko toh chutiya samjh hai sansani ne.. Chath mai ya ki puja Aur subah jal dena in Ke liye useless hai.. Yeh festival se bhi bade gyaani hai.. Yeh festival 500 saalo se ho raha hai Aur in ki age toh 50 hai.. Yeh festival galat hai.. Lalu parasad ke samene na bol dena budwak nahi toh what laga dega Mr sansani Santosh tumhari
shine top sansani hahaha mai v bihar se hu
Sahi bole guru ji ki Gyan dikhta h dhong see thodhi na hota h AP bahut stret bat karte ho hm apke bahut badhe fan h Jai ho guru ji miss u always guru ji or AP bahut acche bhi lagte ho or apki avaj me bahut bulandi h Jai ho apna asirvad aise hi banaye rakhiya
Murakh panditaji....
I am of 48 so feel energetic to see ur programme ..guru ji
aare guru maan gaye😂😂😂🙏🙏🙏
Ha aacharyji ye bat to sahi h jyada din mujhe v nhi hua aapka video dekhte huye par ab roj dekhti hu meri age 21 sal h mera name pooja soni h meri kanya rashi h
Kon kon iss divaya purush 😋 k video k neeche k comments phad rha tha ......😂😂🤣
Sir aap bhut shi bat khte ho or apki bate bhut achi lgte hai aap hr bat bilkul shi khte hai
Aacharya ji manna nhi kiya hai shury ko jal dene ko guru ji ne to ye kaha hai grah ke rup me nhi pitro ke roop de sakte ho samjhe....samjhne ki koshish kro 🙏🙏
हाँ, पितर के रूप में हमने कब मना किया ? या भगवान के रूप में भी दीजिये ।
एक ही बात बोला, ग्रह के रूप में नहीं ।
yar ye log to bewkuf h jo galat comment krne lge unhone smja hi nhi video ko tark phle krne lg gae
धन्यवाद सर, अच्छा बताया
Ji Guru ji chaddar taan Kar 3bajy Tak dekhat hau
+Mamta Sharma 😂😂😂🙏🏼🙏🏼😍
Oho to vo aap hi h 3 baje vali orat
yah tathyaSach mai aap right Bole Hain Main ise
Shastra me dainik nitya karm me pahale sandhya gaytri kar surya ko arghya de khar hi koi pooja karane ka vidhan hai