वेदों में निराकार साकार का ज्ञान है निराकार साकार माया है यजुर्वेद का मंत्र है संभूति असंभूति अर्थात साकार निराकार माया है। कबीर जी ने सहीकहा है। नाम लिया तिन सब लिया सब वेदों का भेद। बिना नाम नरके पढा पढ पढ चारों वेद।। वेद थके ब्रह्मा थके थक गए शेष महेश। गीता को जहां ग़म नहीं वह सद्गुरु का देश।। व्यास जी ने चार वेद छह शास्त्र18 पुराण का अध्ययन क्या शांतिनहीं मिली। तब भागवत का निर्माण हुआ तब शांति मिली। भागवत बिना कोई पूर्ण ब्रह्म सच्चिदानंद को जान नहीं सकता। लेकिन भागवत के द्वारा कुछ लोग बिजनेस करते हैं वह यमराज के द्वारा मारे जाएंगे। भागवत कलयुगबुद्ध शाखा में पूर्ण ब्रह्म सच्चिदानंद के आवेश अवतार श्री विजियाभिनंद बुद्धनिष्कलंक द्वारा जागृत बुद्धि से खोला है इसलिए कलयुग चारों युगों में श्रेष्ठ है।❤❤❤❤❤
Sahib bandgi satname g
Nitin das ji ki jai ho
🙏🙏
जय सतनाम🙏🌹
वेदों में निराकार साकार का ज्ञान है निराकार साकार माया है यजुर्वेद का मंत्र है संभूति असंभूति अर्थात साकार निराकार माया है।
कबीर जी ने सहीकहा है।
नाम लिया तिन सब लिया सब वेदों का भेद।
बिना नाम नरके पढा पढ पढ चारों वेद।।
वेद थके ब्रह्मा थके थक गए शेष महेश।
गीता को जहां ग़म नहीं वह सद्गुरु का देश।।
व्यास जी ने चार वेद छह शास्त्र18 पुराण का अध्ययन क्या शांतिनहीं मिली। तब भागवत का निर्माण हुआ तब शांति मिली।
भागवत बिना कोई पूर्ण ब्रह्म सच्चिदानंद को जान नहीं सकता। लेकिन भागवत के द्वारा कुछ लोग बिजनेस करते हैं वह यमराज के द्वारा मारे जाएंगे।
भागवत कलयुगबुद्ध शाखा में पूर्ण ब्रह्म सच्चिदानंद के आवेश अवतार श्री विजियाभिनंद बुद्धनिष्कलंक द्वारा जागृत बुद्धि से खोला है इसलिए कलयुग चारों युगों में श्रेष्ठ है।❤❤❤❤❤
Ram Kabir